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सरकार यानी गवर्नमेंट ई मार्केटप्लेस के दरवाजे आम जनता के लिए खोलने के जरिये एक तीर से दो निशाने लगाना चाहती है. पहला की बतौर ई कॉमर्स पोर्टल ऑनलाइन शॉपिंग में मजबूती से पैर जमाना चाहती है. दूसरा, ऑनलाइन शॉपिंग पर नकली समान बेचने जैसी तमाम दिक्कतों को दूर करना चाहती है.
सेलर कर सकते हैं रजिस्टर
GeM गवर्नमेंट ई मार्केटप्लेस दरअसल ऑनलाइन मार्किट प्लेस है जहां अधिकृत सेलर्स रजिस्टर कर सकते हैं. फिलहाल ये GeM केवल सरकार के लिए ही है यानी सिर्फ केंद्र या राज्य सरकार गवर्नमेंट ई मार्केटप्लेस से ऑनलाइन शॉपिंग सरकारी ज़रूरतों के लिए कर सकती है. लेकिन आने वाले वक्त में योजना है कि GeM को पहले bulk buyers के लिए और फिर जनता के लिए भी ऑनलाइन शॉपिंग के लिए खोला जाए.
GeM की ताकत
GeM की ताकत का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि फिलहाल GeM पर कुल आर्डर वैल्यू 36,000 करोड़ रुपए से ज़्यादा है. यही नहीं GeM पर करीब 40,000 buyer आर्गेनाइजेशन यानी खरीदार और 2 लाख 95 हज़ार से ज़्यादा सेलर आर्गेनाईजेशन रजिस्टर्ड हैं.
7 बैंकों से करार
Seller को पेमेंट आसान बनाने के लिए GeM का अब तक 7 सरकारी बैंक के साथ करार हो चुका है जबकि जल्द ही 6 और बैंक के साथ करार होने वाला है.
खास बातें
> GeM पर अब तक कुल 36952 रुपए का प्रोक्योरमेंट हुआ है.
> इसमें कुल ऑर्डर 26,36,046 आए हैं.
> कुल रजिर्स्ड बायर 39,968 हैं.
> 2,95,046 रजिर्स्ड सेलर हैं
> GeM के जरिए 14,34,155 उत्पाद बेचे जा रहे हैं.
> 220 PSUs पहले से रजिस्टर हैं GeM में
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ओडिसा के एक युवक की सड़क दुर्घटना में मौत हो गई है.
गरियाबंद : ओडिसा के एक युवक की सड़क दुर्घटना में मौत हो गई है. बता दें कि देर रात धोबनमाल पुलिया के पास तेज रफ्तार आ रही बाइक अचानक अनियंत्रित होकर पेड़ से जा टकराई, जिससे युवक बाइक से नीचे गिरा और उसकी घटनास्थल पर ही मौत हो गई. वही बाइक के पीछे बैठे युवक को गंभीर स्थिति में अस्पताल पहुंचाया गया है.घटना देवभोग थाना के धोबनमाल पुलिया के पास की है, जहां ओडिसा से अपने रिश्तेदार के घर आए युवक की वापस लौटते समय मौत हो गई. वहीं दूसरे युवक को गंभीर हालत में अस्पताल पहुंचाया गया है.मामले में थाना प्रभारी सत्येंद्र श्याम ने बताया कि युवक अपने किसी रिश्तेदार के यहां छत्तीसगढ़ आया हुआ था, यहां से वापस लौटते समय उसकी बाइक दुर्घटना की शिकार हुई, जिसमें बाइक सवार युवक की मौके पर ही मौत हो गई है.
फिलहाल मृतक के घर सूचना भेज दी गई है और मृतक के परिजनों को बुला लिया गया है.
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कोरबा.छत्तीसगढ़ के विधानसभा अध्यक्ष डॉ. चरणदास महंत ने आज प्रदेश के 25वें कृषि महाविद्यालय का कोरबा जिले के कटघोरा में शुभारंभ किया। सांसद श्रीमती ज्योत्सना महंत की उपस्थिति में कृषि महाविद्यालय एवं अनुसंधान केन्द्र के शुभारंभ अवसर पर डॉ. महंत ने कहा कि छत्तीसगढ़ धान का कटोरा नहीं बल्कि धान की जन्मभूमि है। विश्व में धान की लगभग साढ़े बारह हजार किस्में है, जिसमें से हमारे छत्तीसगढ़ में दस हजार से अधिक किस्में पाई जाती है। जिनका जर्मप्लाज्म आज भी इंदिरा गांधी कृषि विश्वविद्यालय में उपलब्ध है। विधानसभा अध्यक्ष ने कटघोरा में कृषि महाविद्यालय एवं अनुसंधान केन्द्र शुरू होने पर क्षेत्र के किसानों, युवाओं और छात्र-छात्राओं को बधाई और शुभकामनायें दी। उन्हांेने खेती को कम लागत में ज्यादा आमदनी का जरिया बनाने के लिये इस महाविद्यालय में शोध और अन्य जरूरी पाठ्यक्रम भी संचालित करने पर जोर दिया। इस अवसर पर क्षेत्र के 810 पात्र हितग्राहियों को नगरीय क्षेत्र में आबादी भूमि पर भू-स्वामी अधिकार पत्र (पट्टा) भी वितरीत किये गये। कार्यक्रम में मध्य क्षेत्र आदिवासी विकास प्राधिकरण के उपाध्यक्ष एवं विधायक कटघोरा श्री पुरूषोत्तम कंवर, विधायक पाली-तानाखार श्री मोहित केरकेट्टा, इंदिरा गांधी कृषि विश्वविद्यालय के प्रबंध मण्डल के सदस्य एवं पूर्व विधायक श्री बोधराम कंवर, विश्वविद्यालय के प्रबंध मण्डल के सदस्य श्री आनंद मिश्रा, जनपद पंचायत कटघोरा की अध्यक्ष श्रीमती लता कंवर, नगर पालिका परिषद् कटघोरा की अध्यक्ष श्रीमती ललिता डिक्सेना, इंदिरा गांधी कृषि विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ. एस.के. पाटिल, जिला पंचायत के मुख्य कार्यपालन अधिकारी श्री एस. जयवर्धन, अतिरिक्त जिला दण्डाधिकारी श्री संजय अग्रवाल सहित एस.डी.एम. श्रीमती सूर्यकिरण तिवारी, जनप्रतिनिधि श्रीमती उषा तिवारी, श्री राजकिशोर प्रसाद एवं अन्य गणमान्य नागरिक भी शामिल हुये। कार्यक्रम का शुभारंभ राजगीत ‘‘अरपा पैरी के धार’’ से हुआ। स्कूली छात्र-छात्राओं ने स्वागत गीत पर मोहक नृत्य प्रस्तुत किया। डॉ. महंत ने फीता काटकर महाविद्यालय का शुभारंभ किया और महाविद्यालय मंे विद्यार्थियों को दी जाने वाली सुविधाओं का अवलोकन भी किया। कार्यक्रम स्थल पर इंदिरा गांधी कृषि विश्वविद्यालय से सम्बद्ध कृषि विज्ञान केन्द्र, कृषि विभाग, उद्यानिकी विभाग, रेशम विभाग सहित विभिन्न विभागों ने शासकीय योजनाओं को प्रदर्शित करने वाले स्टॉल भी लगाये गये। डॉ. महंत ने अतिथियों के साथ इन स्टॉलों का अवलोकन किया और मौके पर मौजूद किसानों से बातचीत भी की।
खेती को व्यवसाय से लिंक करने पर ही मिलेगा किसानों को फायदा- डॉ. महंत ने अपने उद्बोधन में कहा कि किसानों को खेती को अब किसी न किसी कृषि आधारित व्यवसाय से लिंक करने पर ही फायदा मिलेगा। उन्होंने बताया कि अब अलसी के पौधे से धागा बनाकर कोसे की तरह कपड़ा बनाया जा सकता है। अलसी की खेती करने वाले किसानों को इसका प्रशिक्षण देकर आर्थिक रूप से मजबूत बनाने में मदद की जा सकती है। इसी तरह केले से कपड़े बनाने और जैविक खेती करके जैव उत्पादों को बड़े शहरों में अच्छे दामों में बेचकर भी किसान अपनी आमदनी को बढ़ा सकते हैं। डॉ. महंत ने इन सब के लिये उत्पादों की प्रोसेसिंग और पैकेजिंग व्यवसाय का उचित ज्ञान एवं प्रशिक्षण देने पर भी जोर दिया।
जैविक खेती की ओर बड़ा कदम एनजीबीबी कार्यक्रम- डॉ. महंत ने विधायक श्री पुरूषोत्तम कंवर की मांग पर राज्य में जैविक खेती को बढ़ावा देने के बारे में भी उपस्थित लोगों को बताया। उन्होंने कहा कि किसानों के पास खेती का ज्ञान एक अनमोल खजाना है और इस खजाने को निरंतर बनाये रखने के लिये युवाओं को भी खेती-किसानी से जोड़ना होगा। डॉ. महंत ने कहा कि राज्य सरकार ने नरवा, गरूआ, घुरवा, बाड़ी कार्यक्रम से जैविक खेती को बढ़ावा देने की दिशा में बड़ा कदम बढ़ाया है। उन्होंने कहा कि इस कार्यक्रम से ही गांव-गांव में समृद्धि के नये द्वार खुलने वाले हैं।
कटघोरा का कृषि विश्वविद्यालय बोधराम कंवर के परिश्रम का नतीजा- डॉ. महंत ने अपने उद्बोधन में कटघोरा के पूर्व विधायक श्री बोधराम कंवर को कोरबा का गांधी बताते हुये कहा कि कटघोरा में कृषि विश्वविद्यालय एवं अनुसंधान केन्द्र का शुरू होना श्री बोधराम कंवर की मेहनत और परिश्रम का नतीजा है। उन्होंनंे बताया कि श्री कंवर ने बहुत पहले हरदीबाजार में ग्राम्य भारती महाविद्यालय शुरू किया था। शिक्षा की अलख जगाने और क्षेत्र के युवाओं को पढ़ाई-लिखाई से जोड़ने में इस महाविद्यालय का बड़ा योगदान रहा है। श्री महंत ने बताया कि उनके केन्द्रीय कृषि राज्य मंत्री रहते 2014 में सुतर्रा में कृषि विज्ञान केन्द्र शुरू किया गया था और अब कटघोरा में कृषि महाविद्यालय भी खुल गया है। इस महाविद्यालय को डॉ. महंत ने कोरबा सहित प्रदेश के किसानों के विकास और अनुसंधान के जरिये कोयला बाहुल्य इस जिले में परंपरागत खेती-किसानी को आधुनिक तरीके से करने की शुरूआत बताया।
अब बालिकाओं को भी कृषि संकाय की पढ़ाई करने मिलेगी- कार्यक्रम की अध्यक्षता कर रहीं लोकसभा सांसद श्रीमती ज्योत्सना महंत ने भी पूरे कोरबा वासियों को नये कृषि महाविद्यालय की शुरूआत पर अपनी बधाई और शुभकामनायें दी। उन्होंने कटघोरा के इस कृषि कार्यालय को बालिका शिक्षा के लिये नया अवसर बताया और कहा कि अब बालिकायें भी इस महाविद्यालय में कृषि संकाय की पढ़ाई कर सकेंगी। श्रीमती महंत ने कहा कि बालिकायें खेती-किसानी के तरीके पढ़कर कृषि क्षेत्र मंे वैज्ञानिक बनेंगी तभी सही मायने में खेती का विकास होगा, जिससे किसानों का भला होगा। उन्होंने कहा कि इस महाविद्यालय से यहॉं के युवाओं को एक नई दिशा मिलेगी। खेती-किसानी में नये अवसर मिलेंगे और हम सब मिलकर नवा छत्तीसगढ़ गढ़ेंगे।
पूर्व विधायक बोधराम कंवर ने कृषि महाविद्यालय के लिये मांगे पॉंच करोड़ रूपये- क्षेत्र के पूर्व विधायक एवं कृषि विश्वविद्यालय के प्रबंध मण्डल सदस्य श्री बोधराम कंवर ने कटघोरा के कृषि विश्वविद्यालय के लगभग चार साल तक सफल संचालन के लिये डीएमएफ फण्ड से प्रतिवर्ष 5 करोड़ रूपये की मांग की। उन्हांेने कहा कि कोरबा में मेडिकल कॉलेज की स्थापना पर लगभग 600 करोड़ रूपये का खर्चा होगा, परन्तु यदि कृषि महाविद्यालय को हर साल में 5 करोड़ रूपये की मामूली राशि डीएमएफ फण्ड से उपलब्ध करा दी जाये तो कृषि महाविद्यालय में सभी व्यवस्थायें पूरी हो जायेंगी और यह महाविद्यालय भी प्रदेश का बारहवें महाविद्यालय के रूप में भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद् से मान्यता प्राप्त कर सकेगा। श्री बोधराम कंवर ने महाविद्यालय को चलाने के लिये आर्थिक संसाधनों की आवश्यकता पर जोर दिया और उनकी पूर्ति के लिये राज्य शासन से भी आग्रह किया।
विधायक पुरूषोत्तम कंवर ने कटघोरा में सर्वसुविधायुक्त स्टेडियम बनाने की मांग की- कार्यक्रम को संबोधित करते हुये विधायक श्री पुरूषोत्तम कंवर ने कहा कि कटघोरा की बरसों पुरानी मांग को राज्य सरकार ने एक बार में ही पूरा कर दिया है। इस महाविद्यालय के शुरू होने से विद्यार्थियों को पढ़ाई के साथ कृषि क्षेत्र में अनुसंधान के अवसर भी मिलेंगे। कम लागत में खेती से ज्यादा कमाई के गुर भी किसान इस महाविद्यालय में सीख सकेंगे। श्री पुरूषोत्तम कंवर ने कटघोरा में सर्वसुविधायुक्त स्टेडियम बनाने की मांग राज्य सरकार से की। श्री कंवर की मांग पर विधानसभा अध्यक्ष डॉ. चरणदास महंत ने कहा कि स्टेडियम निर्माण के लिये मुख्यमंत्री के समक्ष मांग रखी जायेगी और उसकी स्वीकृति के लिये भी प्रयास किया जायेगा।
कोयला खदानों के कारण कोरबा के किसानों में सामाजिक-आर्थिक परिवर्तन पर भी इस केन्द्र से होगा शोध- इंदिरा गांधी कृषि विश्वविद्यालय के प्रबंध मण्डल के सदस्य श्री आनंद मिश्रा ने इस दौरान कहा कि कटघोरा में महाविद्यालय एवं अनुसंधान केन्द्र से औद्योगिकरण तथा कोयला खदानों के कारण किसानों के जीवन में आये सामाजिक-आर्थिक परिवर्तन पर गहरा शोध हो सकेगा। इसके नकारात्मक एवं सकारात्मक दोनों पक्ष इस शोध से सामने आयेंगे। नुकसानदायक पक्ष पर सुधार का रास्ता भी मिलेगा। उन्होंने कहा कि उद्योगों के लगने और खदानों के कारण किसानांे की कृषि भूमि खतम हो गई है। स्थानीय सब्जियों की प्रजातियॉं भी विलुप्त होने की कगार पर हैं। श्री मिश्रा ने कहा कि इस कृषि अनुसंधान केन्द्र के शुरू होने से बैगन, मिर्ची, टमाटर जैसी सब्जियों की स्थानीय प्रजातियों के संरक्षण और संवर्धन पर भी काम हो सकेगा।
कृषि क्षेत्र में कौशल विकास केन्द्र के रूप में विकसित होगा कटघोरा का कृषि महाविद्यालय- इंदिरा गांधी कृषि विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ. एस.के. पाटिल ने कटघोरा में शुरू हुये नये कृषि महाविद्यालय को खेती किसानी के लिये किसानों और युवाओं के कौशल विकास केन्द्र के रूप में विकसित करने की बात कही। डॉ. पाटिल ने कहा कि राज्य सरकार, स्थानीय प्रशासन और श्री बोधराम कंवर की मदद से शुरू हुआ यह कॉलेज कृषि संकाय की पढ़ाई के साथ-साथ आने वाले समय में किसानों को खेती के नये-नये तरीके सीखाने के केन्द्र के रूप में भी जाना जायेगा। डॉ. पाटिल ने कहा कि विधानसभा अध्यक्ष डॉ. महंत के केन्द्रीय कृषि राज्य मंत्री रहते हुये प्रदेश में धमतरी, कोरिया और कोरबा में कृषि विज्ञान केन्द्र शुरू किये गये थे और आज यह महाविद्यालय शुरू हो रहा है। कुलपति ने कहा कि विश्वविद्यालय ने इस वर्ष प्रदेश में आठ नये कृषि महाविद्यालय शुरू किये हैं। कटघोरा का यह महाविद्यालय इन सभी नये महाविद्यालयों मंे आधारभूत संरचना एवं संसाधन के मामले में सबसे बेहतर है। डॉ. पाटिल ने कहा कि इस महाविद्यालय से खेती-किसानी से जुड़े लोगों और युवाओं को कृषि उत्पादों का व्यवसाय करने की पढ़ाई भी कराई जायेगी। उन्होंने खेती में उन्नत तरीकों के उपयोग और किसानों की आमदनी बढ़ाने में इस महाविद्यालय की सकारात्मक भूमिका का भी आश्वासन उपस्थित लोागों को दिया।
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नई दिल्ली । अगर आपका बैंक खाता एसबीआई, आईसीआईसीआई बैंक, एचडीएफसी बैंक, एक्सिस बैंक, पीएनबी बैंक या किसी अन्य बैंक में है तो ये खबर आपके लिए खास है। रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया ने बैंक खाताधारकों को बड़ी राहत देते हुए ऑनलाइन लेन-देन पर चार्ज खत्म कर दी है। RBI ने सभी पब्लिक और निजी सेक्टर के बैंकों को निर्देश जारी किया है। अपने निर्देश में आरबीआई ने कहा है कि बैंकों के बचत खातों से ऑनलाइन लेनदेन करते वक्त NEFT चार्ज नहीं वसूले जाएंगे। मतलब बचत खाताधारकों को निफ्टी के जरिए ऑनलाइन फंड ट्रांसफर करने पर कोई चार्ज नहीं देना होगा।
RBI के निर्देशानुसार 1 जनवरी 2020 से बैंक के बचत खाताधारकों को ऑनलाइन फंड ट्रांसफर की निफ्टी सर्विस फ्री में मिलेगी। निफ्टी के जरिए ऑनलाइन लेन-देन करने पर बचत खाताधारकों को कोई चार्ज नहीं देना पड़ेगा। । मतलब 1 जनवरी 2020 से NEFT के जरिए ट्रांजैक्शन करने पर लगने वाले चार्जेज नहीं देने होंगे।
NEFT यानी नेशनल इलेक्ट्रॉनिक फंड ट्रांसफर ऑनलाइन बैंकिंग का तरीका है। इस निफ्टी के जरिए आप ऑनलाइन तरीके से दूसरे खाते में पैसा ट्रांसफर कर सकते हैं। आप इसके जरिए 2 लाख रुपए तक के लेन-देन कर सकते हैं। आप किसी भी शाखा के किसी भी बैंक खाते से किसी भी शाखा के बैंक खाते को पैसा भेज सकते हैं। अगर बैंक खाता एक ही बैंक का है तो चंद सेकेंट में फंड एक खाते से दूसरे काते में पहुंच जाता है। मौजूदा समय में आप रविवार और शनिवार के दिन छोड़कर वर्किंग डे में सुबह 8 बजे से शाम 7 बजे तक एनईएफटी के जरिए ऑनलाइन फंड ट्रांसफर कर सकते हैं।
आपको बता दें कि आप ऑनलाइन पैसों के लेन-देन के लिए NEFT और RTGS का इस्तेमाल कर सकते हैं। इन सर्विस के जरिए आप बिना बैंक ब्राचं गए इंटरनेट और मोबाइल बैंकिंग के जरिए पैसों का लेन-देन कर सकते हैं। आप सुबह 8 बजे से शाम 7 बजे तक फंड ट्रांसफर कर सकते हैं। ऑनलाइन फंड ट्रांसफर को और बेहतर बनाने के लिए RBI ने दिसंबर 2019 से NEFT को 24 घंटे सातों दिन खुले रखने का प्रस्ताव दिया था।
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नई दिल्ली। देश के सबसे बड़े सरकारी बैंक भारतीय स्टेट बैंक ने ग्राहकों को झटका दिया है। एसबीआई ने रिटेल टर्म डिपॉजिट यानी फिक्स्ड डिपॉजिट और एकमुश्त एफडी (बल्क टर्म डिपॉजिट) पर मिलने वाले ब्याज में कमी कर दी है। बैंक ने एफडी पर ब्याज दर में 15 बेसिस प्वाइंट की कमी की है। इस टर्म डिपॉजिट की मियाद एक साल से दो साल तक की है। एक साल से दो साल अब तक 6.40 फीसदी ब्याज था। इसे घटाकर 6.25 फीसदी किया गया है। इसी तरह बल्क टर्म डिपॉजिट पर ब्याज दर में 30 से 75 बेसिस प्वाइंट की कमी की गई है। नई दर 10 नवंबर 2019 से लागू हो रही हैं।
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00 छंटेगा बेरोजगारी का कोहरा, टूटेगी बाजार की सुस्ती
रायगढ़। स्टील और पॉवर उद्योग के बड़े उपक्रम जेएसपीएल को जिले की गारे पेलमा 4/1 कोयला खदान फिर से प्राप्त हो गई है। सोमवार को कोल मंत्रालय के द्वारा की गई आनलाइन नीलामी में जिंदल उद्योग ने उक्त खदान को 53 फीसदी ऊंची बोली लगाकर हासिल की है। इस नीलामी में जिंदल के अलावा, जेएसडब्ल्यू व वेदांता समूह ने भी भाग लिया था। जिंदल को कोयला खदान मिलने के बाद जिले में विगत पांच सालों से छाई आर्थिक सुस्ती टूटने के आसार बने हैं साथ ही कोयले की सहज उपलब्धता से उद्योगों में तेजी आने व बेरोजगारी संकट पर लगाम लगने की उम्मीद भी बढ़ गई है।
गौरतलब है कि वर्ष 2014 में केन्द्र सरकार के द्वारा देश भर के सभी कोल ब्लाक का आबंटन रद्द कर दिया गया था। इस प्रक्रिया के दौरान जेएसपीएल के हाथ से भी जिले की कोयला खदानों का हस्तांतरण छिन गया था। इसके बाद से न केवल जिले की औद्योगिक प्रगति पर प्रभाव पड़ा बल्कि औद्योगिक नगरी की संपूर्ण अर्थव्यवस्था चौपट होने लगी। यहां तक कि जेएसपीएल समेत, जेपीएल व अन्य उद्योगों में व्यापक छंटनी व तालाबंदी के कारण रोजगार तथा आर्थिक संकट गहराता चला गया। इसके बाद से ही केन्द्र सरकार के द्वारा कोल ब्लाकों के आनलाइन आबंटन की प्रक्रिया में जेएसपीएल भी कोल ब्लाक हासिल करने वाले बिडर की सूची में लगातार शामिल रहा।
सूत्रों के अनुसार 5 नवंबर को गारे पेलमा 4/1 कोल खदान के लिए आनलाइन निविदा खोली गई थी तथा 130 रुपए प्रति टन की दर से बोली आरंभ हुई। इस निविदा में जेएसडब्लू व वेदांता स्टील भी बोली लगा रहे थे, किंतु जिंदल उद्योग के द्वारा 53.3 फीसद ऊंची बोली लगाकर 230 रुपए प्रति टन की दर पर 10 वर्ष के लिए गारे पेलमा की खदान हासिल कर ली गई। अब जिंदल उद्योग का अगला लक्ष्य आगामी 8 नवंबर को होने वाली जामखानी कोल ब्लाक की नीलामी में शामिल हो इस खदान को भी हासिल करना है। जामखानी कोल ब्लाक का कुछ अंश छत्तीसगढ़ के अलावा ओडिशा सीमा में भी शामिल बताया जा रहा है। अब जल्द ही जिले की आर्थिक बदहाली की तस्वीर बदलने व सही कीमत पर कोयला मिलने के बाद औद्योगिक तेजी से बेरोजगारी संकट पर भी लगाम लगने की संभावना व्यक्त की जा रही है, साथ ही तमनार क्षेत्र में रूके हुए विकास कार्यो को भी शीघ्र गति मिलने की उम्मीद जिंदल है।
राज्य को मिलेगा 4 हजार करोड़ का राजस्व
जिंदल समूह को मिली इस खदान से कोयला उत्पादन जल्द ही शुरू हो सकता है। फिलहाल यह खदान कोल इंडिया की कस्टडी में है। निर्धारित प्रक्रिया पूर्ण करते ही जिंदल समूह इससे कोयला उत्खनन शुरू कर देगा। इस खदान से ग्रुप के स्टील उद्योग के लिए पर्याप्त कोयला मिल जाएगा। यहां करीब 45 मिलियन टन कोयले का डिपाजिट है। इससे दस साल में राज्य सरकार काे लगभग 4 हजार करोड़ का राजस्व मिलेगा। -
युवाओं के लिए जिंदल में सेल्फी जोन
रायपुर। राज्योत्सव में हर प्रकार के स्टॉल भी लगे हैं चाहे वह उद्योग खनिज इंडस्ट्रियल माटी कला, हैंडलूम और बस्तर आर्ट ही हो। इन सभी स्टालों में लोगों को नए अविष्कार एक्टिविटी एवं छत्तीसगढ़ी संस्कृति से जुड़ी अवगत कराने के लिए विभिन्न तरह के प्रयास किए गए हैं ।छत्तीसगढ़ी संस्कृति के लिए संस्कृति विभाग ने तो उद्योग में जिंदल स्टील बालको, सेल, एनएमडीसी ने अपने अपने स्टाल लगाए हैं। जिंदल की हरित क्रांति के आगे उस की सभी क्रांति स्वभाविक तौर पर पीछे लगते है। विभिन्न सरकारी स्कूलों में विभिन्न मॉडल्स के माध्यम से जिंदल ने अपने स्टाल में अपने सभी उत्पादन ओं का बखूबी प्रदर्शन किया है जो पिक्चर्स के माध्यम से पोस्टर्स के माध्यम से है यहां की खूबसूरती में युवाओं का कहना है कि जिंदल कूल है। वस्तुतः जिंदल में हुआ यह है कि जिंदल ने अपने उत्पादों की प्रदर्शनी के पोस्टर्स के साथ ही एक खूबसूरत सेल्फी जून का भी निर्माण किया है जिससे युवाओं में अत्यधिक चर्चा का विषय बना हुआ है जिंदल का यह सेल्फी जॉन सेल्फी जोन में इतनी खूबसूरती है कि लोग पूरे मेले को छोड़कर यहां युवा सेल्फी लेने के लिए होड़ सा लगाए हुए हैं जिंदल इस मामले में हमेशा ही अग्रणी रहा है कि वह इस तरह की कोई प्रस्तुति ऐसे अवसरों पर देता ही है।
सीएसआर के तहत कहें या हरित क्रांति के तहत जिंदल अपनी इन तरह की कार्यप्रणाली के लिए हमेशा से जाना जाता रहा है जिंदल ने रायगढ़ में अत्यधिक सीएसआर के कार्य किए हैं और कर भी रहा है जिससे वहां के स्थानीय लोग बखूबी लाभान्वित हो रहे हैं
राज्योत्सव के संदर्भ में जब कॉरपोरेट अफेयर्स के अध्यक्ष प्रदीप टंडन जी से संपर्क साधा गया तो उन्होंने अपने वक्तव्य में बताया कि राजू तो हमें उस क्षण की याद दिलाता है जब छत्तीसगढ़ राज्य को मध्य प्रदेश से अलग किया गया था और इस क्षेत्र को बेहतर और तेज विकास के लिए अधिकार और निर्णय लेने की शक्ति प्रदान की गई थी यह राज्य के लोगों को चारों ओर से एक साथ लाने में मदद करने में अग्रणी है माननीय मुख्यमंत्री द्वारा लागू स्थानीय कला और संस्कृति का महत्व यहां सभी के लिए एक सपना साकार होते जैसा दिखाई देता है। -
विवेकानंद दुर्ग और सुन्दराज बस्तर के ig, दुर्ग, कांकेर के sp भी बदले
रायपुर । राज्य सरकार ने देर रात 21 आईपीएस अफसरों के ट्रांसफर आर्डर जारी किए है। दुर्ग, कांकेर सहित कई जिलों के SP का तबादला कर दिया गया है। वहीं IG भी बदले गए है।: अजय कुमार यादव को दुर्ग का नया SP बनाया गया है। वहीं भोजराम पटेल कांकेर और चंद्रमोहन सिंह कोरिया के नए SP बनाये गए हैं।
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दिल्ली में बढ़ते प्रदूषण को लेकर दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र माेदी की सरकार से राहत व बचाव कार्य करने की अपील की है और कहा कि पूरे देश में प्रदूषण खतरनाक स्तर पर पहुंच गया है। दिल्ली सरकार ने कई कदम उठाए हैं। दिल्ली में प्रदूषण खतरनाक स्तर को पार कर गया है। कई इलाकों में एयर क्वालिटी इंडेक्स 900 के पार पहुंच गया है।मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने कहा कि बिना कुछ किए दिल्लीवासियों को खामियाजा भुगतना पड़ रहा है। पंजाब के मुख्यमंत्री ने भी अपनी चिंता व्यक्त करते हुए केंद्र सरकार को राहत व बचाव के लिए कदम उठाना चाहिए। हम केंद्र सरकार की हर पहल का समर्थन करेंगे।
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पेट्रोल के दाम में लगातार तीसरे दिन रविवार को गिरावट दर्ज की गई जबकि डीजल के दाम में लगातार दूसरे दिन कोई बदलाव नहीं हुआ। पेट्रोल की कीमत फिर दिल्ली और कोलकाता में सात पैसे जबकि मुंबई में छह पैसे और चेन्नई में आठ पैसे प्रति लीटर कम हो गई है। चारों महानगरों में डीजल के भाव में दो दिनों से स्थिरता बनी हुई है। इंडियन ऑयल की वेबसाइट के अनुसार, दिल्ली, कोलकता, मुंबई और चेन्नई में पेट्रोल के दाम घटकर क्रमश: 72.74 रुपए, 75.45 रुपये, 78.42 रुपए और 75.59 रुपए प्रति लीटर हो गए हैं। चारों महानगरों में डीजल के दाम पूर्ववत क्रमश: 65.80 रुपए, 68.19 रुपए, 68.99 रुपए और 69.52 रुपए प्रति लीटर बने हुए हैं।
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बैंकाक। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रविवार को यहां एक कार्यक्रम में निवेशकों को संबोधित करते हुए कहा कि भारत में निवेश के लिए अभी सबसे अच्छा समय है। मोदी तीन दिवसीय यात्रा पर थाईलैंड में हैं। मोदी ने निवेशकों से कहा कि भारत बदलाव के दौर से गुजर रहा है। देश ने नियमित और नौकरशाही वाली शैली में काम करना बंद कर दिया है। कारोबार के लिहाज से भारत में अब कई अवसर और सुविधाएं हैं। प्रधानमंत्री ने निवेशकों को भारत में निवेश के लिए प्रोत्साहित करते हुए कहा कि भारत में निवेश के लिए यह सबसे बेहतर समय है। उन्होंने कहा, निवेश के लिए भारत अब दुनिया की सबसे आकर्षक अर्थव्यवस्थाओं में से एक है। उन्होंने कहा कि भारत में व्यापार करना अब पहले से कहीं अधिक सुगम हो गया है। भारत में करदाताओं के महत्व को रेखांकित करते हुए पीएम मोदी ने उनके योगदान की सराहना की। प्रधानमंत्री ने कहा, आज के भारत में परिश्रमी करदाताओं के योगदान को सराहा जाता है। एक क्षेत्र जहां हमने महत्वपूर्ण काम किया है वह कराधान है। मोदी ने कहा कि हमने कराधान के क्षेत्र में महत्वपूर्ण काम किया है। भारत में सबसे अच्छी लोक अनुकूल कर व्यवस्था है। उन्होंने कर व्यवस्था में किसी गड़बड़ी को रोकने और पारदर्शिता लाने के लिये सरकार द्वारा उठाए गए विभिन्न कदमों का जिक्र किया।
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नई दिल्ली। कंपनियों के अच्छे तिमाही नतीजों और शेयर बाजार में निवेश करने वालों के लिए कर संरचना में बदलाव की उम्मीदों से बंबई शेयर बाजार का सेंसेक्स एक बार फिर 40,000 अंक के पार चला गया। बंबई शेयर बाजार का 30 शेयरों वाला सेंसेक्स 220.03 अंक यानी 0.55 प्रतिशत उछल कर 40,051.87 अंक पर बंद हुआ। कारोबार के दौरान, सेंसेक्स ने 40,178.12 अंक के ऊंचे स्तर को भी छुआ। इसी प्रकार, नेशनल स्टॉक एक्सचेंज का निफ्टी 57.25 अंक यानी 0.49 प्रतिशत बढ़कर 11,844.10 अंक पर बंद हुआ।
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दिल्ली। महंगा सोना न सिर्फ अपनी आसमान छूती कीमतों के चलते आम लोगों से दूर होता जा रहा है बल्कि अब भारतीय इस धातु से दूरी बनाने लगे हैं। धनतेरस पर इस साल सोने से ज्यादा चांदी की बिक्री हुई जो कि पिछले कई सालों के इतिहास में पहली बार हुआ है। वहीं, सोने की बिक्री में करीब 40 फीसदी की कमी देखी गई है। कारोबारियों के मुताबिक सोने का दाम ज्यादा होने के कारण मांग कमजोर है, जबकि चांदी में खरीदारों की दिलचस्पी ज्यादा है क्योंकि यह आम लोगों की पहुंच में है। आने वाले दिनों में शादी का सीजन शुरू होने वाला है और चांदी की औद्योगिक मांग भी बनी हुई है, इसलिए चांदी की खरीद में लोगों की ज्यादा दिलचस्पी देखी जा रही है।
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बेंगलुरु। देश की दूसरी बड़ी सूचना प्रौद्योगिकी कंपनी इंफोसिस कंपनी की बाजार पूंजी में लगभग 55 हजार करोड़ रुपए की कमी देखने को मिली। मुख्य कार्यकारी अधिकारी सलिल पारेख और मुख्य वित्त अधिकारी नीलांजल रॉय पर लघु अवधि की आय और मुनाफे के लिए अनुचित व्यवहार के आरोप की शिकायत के बाद कंपनी के शेयरों में गिरावट आई। इंफोसिस का शेयर लगभग 16.21 फीसदी कमजोर होकर 643.30 रुपए पर आ गया। 6.5 साल यानी अप्रैल 2013 के बाद की यह शेयर में सबसे बड़ी गिरावट है। दिन के कारोबार के दौरान इंफोसिस ने लगभग 17 फीसदी की गिरावट के साथ 638.30 रुपए का निचला स्तर छुआ।
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चेन्नै। नोट इतने नोट कि आपकी आंखें चौंधिया जाएं। इतने डॉलर कि आप भी घबरा जाएं। ये सब मिला कल्कि भगवान का अवतार बताने वाले बाबा से। आयकर विभाग के 300 अफसरों ने हफ्ते भर छापेमारी के बाद 600 करोड़ की काली कमाई का पता लगाया है। छापे के बाद बाबा भी इस प्रवचन के साथ प्रकट हुए कि मैं हिंदुस्तान नहीं छोड़ रहा। मैं भागा नहीं हूं। बताया जाता है कि तीन राज्यों में कल्कि आश्रम से जुड़े ठिकानों पर आयकर छापे में अकूत बेनामी संपत्ति का खुलासा हुआ है। खुद को कल्कि भगवान का अवतार बताने वाले विजय कुमार नायडू और उनके बेटे के आंध्र प्रदेश, तमिलनाडु और कर्नाटक में स्थित प्रतिष्ठानों पर आयकर विभाग की छापेमारी के बाद 600 करोड़ की अघोषित आय का पता चला है। इस बीच स्वयंभू भगवान ने एक विडियो जारी करते हुए सफाई दी है कि वह देश छोड़कर नहीं गए हैं। वहीं, नायडू के परिजनों पर भी आयकर विभाग ने शिकंजा कसते हुए समन जारी किया है। आयकर विभाग ने आंध्र प्रदेश के चित्तूर स्थित कल्कि आश्रम और 39 अन्य ठिकानों पर सर्च ऑपरेशन के बाद 65 करोड़ की अघोषित रकम (45 करोड़ की भारतीय करंसी और 20 करोड़ की अमेरिकी डॉलर समेत दूसरे देश की मुद्राएं) जब्त की है। आश्रम की बेशुमार अवैध संपत्ति का जाल कितना लंबा था, इसका अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि 16 अक्टूबर को शुरू हुई आयकर छापेमारी पांच दिन तक चली और रविवार को कहीं जाकर यह खत्म हो पाई।
44 करोड़ नकद, विदेशी मुद्राएं भी
18 अक्टूबर को आयकर विभाग ने एक बयान जारी करते हुए कहा था कि आश्रम और उसके ठिकानों पर मारे गए छापों में 43.9 करोड़ भारतीय मुद्रा, 18 करोड़ की विदेशी मुद्राएं और 31 करोड़ कीमत के सोने और हीरे के जेवरात बरामद हुए हैं।
वीडियो जारी कर दी सफाई
इधर, खुद को कल्कि भगवान कहने वाले विजय कुमार नायडू ने वीडियो जारी करते हुए मामले पर अपनी सफाई दी है। उन्होंने कहा, सबसे पहले मैं यह कहना चाहता हूं कि मैंने देश नहीं छोड़ा है, न तो हम कहीं और गए हैं। हम यहीं पर हैं और अपने श्रद्धालुओं को बताना चाहते हैं कि मेरा स्वास्थ्य बहुत अच्छा है। न तो सरकार और न ही आयकर विभाग ने कहा है कि हमने देश छोड़ दिया। लेकिन यह मीडिया है जो कह रहा है कि हमने देश छोड़ दिया है।
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रायपुर। दिवाली सीजन में बैंकों की हड़ताल ने राजधानीवासियों को परेशान कर दिया। देशभर के बैंकों की हड़ताल है। बैंकों के विलय के विरोध में बैंक कर्मचारी हड़ताल पर बैठे हैं। दिवाली के ठीक पहले बैंकों की हड़ताल से आम उपभोक्ता परेशान है। पहले से बैंक बंद होने की जानकारी नहीं होने से बैंक के बाहर लोग भटक रहे हैं। बैंक के बंद होने की वजह से आगामी त्यौहार के मद्देनजर व्यापारियों को भी बैंक संबंधी समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है।
बताया जाता है कि बैंक इम्प्लॉय एसोसिएशन के बैनर तले हड़ताल हो रही है। बैंक के नौ संगठनों में से दो संगठनों ने हड़ताल का समर्थन किया है। हड़ताली बैंक कर्मचारियों का कहना है कि केंद्र सरकार 10 बैंकों को मिलाकर चार बैंक बना रही है, उसी का विरोध हम कर रहे हैं। अगर बैंकों का विलय किया तो बड़ी संख्या में कर्मचारी बेरोजगार हो जाएंगे। -
आज से नई योजना
नई दिल्ली। भारतीय स्टेट बैंक सहित 18 बैंक दिवाली पर सोमवार से सस्ता लोन बांटेंगे। कस्टोमर आउटरीच इनीशियटिव कार्यक्रम के तहत जगह-जगह मेले लगाए जाएंगे। एसबीआई ने ट्वीट कर बताया कि इसमें ग्राहकों को हर तरह का लोन और अन्य बैंकिंग सुविधाएं मिलेंगी। यह लोन मेले 21 से शुरू हाेकर 25 अक्टूबर तक चलेंगे। इस अभियान को देश के 400 जिलों में चलाया जाएगा। एसबीआई ने बताया कि ग्राहकों को कार, पर्सनल, एग्रीकल्चर, टू-व्हीलर, एमएसएमई और होम लोन दिए जाएंगे। अगर आप कुछ खरीदने की सोच रहे हैं तो यह बेहतरीन मौका साबित हो सकता है। एसबीआई ने बताया कि यह अभियान का दूसरा चरण है, इसके पहले 9 दिन के लोन मेले में 81700 करोड़ के लोन बांटे गए थे।
वित्तमंत्री ने कहा था- कैंप लगाने का
गौरतलब है कि वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने त्योहारी सीजन में खपत बढ़ने के साथ दूसरी छमाही में आर्थिक गतिविधियों को पटरी पर लाने के उद्देश्य से सभी सरकारी और प्राइवेट बैंकों को लोन मेला लगाने के लिए कहा था। वित्त मंत्री ने कहा था कि सरकार देश के 400 जिलों में कैंप लगवाएगी। बैंक कैंप लगाकर लोन उपलब्ध करवाएंगे।
एसबीआई की लिंक पर पूरी जानकारी
सभी पब्लिक सेक्टर बैंकों की ओर से शुरू किए गए कस्टोमर आउटरीच इनीशियटिव कार्यक्रम के तहत लगाए जाने में मेलों में प्राइवेट सेक्टर के बैंक एनबीएफसी, एचएफसी और एमएफआई भी हिस्सा लेंगे। मेले में भीम एप के इस्तेमाल के बारे में भी बताया जाएगा। एसबीआई लिस्ट देखने के लिए लिंक पर जा सकते हैं। -
नई दिल्ली। भारतीय विमानतल प्राधिकरण (एएआई) ने देश के आठ बड़े एयरपोर्टों के पास की 759 एकड़ जमीन बेचने की योजना बनाई है। इन जमीनों पर निजी क्षेत्र के कारोबारी होटल, वेयर हाउस व रेस्त्रां आदि का निर्माण कर सकेंगे। जमीन बेचने से मिलने वाले पैसों का इस्तेमाल एयरपोर्ट के बुनियादी ढांचे के विकास में किया जाएगा। इसके चलते विमानतलों के आसपास रेस्त्रां, वेयर हाउस, होटल बना सकेंगे। एएआई के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि शहर के आसपास विकास के लिए विमानतलों के आसपास की जमीनें बेचने का फैसला किया गया है। ये सारी जमीनें संबंधित विमानतलों के आसपास है। इसे बेचने से प्राधिकरण का गैर ट्रैफिक रेवेन्यू बढ़ेगा। जमीन बेचने से मिला पैसा हवाई सुविधाओं से वंचित शहरों व कम सुविधाओं वाले शहरों में विमानतलों की सुविधाओं के विकास पर खर्च किया जाएगा।
129 एयरपोर्ट का संचालन करता है प्राधिकरण
नागरिक विमानन मंत्रालय के अधीन कार्यरत एएआई देशभर के 129 एयरपोर्ट का संचालन करता है। इनमें से 94 एयरपोर्ट 2017-18 में घाटे में चल रहे हैं। उक्त जमीनें किसी कंपनी या संगठन को 25 से 30 साल के लिए लीज पर दी जाएगी। इनसे सालाना किराया लिया जाएगा। -
नई दिल्ली। केंद्र सभी राज्यों को प्याज, खाद्य तेल, दलहन और तिलहन के मूल्य पर नियंत्रण के लिए इनके थोक व्यापारियों, आयातकों और निर्यातकों के साथ नियमित बैठक करने का परामर्श देगा।
ये बैठकें राज्य और जिला स्तर पर, विशेषकर त्यौहारों के मौसम में दिसंबर तक आयोजित की जाएंगी। उपभोक्ता मामलों के सचिव की अध्यक्षता में कल नई दिल्ली में आवश्यक खाद्य वस्तुओं की जमाखोरी और सट्टेबाजारी पर निगरानी समूह की बैठक में यह फैसला लिया गया। बैठक में कृषि और किसान कल्याण मंत्रालय, खुफिया ब्यूरो, दिल्ली पुलिस, नैफेड, विदेशी व्यापार महानिदेशालय, विदेश मंत्रालय और दिल्ली सरकार के प्रतिनिधि उपस्थित थे। निगरानी समूह को आवश्यक खाद्य वस्तुओं की उपलब्धता की मौजूदा स्थिति से अवगत कराया गया। कृषि प्रतिनिधियों ने बताया कि खरीफ का प्याज आने के साथ ही मूल्यों में स्थिरता आ रही है और आने वाले दिनों में कीमतें कम होने का अनुमान है। -
नई दिल्ली। एयर इंडिया के 120 पायलट ने सामूहिक इस्तीफा दे दिया। ये वेतन और पदोन्नति को लेकर नाराज हैं। एयरबस ए-320 के 120 पायलट ने सैलरी और प्रमोशन को लेकर रखी गई मांगें पूरी नहीं होने के बाद प्रबंधन को इस्तीफा सौंप दिया है। यह केंद्र सरकार द्वारा 60 हजार करोड़ रुपए से अधिक के कर्ज में फंसी सरकारी विमानन कंपनी की हिस्सेदारी बेचने की प्रक्रिया शुरू करने के फैसले के बाद हुआ है। हाल ही में इस्तीफा देने वाले एक पायलट ने बताया, एयर इंडिया प्रबंधन को हमारी शिकायतें सुननी चाहिए। वेतन में इजाफे और पदोन्नति को लेकर हमारी डिमांड बहुत दिनों से पेंडिंग है, लेकिन वे हमें भरोसा देने में असफल रहे हैं। उन्होंने कहा कि समय पर वेतन नहीं मिल पा रहा है। यह भी बताया कि पायलट को पहले 5 साल के लिए कॉन्ट्रैक्ट पर कम वेतन पर रखा जाता है। उन्हें विश्वास था कि अनुभव मिलने के बाद उनका वेतन बढ़ेगा और पदोन्नति होगी, लेकिन ऐसा नहीं हुआ। सामूहिक इस्तीफे से विमानन कंपनी की सेवा पर असर को लेकर पूछे गए सवाल के जवाब में एयर इंडिया के प्रवक्ता ने कहा है कि कंपनी के पास अतिरिक्त पायलट हैं। इस्तीफों की वजह से परिचालन पर असर नहीं होगा।
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रायपुर/नई दिल्ली। जेएसपीएल ने वित्त वर्ष 19-20 उत्पादन की दूसरी तिमाही में 16 फीसदी की वृद्धि दर्ज की। दूसरी तिमाही में जेएसपीएल ने अपने घरेलू परिचालन में 1.58 मिलियन टन का उत्पादन किया, इसी तिमाही में बिक्री 10 प्रतिशत बढ़कर 1.46 मिलियन टन हो गई। इस्पात और संबंधित उत्पादों का त्रैमासिक उत्पादन और बिक्री पिछले साल की समान अवधि में क्रमश: 1.36 मीट्रिक टन और 1.32 मीट्रिक टन थी।
जेएसपीएल के एमडी वीआर शर्मा ने कहा, यह मजबूत परिचालन और बाजार के प्रदर्शन के पीछे जेएसपीएल के लिए सबसे अच्छे तिमाहियों में से एक रहा है। कंपनी इस साल अपने उच्चतम संस्करणों को देने और उत्पादन में तेजी के साथ पटरी पर है। अंगुल में हम उत्पादन और बिक्री के मामले में विकास की गति को और तेज करने के बारे में आश्वस्त हैं।
श्री शर्मा ने आगे कहा कि अब हमारी सर्वोच्च प्राथमिकता ब्याज, मूल्यह्रास और परिशोधन से पहले की कमाई (एबिडा) को प्रति वर्ष 12,000 करोड़ से अधिक पर ले जाना है। समेकित आधार अगले दो वर्षों में 30000 करोड़ रुपए और का शुद्ध ऋण घटाकर 10,000 करोड़ रुपए से अधिक होना है। उन्होंने कहा कि हम उम्मीद कर रहे हैं कि वर्ष के अंत में हम लगभग 34,000 करोड़ रुपए में ही इसे बंद कर पाएंगे। -
नई दिल्ली। जियो ने नॉन जियो कॉलिंग पर पैसे लेने का फैसला किया है। रिलायंस जियो ने कहा है कि जिन कस्टमर्स ने 9 अक्टूबर से पहले अपने नंबर पर रिचार्ज कराया था, वो नॉन जियो यूजर्स को भी फ्री कॉल कर पाएंगे। जैसे ही ये प्लान एक्स्पायर होगा, आपको नॉन जियो कॉलिंग के लिए पैसे देने होंगे। जियो ने एक ट्वीट पर यह जानकारी दी।
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रायपुर। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने सवेरे यहां सयाजी होटल में लक्स बुटिक प्रदर्शनी का शुभारंभ किया। इस एक दिवसीय प्रदर्शनी में दिल्ली, मुंबई और जयपुर के डिजाइनरों द्वारा डिजाईन की गई ज्वेलरी, भारतीय और पश्चिमी शैली के परिधान, फुट वियर, गृह सज्जा और गिफ्ट सामग्रियां प्रदर्शित की गई है। इस अवसर पर स्वास्थ्य मंत्री टी.एस. सिंहदेव, विधायक कुलदीप जुनेजा, रायपुर की पूर्व महापौर श्रीमती किरणमयी नायक उपस्थित थीं।
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मुंबई। भारतीय रिजर्व बैंक ने अपनी रेपो दर को पांच दशमलव चार प्रतिशत से घटाकर पांच दशमलव एक-पांच प्रतिशत कर दिया है। इसके साथ ही रिवर्स रेपो दर भी घटाकर चार दशमलव नौ और बैंक दर पांच दशमलव चार प्रतिशत कर दी गई है।
आज मुम्बई में बैंक की चौथी द्विमासिक मौद्रिक नीति की घोषणा करते हुए बैंक के गर्वनर शक्तिकांत दास ने बताया कि बैंक ने वर्ष 2019-20 के लिए सकल घरेलू उत्पाद का अनुमान छह दशमलव नौ प्रतिशत से घटाकर छह दशमलव एक प्रतिशत कर दिया है। वर्ष 2020-21 के लिए यह अनुमान संशोधित करके सात दशमलव दो प्रतिशत कर दिया गया है। बैंक की मौद्रिक नीति समिति ने अर्थव्यवस्था में सुधार के लिए उदार नीति जारी रखने का फैसला किया है ताकि मुद्रास्फीति की दर नियंत्रण में रहे।
बैंक ने एक वक्तव्य में कहा है कि इन फैसलों का उद्देश्य उपभोक्ता मूल्य सूचकांक को चार प्रतिशत के स्तर पर बनाये रखना है ताकि अर्थव्यवस्था की वृद्धि दर बनी रहे। लेकिन इसमें दो प्रतिशत की कमी या बढ़त की संभावना हो सकती है।
रेपो दर में कमी का उद्देश्य आवास और वाहन ऋण की दरों में कमी लाना है। इस वर्ष बैंक ने लगातार पांचवीं बार रेपो दर में कमी की है और अब तक इसमें एक दशमलव तीन-पांच प्रतिशत की कमी की जा चुकी है।
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नई दिल्ली। सरकारी तेल विपणन कंपनियों ने लगातार दूसरे महीने आम आदमी को बड़ा झटका दिया है। कंपनियों ने रसोई गैस की कीमतों में एक बार फिर बढ़ोतरी की गई है। इंडियन ऑयल कॉरपोरेशन (आईओसीएल) की वेबसाइट पर उपलब्ध जानकारी के अनुसार, राजधानी दिल्ली में 14.2 किलोग्राम के नॉन सब्सिडी रसोई गैस सिलेंडर की कीमतों में 15 रुपए प्रति सिलेंडर की बढ़ोतरी हुई है। इस बढ़ोतरी के बाद दिल्ली में सिलेंडर की कीमत बढ़कर 605 रुपए प्रति सिलेंडर हो गई है। सितंबर में यह 605 रुपए में मिल रहा था।
कोलकाता में नॉन सब्सिडी वाला रसोई गैस सिलेंडर 13.50 रुपए महंगा हुआ है और अब नई कीमत 630 रुपए प्रति सिलेंडर हो गई है। मुंबई में एलपीजी सिलेंडर 12.50 रुपए महंगा होकर 574.50 रुपए प्रति सिलेंडर हो गया है। चेन्नई में यह 13.50 रुपए महंगा हुआ है और अब इसकी नई कीमत 620 रुपए प्रति सिलेंडर हो गई है।
19 किलो वाला सिलेंडर भी महंगा
घरेलू गैस सिलेंडर के अलावा तेल कंपनियों ने 19 किलो वाले नॉन डोमेस्टिक गैस सिलेंडर की कीमतों में भी बढ़ोतरी की है। राजधानी दिल्ली में नॉन डोमेस्टिक गैस सिलेंडर 30.50 रुपए महंगा होकर 1085 रुपए प्रति सिलेंडर हो गया है। मुंबई में यह 24 रुपए महंगा हुआ है और अब इसकी नई कीमत 1139.50 रुपए प्रति सिलेंडर हो गई है। कोलकाता में 19 किलो वाला सिलेंडर 25 रुपए महंगा होकर 1139.50 रुपए का हो गया है। चेन्नई में यह 24.5 रुपए महंगा होकर 1199 रुपए प्रति सिलेंडर हो गया है।