पेटा ने हाथियों के पुनर्वास के लिए मुख्यमंत्री से हस्तक्षेप करने की मांग की
जयपुर। पीपुल फॉर द एथिकल ट्रीटमेंट ऑफ एनिमल्स (पेटा) ने दो हाथियों के बचाव और पुनर्वास के साथ साथ उनके कल्याण और सार्वजनिक सुरक्षा के लिए राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के हस्तक्षेप की मांग की है। पेटा इंडिया की निदेशक खुशबू गुप्ता ने बताया कि हाथी मालती के वीडियो फुटेज में जानवर को बार-बार लहराते और सिर हिलाते हुए दिखाया गया है, जो बंदी हाथियों में गंभीर मनोवैज्ञानिक संकट के संकेत हैं। गुप्ता ने गुरुवार को यहां संवाददाताओं से कहा, "पशु चिकित्सा राय पुष्टि करती है कि हाथी मनोवैज्ञानिक रूप से पीडि़त है और देखभाल केंद्र में उसके पुनर्वास और स्थानांतरण की आवश्यकता है। आपे से बाहर निकलने और दूसरे हाथी से लडऩे का इतिहास रहने के बावजूद मालती का इस्तेमाल आमेर किले में पर्यटकों की सवारी के लिए किया जाता है। " उन्होंने कहा, "पेटा इंडिया ने राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत को एक पत्र भेजकर हाथियों मालती और गौरी के बचाव और पुनर्वास को सुनिश्चित करने का आग्रह किया है। गौरी ने हाल ही में आमेर में एक दुकानदार पर हमला किया जिसके कारण उसे अस्पताल में भर्ती कराना पड़ा।'' उन्होंने कहा कि सवारी के लिए ऐसे हाथियों का इस्तेमाल पर्यटकों की जान के लिए खतरा है। जयपुर के प्रसिद्ध आमेर किले में हाथी की सवारी के लिए हाथियों का उपयोग किया जाता है। वर्तमान में सवारी के लिए करीब 85 हाथियों का इस्तेमाल किया जा रहा है। राज्य पुरातत्व विभाग के एक अधिकारी से संपर्क करने पर उन्होंने कहा कि वन विभाग द्वारा फिट पाए गए हाथियों का उपयोग आमेर किले में सवारी के लिए किया जाता है। अधिकारी ने कहा, "वन विभाग द्वारा हाथियों का मेडिकल परीक्षण किया जाता है और रिपोर्ट के आधार पर केवल हाथी की सवारी के लिए उपयुक्त क्षेत्र का उपयोग किया जाता है।
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