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- नई दिल्ली। भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) द्वारा जारी ताजा आंकड़ों के मुताबिक, 4 जुलाई को समाप्त हफ्ते में भारत का कुल विदेशी मुद्रा भंडार 699.736 अरब डॉलर रहा। इसी अवधि में देश का स्वर्ण भंडार 34.2 करोड़ डॉलर बढ़कर 84.846 अरब डॉलर तक पहुंच गया। यह बढ़ोतरी ऐसे समय में हुई है जब घरेलू और वैश्विक स्तर पर सोने और चांदी की कीमतों में जबरदस्त तेजी देखी जा रही है। इसके अलावा, अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (आईएमएफ) के पास भारत के विशेष आहरण अधिकार (SDR) 3.9 करोड़ डॉलर बढ़कर 18.868 अरब डॉलर हो गए, जबकि आईएमएफ में भारत का आरक्षित भंडार 10.7 करोड़ डॉलर बढ़कर 4.735 अरब डॉलर पहुंच गया।पिछले सप्ताह भारत का कुल विदेशी मुद्रा भंडार 4.849 अरब डॉलर बढ़कर 702.784 अरब डॉलर हुआ था, जो सितंबर 2024 के अंत में रिकॉर्ड 704.885 अरब डॉलर के स्तर तक पहुंच गया था। विदेशी मुद्रा भंडार में यूरो, पाउंड और येन जैसी अन्य मुद्राओं के डॉलर के मुकाबले उतार-चढ़ाव का असर भी शामिल होता है। वहीं सोने और चांदी की कीमतों में ऐतिहासिक उछाल भी दर्ज किया गया। इंडिया बुलियन एंड ज्वैलर्स एसोसिएशन (आईबीजेए) के अनुसार, शुक्रवार को 24 कैरेट सोने की कीमत 465 रुपए बढ़कर 97,511 रुपए प्रति 10 ग्राम हो गई, जो एक दिन पहले 97,046 रुपए थी। इसी तरह, 22 कैरेट सोने की कीमत 89,320 रुपए और 18 कैरेट सोने की कीमत 73,133 रुपए प्रति 10 ग्राम हो गई।चांदी ने तो नया रिकॉर्ड बना दिया। पिछले 24 घंटों में चांदी की कीमत 2,356 रुपए बढ़कर 1,10,290 रुपए प्रति किलोग्राम पहुंच गई, जो कि 18 जून को दर्ज 1,09,550 रुपए प्रति किलो के पुराने रिकॉर्ड से भी अधिक है। वैश्विक स्तर पर, सोने की कीमत 1.01% बढ़कर 3,358 डॉलर प्रति औंस और चांदी की कीमत 2.92% बढ़कर 38.40 डॉलर प्रति औंस हो गई। विश्लेषकों के अनुसार, वैश्विक आर्थिक अनिश्चितता और व्यापार शुल्कों को लेकर चिंताओं के चलते निवेशकों का रुझान सुरक्षित संपत्तियों जैसे कि सोने और चांदी की ओर बढ़ रहा है।-
- भुवनेश्वर। ओडिशा के वरिष्ठ आदिवासी नेता और केंद्रीय जनजातीय मामलों के मंत्री जुएल उरांव ने शनिवार को कहा कि वह युवा पीढ़ी को मौका देने के लिए चुनावी राजनीति से ब्रेक लेना चाहते हैं। नरेन्द्र मोदी कैबिनेट के सदस्य उरांव ने संबलपुर में ‘ शनिवार को नियुक्ति मेला’ समारोह में भाग लेते हुए यह बात कही।मंत्री ने कहा कि वह भविष्य में सांसद या विधायक पद के लिए चुनाव नहीं लड़ेंगे। उरांव ने समारोह के बाद पत्रकारों से कहा, ‘मैंने पिछले चुनाव के दौरान ही स्पष्ट कर दिया था कि मैं फिर कभी लोकसभा या विधानसभा सीट से चुनाव नहीं लड़ूंगा। अब समय आ गया है कि युवा पीढ़ी के लिए सीट खाली कर दी जाए। मैं पहले ही 10 बार प्रत्यक्ष चुनाव लड़ चुका हूं।”उरांव ने हालांकि कहा कि वह पार्टी की सेवा करते रहेंगे और राज्यसभा सांसद या किसी भी राज्य का राज्यपाल बनने में संकोच नहीं करेंगे, लेकिन प्रत्यक्ष चुनाव में उनकी कोई दिलचस्पी नहीं है। वह छह बार सांसद और दो बार विधायक रह चुके हैं।उन्होंने कहा, ‘मैं भाजपा के लिए काम करता रहूंगा और पार्टी मुझे जो भी जिम्मेदारी देगी, उसे निभाऊंगा।’यह पूछे जाने पर कि क्या पार्टी के कहने पर वह चुनाव लड़ेंगे तो उरांव ने कहा, ‘मेरे पास कोई विकल्प नहीं होगा। मैं पार्टी के निर्देशों का पालन करूंगा।’ उरांव पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के मंत्रिमंडल में भी मंत्री रह चुके हैं। वह वाजपेयी द्वारा बनाए गए जनजातीय मामलों के मंत्रालय के पहले मंत्री थे।
- कोल्लम । दक्षिण केरल के कोल्लम जिले के वालकोम में रामविलासोम वोकेशनल हायर सेकेंडरी स्कूल (आरवीएचएसएस) मलयाली फिल्म से प्रेरणा लेकर शिक्षा नवाचार के लिए एक आदर्श के रूप में उभरा है और इसकी वजह कक्षाओं में छात्रों को बैठने की अनूठी व्यवस्था है जिसने अब ‘बैकबेंचर्स’ के विचार को पूरी तरह से समाप्त कर दिया है। प्राथमिक कक्षा में पढ़ने वाले प्रत्येक छात्र को समान ध्यान मिले, यह सुनिश्चित करने के लिए बैठने की व्यवस्था को पुनः व्यवस्थित करके, आरवीएचएसएस ने प्रशंसा और अनुकरण दोनों प्राप्त किया है।हाल ही में प्रदर्शित मलयालम फिल्म ‘स्थानार्थी श्रीकुट्टन’ से प्रभावित होकर विद्यालय ने बच्चों के बैठने की एक अभिनव व्यवस्था लागू की है, जिसमें एक पंक्ति की सीटें कक्षा की चार दीवारों के साथ संरेखित की गई हैं, ताकि सभी लोग आगे की बेंचों पर बैठ सकें। केरल के आठ विद्यालयों ने पहले ही इस बैठने की व्यवस्था को अपना लिया है, तथा पंजाब के एक स्कूल ने भी इस व्यवस्था को लागू किया है।फिल्म ‘स्थानार्थी श्रीकुट्टन’ के निर्देशक विनेश विश्वनाथन ने बताया, ‘‘मुझे खबर मिली कि पंजाब के एक स्कूल ने भी इसे अपना लिया है। प्रधानाचार्य ने ओटीटी प्लेटफॉर्म पर फिल्म देखी। उन्होंने छात्रों को फिल्म दिखाई भी। मुझे खुशी है कि इसे राष्ट्रीय स्तर पर ध्यान मिला।’’उन्होंने कहा कि फिल्म में केवल एक दृश्य में इस व्यवस्था को दिखाया गया है, जिसे फिल्म में 7वीं कक्षा के एक छात्र द्वारा क्रियान्वित किया गया विचार बताया गया है।विनेश ने कहा, ‘‘पीछे बेंच पर बैठकर अपमानित होने के अनुभव से ही उन्हें यह विचार आया। मैंने कभी नहीं सोचा था कि इसकी इतनी चर्चा होगी।’’उन्होंने कहा, ‘‘यह हमारा विचार नहीं है, लेकिन जिला प्राथमिक शिक्षा कार्यक्रम (डीपीईपी) के तहत कक्षाओं में बैठने की ऐसी व्यवस्था पहले से ही थी, लेकिन बीच में हम इसे भूल गए थे।’’आरवीएचएसएस का प्रबंधन केरल सरकार के मंत्री गणेश कुमार का परिवार करता है। गणेश ने ‘स्थानार्थी श्रीकुट्टन’ का पूर्वावलोकन इसके रिलीज होने से एक वर्ष पहले देखा था और आरएमवीएचएसएस में प्राथमिक कक्षाओं में इसे शुरू करने की संभावना पर शिक्षकों के साथ चर्चा की थी। आरएमवीएचएसएस के प्रधानाध्यापक सुनील पी शेखर ने ‘ बताया, ‘‘गणेश कुमार ने हमसे और अपनी पत्नी (जो स्कूल का प्रबंधन करती हैं) से इस बारे में चर्चा की। हम भी एक कक्षा में इसे शुरू करने पर सहमत हो गए। हमें जो परिणाम मिले, वे बहुत सकारात्मक थे और हमने इसे सभी निम्न प्राथमिक कक्षाओं में शुरू किया।’
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कारवार (कर्नाटक). उत्तर कन्नड़ जिले के कुमटा तालुक की शांत लेकिन दुर्गम रामतीर्थ पहाड़ियों में स्थित एक सुदूर गुफा से रूस की एक महिला एवं उसके दो छोटे बच्चों को बचाया गया है। पुलिस के एक अधिकारी ने शनिवार को यह जानकारी दी और कहा कि रूसी महिला आध्यात्मिक शांति की तलाश में वहां रह रही थी। उन्होंने बताया कि महिला की पहचान 40 वर्षीय नीना कुटीना उर्फ मोही के रूप में हुई है। वह ‘बिजनेस वीजा' पर रूस से भारत आई थी। वह हिंदू धर्म तथा भारत की आध्यात्मिक परंपराओं से बहुत ज्यादा प्रभावित हुई, इसलिए वह गोवा के रास्ते पवित्र तटीय शहर गोकर्ण पहुंची थी। अधिकारी ने बताया कि मोही के दो बच्चे भी हैं, जिनका नाम प्रेया (6) और अमा (4) है। ये सभी लगभग दो सप्ताह से जंगल के बीचोंबीच और पूरी तरह से एकांत में रह रहे थे। उन्होंने बताया कि इस छोटे से परिवार ने घने जंगल और खड़ी ढलानों से घिरी एक प्राकृतिक गुफा के अंदर एक साधारण सा घर बना लिया था। अधिकारी ने बताया कि मोही ने वहां रुद्र की प्रतिमा स्थापित की हुई थी। उन्होंने कहा कि वह प्रकृति के बीच आध्यात्मिक शांति की तलाश में पूजा और ध्यान में अपना दिन बिताया करती थी। उसके साथ केवल उसके दो छोटे बच्चे रहे। उन्होंने बताया कि हाल ही में हुए भूस्खलन के बाद शुक्रवार को नियमित गश्त के दौरान पुलिस निरीक्षक श्रीधर और उनकी टीम ने गुफा के बाहर कपड़े लटके हुए देखे थे। उत्तर कन्नड़ के पुलिस अधीक्षक एम नारायण ने शनिवार को कहा, ‘‘हमारी गश्त टीम ने रामतीर्थ पहाड़ी में गुफा के बाहर सूखने के लिए साड़ी और अन्य कपड़े लटके हुए देखे थे। जब वे वहां गए तो उन्होंने मोही को उसके बच्चों प्रेया और अमा के साथ देखा।'' उन्होंने कहा, ‘‘यह बहुत ही हैरानी की बात है कि वह और उसके बच्चे जंगल में कैसे जीवित रहे और क्या खाते-पीते रहे। शुक्र है कि जंगल में रहने के दौरान उनके या उनके बच्चों के साथ कोई अनहोनी नहीं हुई।'' उनके अनुसार, महिला संभवतः गोवा से यहां पहुंची है।
अधिकारी ने बताया कि यह भी पता चला कि महिला का वीजा 2017 में ही समाप्त हो गया था। वह कितने समय से भारत में रह रही है, यह अभी स्पष्ट नहीं है। नारायण ने कहा, ‘‘हमने एक साध्वी द्वारा संचालित आश्रम में उसके रहने की व्यवस्था की है। हमने उसे गोकर्ण से बेंगलुरु ले जाने और निर्वासन की प्रक्रिया शुरू करने की प्रक्रिया शुरू कर दी है।'' एक स्थानीय एनजीओ की मदद से रूसी दूतावास से संपर्क किया गया और उसे निर्वासित करने की औपचारिकताएं शुरू की गईं। -
नयी दिल्ली/ विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) ने पारंपरिक चिकित्सा प्रणालियों, विशेष रूप से आयुष प्रणालियों के साथ कृत्रिम मेधा (एआई) को जोड़ने के भारत के प्रयासों की सराहना की है। केंद्र ने शनिवार को यह जानकारी दी। डब्ल्यूएचओ ने एक तकनीकी संक्षिप्त रिपोर्ट ‘पारंपरिक चिकित्सा में कृत्रिम मेधा के अनुप्रयोग का मानचित्रण' में देश के प्रयासों की सराहना की। आयुष मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि यह विज्ञप्ति इस विषय पर भारत के प्रस्ताव के बाद जारी की गई है, जिससे पारंपरिक चिकित्सा में एआई के उपयोग के लिए डब्ल्यूएचओ का पहला प्रारूप तैयार हुआ है। इसमें कहा गया है कि आयुष प्रणालियों को आगे बढ़ाने के लिए एआई की क्षमता का उपयोग करने के भारत के प्रयास प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के ‘सभी के लिए एआई' के दृष्टिकोण को दर्शाते हैं। केंद्रीय आयुष राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) तथा स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण राज्य मंत्री प्रतापराव जाधव ने कहा कि विश्व स्वास्थ्य संगठन के संक्षिप्त विवरण में उल्लिखित भारत की एआई पहल, अत्याधुनिक प्रौद्योगिकी के माध्यम से पारंपरिक चिकित्सा को आगे बढ़ाने के लिए भारतीय वैज्ञानिकों की प्रतिबद्धता को दर्शाती है। उन्होंने कहा, ‘‘एआई को आयुष प्रणालियों के साथ एकीकृत करके, तथा साही पोर्टल, नमस्ते पोर्टल और आयुष अनुसंधान पोर्टल जैसे अग्रणी डिजिटल मंचों के माध्यम से, भारत न केवल अपने सदियों पुराने चिकित्सा ज्ञान की रक्षा कर रहा है, बल्कि व्यक्तिगत, साक्ष्य-आधारित और वैश्विक रूप से सुलभ स्वास्थ्य सेवा के भविष्य को आकार देने में भी अग्रणी भूमिका निभा रहा है।'' आयुष मंत्रालय के सचिव वैद्य राजेश कोटेचा ने कहा कि डब्ल्यूएचओ के दस्तावेज में भारत के एआई-संचालित नवाचारों पर प्रकाश डाला गया है, जैसे कि ‘‘प्रकृति-आधारित मशीन लर्निंग मॉडल'' से लेकर ‘‘आयुर्वेद ज्ञान और आधुनिक जीनोमिक्स को एक साथ लाने वाली अभूतपूर्व आयुर्जेनोमिक्स परियोजना।'' आयुष मंत्रालय ने कहा कि डब्ल्यूएचओ दस्तावेज में आयुर्वेद, सिद्ध, यूनानी, सोवा रिग्पा और होम्योपैथी में एआई-संचालित अनुप्रयोगों की एक श्रृंखला को प्रदर्शित किया गया है। इसमें निदान सहायता प्रणालियां शामिल हैं जो पारंपरिक तरीकों जैसे नाड़ी पढ़ना, जीभ की जांच और प्रकृति मूल्यांकन को मशीन लर्निंग एल्गोरिदम और गहरे तंत्रिका नेटवर्क के साथ एकीकृत करती हैं।
- कन्नूर (केरल)। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने शनिवार शाम को तालीपरम्बा में स्थित प्रसिद्ध राजराजेश्वर मंदिर में दर्शन किए और पूजा-अर्चना की। हजारों लोग हवाई अड्डे और मंदिर जाने वाले रास्ते पर उनके स्वागत के लिए जमा हुए। हवाई अड्डे से निकलने के बाद शाह अपनी कार से निकले और सड़क किनारे खड़े पार्टी कार्यकर्ताओं व समर्थकों के पास गए, उनका अभिवादन किया, कुछ लोगों से हाथ मिलाया और वापस अपनी गाड़ी में बैठ गए, जबकि समर्थकों ने उन पर फूल बरसाए। मंदिर जाते हुए भी, रास्ते के दोनों इमारतों की छतों पर जमा लोगों ने उनके वाहन पर फूल बरसाए।केंद्रीय गृह मंत्री शाम को भगवान शिव को समर्पित राजराजेश्वर मंदिर पहुंचे और पूजा-अर्चना की।
- नयी दिल्ली,। उत्तर-पूर्वी दिल्ली के वेलकम इलाके में शनिवार सुबह चार मंजिला इमारत ढहने से दो साल की बच्ची सहित छह लोगों की मौत हो गई, जबकि आठ लोग घायल हुए हैं। एक अधिकारी ने यह जानकारी दी। अधिकारी ने बताया कि इमारत के मालिक, उनकी पत्नी, दो बेटों और दो अन्य लोगों के शव मलबे से निकाले गए और उन्हें जीटीबी अस्पताल भेज दिया गया। उन्होंने बताया कि आठ लोगों को अस्पताल में भर्ती कराया गया है ।उन्होंने बताया कि बचाव अभियान के लिए राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआरएफ) समेत कई एजेंसियों को तैनात किया गया है। पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा, ‘‘हमें वेलकम पुलिस थाने में शनिवार सुबह लगभग सात बजकर चार मिनट पर ईदगाह, वेलकम के निकट चार मंजिला इमारत के ढहने की सूचना मिली। जब पुलिस की टीम मौके पर पहुंची तो पाया कि इमारत की तीन मंजिलें ढह चुकी थीं।''अतिरिक्त पुलिस उपायुक्त (उत्तर-पूर्वी) संदीप लांबा ने कहा, ‘‘इमारत के मालिक मतलूब अपने परिवार के साथ इसी इमारत में रहते थे, भूतल और पहली मंजिल खाली हैं। सामने वाली इमारत को भी नुकसान पहुंचा है।'' इस घटना में मतलूब (50), उनकी पत्नी राबिया (46) और दो बेटे जावेद (23) एवं अब्दुल्ला (15) की मौत हो गई। हादसे में 27-वर्षीय जुबिया और उनकी दो-वर्षीय बेटी फोज़िया सहित दो और लोग भी मारे गए हैं। घायलों में मतलूब के दो अन्य बेटे परवेज (32), उसकी पत्नी सिजा (21), उनका एक वर्षीय बेटा अहमद और नावेद (19) शामिल हैं। जमींदोज इमारत के सामने वाली इमारत में रहने वाले गोविंद (60), उनके भाई रवि कश्यप (27) और उन दोनों की पत्नी- क्रमश: दीपा (56) और ज्योति (27), भी घायल हैं और उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया है। सामने वाली इमारत में रहने वाले एक अन्य व्यक्ति अनीस अहमद अंसारी ने बताया कि इस घटना में उन्हें भी मामूली चोटें आई हैं। उन्होंने कहा, ‘‘जैसे ही इमारत गिरी, मलबा हमारी इमारत पर गिरा और मैं भी घायल हो गया। स्थानीय लोग परिवार को बचाने की कोशिश में लगे हुए हैं। हमें उम्मीद है कि वे सुरक्षित होंगे।'' इमारत उस समय ढही जब स्थानीय लोग सुबह की सैर पर निकले थे। सैर पर निकले कई लोग सबसे पहले सहयोग का हाथ बंटाने वालों में शामिल थे और अग्निशमन अधिकारियों के घटनास्थल पर पहुंचने से पहले ही फंसे हुए लोगों को बचाने की कोशिश की।
- नयी दिल्ली।. प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने शनिवार को सार्वजनिक और निजी क्षेत्रों में रोजगार सृजन को लेकर अपनी सरकार की योजनाओं पर जोर देते हुए कहा कि पिछले 11 वर्षों में देश ने हर क्षेत्र में प्रगति की है। मोदी ने 51,000 से ज्यादा नियुक्ति पत्र वितरित करने के बाद एक कार्यक्रम को डिजिटल रूप से संबोधित करते हुए कहा कि गरीबों के लिए चार करोड़ से अधिक घर बनाना, 10 करोड़ से ज्यादा एलपीजी के नए कनेक्शन वितरित करना या घरों की छत पर सोलर पैनल लगाना जैसी उनकी सरकार की कल्याणकारी योजनाओं ने रोजगार के लाखों नए अवसर सृजित किए हैं तथा इसी तरह कई अन्य योजनाओं से विनिर्माण क्षेत्र में वृद्धि हुई है। मोदी ने पांच देशों के हालिया दौरे का जिक्र करते हुए कहा कि अब पूरी दुनिया भारत की जनसांख्यिकी और लोकतंत्र की ताकत को पहचान रही है। उन्होंने कहा कि भारत के युवाओं की ताकत इसकी सबसे बड़ी पूंजी और देश के उज्ज्वल भविष्य की गारंटी है।मोदी ने कहा, “आज दुनिया मान रही है कि भारत के पास दो असीमित शक्तियां हैं। एक जनसांख्यिकी, दूसरा लोकतंत्र। यानी सबसे बड़ी युवा आबादी और सबसे बड़ा लोकतंत्र।” प्रधानमंत्री ने जोर देकर कहा कि उनके दौरे के दौरान जितने भी समझौते हुए हैं, उनसे देश और विदेश दोनों जगह भारत के नौजवानों को फायदा होना ही है। उन्होंने कहा कि रक्षा, फार्मा, डिजिटल प्रौद्योगिरी, उर्जी, दुर्लभ खनिज जैसे क्षेत्रों में हुए समझौतों से भारत को आने वाले दिनों में बहुत बड़ा फायदा होगा। मोदी ने कहा, “ये योजनाएं न केवल भारत की वैश्विक आर्थिक स्थिति को मजबूत करेंगी बल्कि विनिर्माण और सेवा दोनों क्षेत्रों में युवाओं के लिए सार्थक अवसर भी सृजित करेंगी।” प्रधानमंत्री ने पिछले 10 वर्षों में 25 करोड़ से अधिक लोगों को गरीबी से बाहर निकालने का जिक्र करते हुए कहा कि अगर रोजगार और आय के स्रोत नहीं होते तो ऐसा नहीं हो पाता। उन्होंने कहा कि इन गरीब लोगों का जीवन पहले बेहद कठिन था और उन्हें मौत का डर सताता था लेकिन वे अब इतने सशक्त हो गए हैं कि उन्होंने गरीबी को हरा दिया। मोदी ने ‘इंटरनेशनल लेबर ऑर्गेनाइजेशन' की एक रिपोर्ट का हवाला देते हुए बताया कि बीते दशक में भारत के 90 करोड़ से अधिक नागरिकों को वेलफेयर स्कीम्स के दायरे में लाया गया है। उन्होंने अपनी सरकार के जनहितैषी प्रयासों को रेखांकित करते हुए कहा कि गिनी सूचकांक के आधार पर भारत सर्वोच्च समानता वाले देशों में से एक है। मोदी ने कहा कि विनिर्माण को बढ़ावा देने पर उनकी सरकार का ध्यान रंग लाया है।उन्होंने कहा कि 11 वर्षों में इलेक्ट्रॉनिक विनिर्माण पांच गुना से अधिक बढ़ गया है और मोबाइल विनिर्माण इकाइयों की संख्या पूर्व में दो से चार की तुलना में बढ़कर लगभग 300 हो गई है। प्रधानमंत्री ने पाकिस्तान के साथ युद्ध के दौरान दिखाई गई भारत की स्वदेशी सैन्य क्षमता का स्पष्ट संदर्भ देते हुए कहा कि ‘ऑपरेशन सिंदूर' के बाद रक्षा विनिर्माण पर गर्व से चर्चा हो रही है। उन्होंने कहा कि रक्षा उत्पादन 1.25 लाख करोड़ रुपये से अधिक हो गया है।मोदी ने कहा कि भारत अब तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनने की राह पर है।प्रधानमंत्री ने कहा, “भारत दुनिया में सबसे ज्यादा लोकोमोटिव बनाने वाला देश बन गया है। लोकोमोटिव हो, रेल कोच हो, मेट्रो कोच हो,आज भारत इनका बड़ी संख्या में दुनिया के कई देशों में निर्यात कर रहा है।” उन्होंने कहा कि ऑटोमोबाइल क्षेत्र में केवल पांच वर्षों में 40 अरब अमेरिकी डॉलर का प्रत्यक्ष विदेशी निवेश आया है, जिसके परिणामस्वरूप नए कारखाने, नए रोजगार के अवसर और वाहनों की रिकॉर्ड बिक्री हुई है। मोदी ने ‘एम्प्लॉयमेंट लिंक्ड इंसेंटिव स्कीम' का जिक्र करते हुए कहा कि सरकार रोजगार के नए अवसर सृजित करने पर भी ध्यान केंद्रित कर रही है। इस योजना के तहत निजी क्षेत्र में पहली नौकरी शुरू करने वाले लोगों को 15,000 रुपये दिए जाएंगे।उन्होंने कहा कि पहली नौकरी की पहली तनख्वाह में सरकार अपना योगदान देगी, जिसके लिए सरकार ने करीब एक लाख करोड़ रुपए का बजट बनाया है। मोदी ने कहा कि इस योजना से लगभग साढ़े तीन करोड़ नए रोजगार के सृजन में मदद मिलेगी।उन्होंने राष्ट्रीय विकास को गति देने, रोजगार सृजन करने और विश्व की तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनने की दिशा में भारत की यात्रा को गति देने में देश के विनिर्माण क्षेत्र की परिवर्तनकारी शक्ति पर जोर दिया। सरकार के रोजगार मेले के तहत नियुक्ति पत्र वितरित किए गए। एक बयान के मुताबिक, रोजगार मेला युवाओं के सशक्तीकरण और राष्ट्र निर्माण में उनकी भागीदारी के लिए सार्थक अवसर प्रदान करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा। रोजगार मेलों में अब तक 10 लाख से अधिक नियुक्ति पत्र जारी किए जा चुके हैं।
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नई दिल्ली। अमरनाथ यात्रा इस वर्ष भी श्रद्धा और सुरक्षा के मजबूत संगम के साथ ऐतिहासिक बनती जा रही है। 3 जुलाई 2025 को शुरू हुई इस पवित्र यात्रा में अब तक 1.63 लाख श्रद्धालुओं ने बर्फानी बाबा के दर्शन कर लिए हैं। आज शनिवार को 6,639 तीर्थयात्रियों का एक नया जत्था जम्मू के भगवती नगर यात्री निवास से कश्मीर घाटी के लिए रवाना हुआ। अधिकारियों के मुताबिक तड़के 2:50 बजे, 2,337 यात्रियों को लेकर 116 वाहनों का पहला काफिला बालटाल बेस कैंप के लिए रवाना हुआ। इसके बाद 3:55 बजे, 4,302 यात्रियों के साथ 161 वाहनों का दूसरा काफिला नुनवान (पहलगाम) बेस कैंप की ओर निकला।
इस बार यात्रा मार्ग पर सुरक्षा के लिहाज से कोई समझौता नहीं किया गया है। पूरे मार्ग को सेना, बीएसएफ, सीआरपीएफ, एसएसबी और जम्मू-कश्मीर पुलिस द्वारा सुरक्षित किया गया है। सुरक्षा बलों की मौजूदा तैनाती को और मजबूत करने के लिए 180 अतिरिक्त सीएपीएफ कंपनियां लगाई गई हैं। श्रद्धालुओं के लिए दो प्रमुख मार्ग हैं-पहलगाम और बालटाल। पहलगाम मार्ग से तीर्थयात्री चंदनवाड़ी, शेषनाग और पंचतरणी होते हुए गुफा मंदिर तक पहुंचते हैं और यह मार्ग करीब 46 किलोमीटर लंबा है, जिसे तय करने में चार दिन लगते हैं। वहीं, बालटाल मार्ग सिर्फ 14 किलोमीटर लंबा है और उसी दिन यात्रा पूरी कर वापस बेस कैंप लौटा जा सकता है। सुरक्षा कारणों से इस वर्ष हेलीकॉप्टर सेवा उपलब्ध नहीं कराई गई है, जिससे सभी तीर्थयात्रियों को पैदल ही यात्रा करनी पड़ रही है।तीन जुलाई को शुरू हुई यह यात्रा 9 अगस्त 2025 को समाप्त होगी, जो श्रावण पूर्णिमा और रक्षा बंधन का दिन होगा। धार्मिक मान्यता के अनुसार, यह वही गुफा है जहां भगवान शिव ने माता पार्वती को अमरता और शाश्वत जीवन का रहस्य बताया था, इसलिए यह यात्रा हिंदू श्रद्धालुओं के लिए सबसे पवित्र तीर्थों में मानी जाती है। -
नई दिल्ली। केंद्रीय पेट्रोलियम एवं प्राकृतिक गैस मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने कहा है कि भारत द्वारा रूस से कच्चा तेल खरीदने के निर्णय ने न केवल देश की ऊर्जा जरूरतें पूरी कीं, बल्कि इससे वैश्विक ऊर्जा कीमतों को स्थिर बनाए रखने में भी मदद मिली। एक अंतरराष्ट्रीय समाचार चैनल को दिए साक्षात्कार में उन्होंने कहा कि अगर रूस का तेल बाजार से हट जाता, तो दुनिया को आपूर्ति की भारी कमी का सामना करना पड़ता और तेल की कीमतें 120-130 डॉलर प्रति बैरल से भी अधिक हो जातीं। पुरी ने बताया कि रूस दुनिया के सबसे बड़े तेल उत्पादकों में से एक है जो प्रतिदिन 90 लाख बैरल से अधिक कच्चा तेल निकालता है। वैश्विक तेल आपूर्ति करीब 9.7 करोड़ बैरल प्रतिदिन है और रूस का योगदान इसमें लगभग 10 प्रतिशत है। उन्होंने कहा कि यदि यह तेल उपलब्ध नहीं होता, तो वैश्विक उपभोक्ताओं को आपूर्ति की कमी के चलते भारी कीमतें चुकानी पड़तीं।केंद्रीय मंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में भारत ने ऊर्जा क्षेत्र में उपलब्धता, किफायती दर और टिकाऊ समाधान को प्राथमिकता दी है और वैश्विक तेल बाजार की स्थिरता में एक सकारात्मक भूमिका निभाई है। उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि रूसी तेल पर कभी कोई वैश्विक प्रतिबंध नहीं लगा था और भारत ने निर्धारित मूल्य सीमा के तहत रियायती दरों पर खरीदारी करके वैश्विक आपूर्ति को संतुलित रखने में योगदान दिया। पुरी ने आलोचकों पर निशाना साधते हुए कहा कि कुछ लोग, जिन्हें ऊर्जा बाजार की समझ नहीं है, भारत की नीतियों की अनावश्यक आलोचना करते हैं, जबकि असल में भारत की रणनीति ने वैश्विक संकट को टालने में मदद की है। उन्होंने यह भी बताया कि भारत दुनिया में सबसे कम कीमत पर स्वच्छ रसोई गैस अपने नागरिकों को उपलब्ध करा रहा है। प्रधानमंत्री उज्ज्वला योजना के तहत 10.3 करोड़ से ज्यादा परिवारों को सिर्फ 0.4 डॉलर प्रति किलोग्राम या 7-8 सेंट प्रति दिन की दर से रसोई गैस दी जा रही है। देश के 33 करोड़ घरों को सस्ती दरों पर क्लीन कुकिंग गैस मिल रही है। एक अन्य बयान में पुरी ने यह भी कहा कि भारत ने तेल और गैस खोज के लिए ओपन एकरेज लाइसेंसिंग पॉलिसी (OALP) के 10वें दौर के तहत 2.5 लाख वर्ग किलोमीटर क्षेत्र में नए ऊर्जा संसाधनों की खोज का लक्ष्य तय किया है। उन्होंने कहा कि सरकार का लक्ष्य 2025 तक 0.5 मिलियन वर्ग किलोमीटर और 2030 तक 1 मिलियन वर्ग किलोमीटर क्षेत्र को अन्वेषण के दायरे में लाना है।
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नई दिल्ली। भारत की सांस्कृतिक विरासत में यूनेस्को ने ‘मराठा मिलिट्री लैंडस्केप’ यानी ‘मराठा सैन्य परिदृश्य’ को अपनी विश्व धरोहर सूची में शामिल किया है। इसमें मराठा साम्राज्य के 12 ऐतिहासिक किलों को शामिल किया गया है, जिनमें 11 महाराष्ट्र और 1 तमिलनाडु में स्थित है। यह भारत की 44वीं संपत्ति है जो यूनेस्को विश्व धरोहर स्थल में शामिल हो गई है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने एक्स पोस्ट में लिखा, “इस सम्मान से हर भारतीय गदगद है। इन ‘मराठा मिलिट्री लैंडस्केप’ में 12 भव्य किले शामिल हैं, जिनमें से 11 महाराष्ट्र में और 1 तमिलनाडु में है।”पीएम मोदी ने आगे लिखा, “जब हम गौरवशाली मराठा साम्राज्य की बात करते हैं, तो हम इसे सुशासन, सैन्य शक्ति, सांस्कृतिक गौरव और सामाजिक कल्याण पर जोर से जोड़ते हैं। महान शासक किसी भी अन्याय के आगे न झुकने के अपने साहस से हमें प्रेरित करते हैं। मैं सभी से इन किलों को देखने और मराठा साम्राज्य के समृद्ध इतिहास के बारे में जानने का आह्वान करता हूं।”पीएम मोदी ने एक अन्य पोस्ट करते हुए लिखा,”ये 2014 में रायगढ़ किले की मेरी यात्रा की तस्वीरें हैं। छत्रपति शिवाजी महाराज को नमन करने का अवसर मिला था। उस यात्रा को मैं हमेशा संजो कर रखूंगा।” महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने इस उपलब्धि पर एक्स पोस्ट में लिखा, “सचमुच, यह महाराष्ट्र और भारत के लिए एक अद्भुत क्षण है।” उन्होंने संस्कृति मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत का जिक्र करते हुए कहा, “इसे संभव बनाने के लिए आपके सभी प्रयासों और समर्थन के लिए धन्यवाद।”वहीं, केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत ने कहा कि यह सम्मान भारत की प्राचीन सभ्यता और मराठा साम्राज्य की वास्तुकला की उत्कृष्टता को उजागर करता है। बता दें, ये किले 17वीं से 19वीं सदी के बीच निर्मित हुए और मराठा साम्राज्य की सैन्य रणनीति, स्थापत्य कला और पर्यावरण के साथ सामंजस्य का प्रतीक हैं। इन किलों में रायगढ़, शिवनेरी, तोरण, लोहगढ़ और साल्हेर जैसे नाम शामिल हैं, जो मराठा शौर्य और साहस की कहानियां बयां करते हैं। इस उपलब्धि से महाराष्ट्र में पर्यटन को भी बढ़ावा मिलने की उम्मीद है।
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नई दिल्ली। विमान दुर्घटना जांच ब्यूरो-ए.ए.आई.बी. ने पिछले महीने अहमदाबाद में हुई एयर इंडिया विमान दुर्घटना के संबंध में 15 पन्नों की प्रारम्भिक जांच रिपोर्ट कल रात जारी कर दी । इस दुर्घटना में 260 लोगों की मौत हो गई थी। रिपोर्ट में घटनाक्रम और एयर इंडिया के बोइंग 787 विमान ए.आई.-171 की ईंजन की स्थिति की जांच की गई। जांच एजेंसी ने अपनी रिपोर्ट में कहा है कि उड़ान भरने के कुछ सैकेंड में ही विमान के दोनों ईंजन के ईंधन नियंत्रण से संबंधित स्विच एक सैकंड के अंतराल पर ही रन से कटऑफ में बदल गए जिसके कारण यह भीषण दुर्घटना हुई।
प्रारम्भिक जांच रिपोर्ट के अनुसार एक पायलट को कॉकपिट वायस रिकॉर्डर पर दूसरे पायलट से यह कहते हुए भी सुना जा सकता है कि उसने ईंधन आपूर्ति प्रणाली को क्यों बंद कर दिया। इसके जवाब में पायलट ने कहा कि उसने ऐसा नहीं किया है। जांच एजेंसी ने कहा है कि ईंधन नियंत्रण से संबंधित स्विच को बाद में ऑन किया गया, लेकिन एक ईंजन में आई ख़राबी को दूर नहीं किया जा सका।
रिपोर्ट के अनुसार, विमान उड़ान भरने और दुर्घटनाग्रस्त होने के बीच तीस सैकेंड तक हवा में रहा। रिपोर्ट में कहा गया है कि दोनों पायलटों को उड़ान भरने से पहले आराम करने का पर्याप्त समय मिला था। रिपोर्ट में यह भी कहा गया है कि विमान में ईंधन भरने के लिए उपयोग में आने वाले बाउजर और टैंक से ईंधन के नमूने लिए गए और नागरिक उड्डयन महानिदेशालय प्रयोगशाला में इनकी जांच की गई और रिपोर्ट संतोषजनक पाई गई। जांच एजेंसी ने कहा है कि सभी हितधारकों से मांगी गई अतिरिक्त साक्ष्यों की जांच की जाएगी।
इस बीच, एयर इंडिया ने कहा है कि वह सभी विनियामकों और पक्षकारों के साथ मिलकर काम कर रहा है और अहमदाबाद विमान दुर्घटना की चल रही जांच में अधिकारियों के साथ पूरा सहयोग करता रहेगा।
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नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी शनिवार को युवाओं को बड़ा तोहफा देंगे। 12 जुलाई को ‘रोजगार मेला’ का आयोजन होने वाला है, जिसमें पीएम मोदी सुबह 11 बजे वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए जुड़ेंगे। इस दौरान अलग-अलग सरकारी विभागों और संगठनों में नियुक्त किए गए 51 से अधिक युवाओं को नियुक्ति पत्र सौंपे जाएंगे। इस अवसर पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी नव-नियुक्त कर्मचारियों को संबोधित भी करेंगे।
यह 16वां ‘रोजगार मेला’ देशभर के 47 स्थानों पर आयोजित किया जाएगा, जबकि नियुक्तियां केंद्र सरकार के मंत्रालयों और विभागों में की जा रही हैं। चयनित नए उम्मीदवार पूरे देश से आए हैं और वो जिन विभागों में शामिल होंगे, उनमें रेल मंत्रालय, गृह मंत्रालय, डाक विभाग, स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय, वित्तीय सेवा विभाग, श्रम एवं रोजगार मंत्रालय समेत कई अन्य मंत्रालय और विभाग शामिल हैं।‘रोजगार मेला’ पीएम मोदी की रोजगार सृजन को सर्वोच्च प्राथमिकता देने की प्रतिबद्धता की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। ‘रोजगार मेला’ प्रधानमंत्री मोदी की ओर से 22 अक्टूबर 2022 को मिशन मोड में शुरू किया गया था। -
नई दिल्ली। भारत के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार (एनएसए) अजित डोभाल ने शुक्रवार को ‘ऑपरेशन सिंदूर’ को लेकर पहली बार बयान दिया। उन्होंने अभियान की सफलता को लेकर खड़े किए जा रहे सवालों को सिरे से खारिज किया। डोभाल ने विदेशी मीडिया को चुनौती दी कि अगर उनके पास भारत के नुकसान को लेकर कोई सबूत है तो उसे पेश करें।
महज 23 मिनट में पूरे ऑपरेशन को अंजाम दिया गयाआईआईटी मद्रास के 62वें दीक्षांत समारोह में अजित डोभाल ने कहा कि हमने पाकिस्तान में नौ आतंकी ठिकानों को चुनकर निशाना बनाया। ये सीमावर्ती इलाके नहीं थे, बल्कि वो जगहें थीं जहां हमें यकीन था कि आतंकी मौजूद हैं। हम एक भी लक्ष्य से चूके नहीं और कोई अन्य जगह को निशाने पर लिया नहीं।डोभाल ने कहा कि हमला पूरी तरह सटीक और पूर्व-निर्धारित जानकारी के आधार पर किया गया था। महज 23 मिनट में पूरे ऑपरेशन को अंजाम दिया गया। इस दौरान भारतीय वायुसेना और सुरक्षा एजेंसियों ने मिलकर ऐसी सामरिक एकता दिखाई, जो पूरी दुनिया के लिए एक मिसाल बन गई।विदेशी मीडिया कोई भी फोटो या सैटेलाइट इमेज नहीं दिखा पायाउन्होंने कहा कि विदेशी मीडिया कोई भी फोटो या सैटेलाइट इमेज नहीं दिखा पाया और न ही यह बता पाया कि नुकसान क्या हुआ। एनएसए ने आगे कहा, “विदेशी प्रेस कहता रहा कि पाकिस्तान ने ये कर दिया, वो कर दिया, लेकिन मुझे एक फोटो दिखाइए जिसमें भारत का नुकसान नजर आया हो, यहां तक कि एक शीशा भी टूटा हो। हमसे कोई चूक नहीं हुई। हम उस पॉइंट तक सटीक थे जहां हमें पता था कि कौन कहां है।”आप मुझे एक भी तस्वीर या सैटेलाइट इमेजरी दिखा दीजिएउन्होंने चुनौती देते हुए कहा कि आप मुझे एक भी तस्वीर या सैटेलाइट इमेजरी दिखा दीजिए जिसमें भारत को कोई नुकसान हुआ हो, यहां तक कि किसी कांच की खिड़की तक को नुकसान पहुंचा हो। इस पूरे ऑपरेशन में भारतीय सेना की आधुनिक तकनीक और रणनीति ने अहम भूमिका निभाई। डोभाल ने कहा कि हम इस बात पर गर्व करते हैं कि इस ऑपरेशन में स्वदेशी और अत्याधुनिक सिस्टम जैसे ब्रह्मोस, एकीकृत एयर कंट्रोल और कमांड सिस्टम और बैटलफील्ड सर्विलांस की भूमिका निर्णायक रही। हमने उनकी पोजीशन का सटीक अनुमान लगाया और उस आधार पर हमला किया। अजित डोभाल ने तंज कसते हुए कहा कि विदेशी मीडिया ने बड़े-बड़े दावे किए, लेकिन क्या उनके पास कोई सबूत है? ‘न्यूयॉर्क टाइम्स’ ने बहुत कुछ लिखा, लेकिन क्या उन्होंने एक भी वैध इमेज दिखाई जो भारत पर हुए नुकसान की पुष्टि करे? -
नई दिल्ली। सुगम टोल संचालन सुनिश्चित करने और ‘ढीले फास्टैग’ की रिपोर्टिंग को मज़बूत करने के लिए, एनएचएआई (NHAI) ने टोल संग्रह एजेंसियों और रियायतधारकों के लिए अपनी नीति को और सुव्यवस्थित किया है। ताकि वे ‘ढीले फास्टैग’ की तुरंत रिपोर्ट कर उन्हें ब्लैकलिस्ट कर सकें। ‘ढीले फास्टैग’को आमतौर पर “टैग-इन-हैंड” भी कहा जाता है।
सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय ने इसकी जानकारी देते हुए कहा कि वार्षिक पास प्रणाली और मल्टी-लेन फ्री फ्लो (एमएलएफएफ) टोलिंग जैसी आगामी पहलों को देखते हुए, फास्टैग की प्रामाणिकता और प्रणाली की विश्वसनीयता सुनिश्चित करने के लिए इस मुद्दे का समाधान करना आवश्यक है।दरअसल, कभी-कभी वाहन मालिक जानबूझकर वाहन के विंडस्क्रीन पर फास्टैग नहीं लगाते। इस से परिचालन सम्बंधी चुनौतियां पैदा होती हैं, जिससे लेन में भीड़भाड़, झूठे चार्जबैक, बंद टोल प्रणाली में दुरुपयोग, इलेक्ट्रॉनिक टोल संग्रह व्यवस्था में बाधा आती है, जिसके परिणामस्वरूप टोल प्लाजा पर अनावश्यक देरी होती है और राष्ट्रीय राजमार्ग के अन्य उपयोगकर्ताओं को असुविधा होती है।समय पर सुधारात्मक उपाय सुनिश्चित करने के लिए, एनएचएआई ने एक समर्पित ईमेल आईडी उपलब्ध कराई है और टोल संग्रह एजेंसियों और रियायतधारकों को ऐसे फास्टैग की तुरंत सूचना देने का निर्देश दिया है। प्राप्त रिपोर्टों के आधार पर, एनएचएआई रिपोर्ट किए गए फास्टैग को ब्लैकलिस्ट/हॉटलिस्ट करने के लिए तुरंत कार्रवाई करेगा।वहीं दूसरी ओर 98% से अधिक की व्यापक पहुंच के साथ, फास्टैग ने देश में इलेक्ट्रॉनिक टोल संग्रह प्रणाली में क्रांति ला दी है। ढीले फास्टैग या “हाथ में टैग” इलेक्ट्रॉनिक टोल संग्रह कार्यों की दक्षता के लिए एक चुनौती हैं। यह पहल टोल संचालन को और अधिक कुशल बनाने में मदद करेगी, जिससे राष्ट्रीय राजमार्ग उपयोगकर्ताओं के लिए निर्बाध और सहज यात्रा सुनिश्चित होगी। -
नई दिल्ली। AI टेक्नोलॉजी की तेज़ी से बढ़ती दुनिया में Google अपने टॉप टैलेंट को बनाए रखने के लिए भारी भरकम वेतन दे रहा है। सॉफ्टवेयर इंजीनियरों को यहां सालाना $340,000 (करीब 2.8 करोड़ रुपए) तक की बेस सैलरी दी जा रही है। यह आंकड़े गूगल द्वारा अमेरिकी लेबर डिपार्टमेंट को दिए गए वीज़ा संबंधित डाटा से सामने आए हैं । ये सैलरी सिर्फ बेस पे को दिखाती है, इसमें बोनस और स्टॉक ऑप्शन शामिल नहीं हैं, जिससे कुल इनकम और भी ज़्यादा हो सकती है।
गूगल में सॉफ्टवेयर इंजीनियर सबसे ज़्यादा सैलरी पाने वाले कर्मचारी हैं। इसके अलावा अन्य तकनीकी पदों पर भी अच्छी कमाई हो रही है:रिसर्च इंजीनियर: $265,000 तकहार्डवेयर इंजीनियर: $284,000 तकप्रोडक्ट और प्रोजेक्ट मैनेजमेंट के रोल भी तगड़ेगूगल के ऐप और सर्विस को चलाने वाले प्रोडक्ट मैनेजर को सालाना $280,000 तक सैलरी मिल रही है।अन्य मैनेजमेंट रोल:टेक्निकल प्रोग्राम मैनेजर: $270,000 तकजनरल प्रोग्राम मैनेजर: $236,000 तकडेटा, रिसर्च और डिज़ाइन वाले रोल भी हाई पे मेंगूगल में डेटा साइंटिस्ट और रिसर्चर भी हाई पे ग्रुप में आते हैं। कुछ की सैलरी $303,000 तक जाती है। वहीं, UX डिजाइनर और UX रिसर्चर को $124,000 से लेकर $230,000 तक सैलरी मिल रही है, जो उनकी सीनियरिटी और स्किल पर निर्भर करती है।फाइनेंस और कंसल्टिंग रोल्स भी पीछे नहींगूगल में तकनीकी ही नहीं, बिज़नेस से जुड़े कई रोल्स में भी शानदार सैलरी मिलती है:फाइनेंशियल एनालिस्ट: $225,000 तकबिज़नेस सिस्टम एनालिस्ट: $201,000 तकसर्च क्वालिटी एनालिस्ट: $235,000 तकसोल्यूशंस कंसल्टेंट: $282,000 तककर्मचारियों का परफॉर्मेंस अब GRAD से होगा तयGoogle ने अपने कर्मचारियों के परफॉर्मेंस रिव्यू सिस्टम में बदलाव किया है। अब कंपनी GRAD (Googler Reviews and Development) नाम का नया टूल इस्तेमाल कर रही है, जिसमें हर कर्मचारी की सालाना रेटिंग दी जाती है। रेटिंग स्केल “Not Enough Impact” से शुरू होकर “Transformative Impact” तक जाती है, और इसी आधार पर बोनस और इक्विटी (शेयर ऑप्शन) तय होते हैं। -
नई दिल्ली। महिला एवं बाल विकास मंत्रालय 12 जुलाई को गुजरात के केवडिया में क्षेत्रीय बैठक आयोजित कर रहा है। बैठक की अध्यक्षता केन्द्रीय महिला एवं बाल विकास मंत्री अन्नपूर्णा देवी करेंगी। उनके साथ महिला एवं बाल विकास राज्य मंत्री सावित्री ठाकुर और गुजरात सरकार की महिला एवं बाल विकास मंत्री भानुबेन बाबरिया भी रहेंगी।
बैठक में भाग लेने वाले राज्यों और केन्द्र शासित प्रदेशों में गुजरात, महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश, राजस्थान, गोवा, दादरा एवं नगर हवेली और दमन एवं दीव शामिल हैं। इन राज्यों/केन्द्र शासित प्रदेशों के महिला एवं बाल विकास विभागों के मंत्री और वरिष्ठ अधिकारी भी इसमें भाग लेंगे। बैठक में सर्वोत्तम कार्य प्रणालियों, नवीन मॉडलों और सफल हस्तक्षेपों की प्रस्तुति भी होगी, जिससे पूरे क्षेत्र में पारस्परिक शिक्षा और अनुकरण को प्रोत्साहन मिलेगा।क्षेत्रीय बैठक की केन्द्र और राज्य के बीच रचनात्मक संवाद और तालमेल के लिए एक मंच के रूप में कल्पना की गइ्र है, जिसमें मुख्य रूप से मंत्रालय की प्रमुख योजनाओं – मिशन शक्ति, मिशन वात्सल्य और सक्षम आंगनवाड़ी एवं पोषण 2.0 – के कार्यान्वयन को मजबूती प्रदान करना है। मुख्य विचार-विमर्श में सेवा वितरण, पोषण ट्रैकर जैसे डिजिटल उपकरणों का एकीकरण, फेस रिकग्निशन सिस्टम (एफआरएय) जैसी उभरती प्रौद्योगिकियों का उपयोग, और जमीनी स्तर पर प्रौद्योगिकी-सक्षम और एकीकृत सेवा वितरण को बढ़ाने की रणनीतियों जैसे पहलुओं पर चर्चा होगी।कार्यक्रम के अंतर्गत, मंत्रालय “एक पेड़ माँ के नाम” पहल के तहत वृक्षारोपण अभियान चलाएगा। प्रतिनिधि बाल पोषण पार्क, स्टैच्यू ऑफ यूनिटी का भी दौरा करेंगे और नर्मदा आरती तथा प्रकाश एवं ध्वनि शो में भाग लेंगे। - वडोदरा। गुजरात के वडोदरा जिले में बुधवार सुबह पादरा कस्बे के निकट गंभीरा गांव के पास महिसागर नदी पर बने चार दशक पुराने पुल का एक हिस्सा ढह जाने से कई वाहन नदी में गिर गए। यह पुल आणंद और वडोदरा जिलों को जोड़ता है। एक अधिकारी ने बताया, ‘‘एसएसजी अस्पताल में उपचाराधीन पांच घायलों में से एक, दहेवन निवासी 45 वर्षीय नरेंद्र सिंह परमार की शुक्रवार को मौत हो गई।’’वडोदरा के जिलाधिकारी अनिल धमेलिया ने बताया कि बृहस्पतिवार रात तक 18 शव बरामद किए जा चुके थे और तीसरे दिन भी तलाश अभियान जारी है। घटनास्थल पर मौजूद टीम दो और लापता लोगों का पता लगाने की कोशिश कर रही हैं। गुजरात के मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल ने पुल ढहने के सिलसिले में बृहस्पतिवार को कार्रवाई करते हुए राज्य के सड़क और भवन विभाग के चार अभियंताओं को निलंबित कर दिया।राज्य के मंत्री ऋषिकेश पटेल ने घटनास्थल का दौरा किया और मीडिया को बताया कि मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल द्वारा गठित एक समिति द्वारा प्रस्तुत प्रारंभिक रिपोर्ट के आधार पर निलंबन की कार्रवाई की गई है। उन्होंने बताया कि राज्य के सड़क एवं भवन विभाग की एक उच्च स्तरीय जांच समिति 30 दिनों में एक विस्तृत रिपोर्ट प्रस्तुत करेगी।दौरे के बाद मंत्री ने बताया कि राज्य में जिन 7,000 पुलों का सर्वेक्षण किया गया है, उनमें से सरकार ने उन पुलों की पहचान की है, जिनकी मरम्मत या नए पुल के निर्माण की आवश्यकता है। उन्होंने कहा, ‘‘जांच समिति की प्रारंभिक रिपोर्ट के अनुसार, यह पाया गया है कि पुल का जोड़ टूटने के कारण पुल ढह गया। सड़क एवं भवन विभाग की यह समिति 30 दिनों के भीतर एक विस्तृत रिपोर्ट देगी।’’
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नई दिल्ली। इंडियन कंप्यूटर इमरजेंसी रिस्पांस टीम (सीईआरटी-इन) द्वारा शुक्रवार को जारी एक नई रिपोर्ट में कहा गया है कि दुनिया डिजिटल से क्वांटम इकोनॉमी बनने की ओर एक बड़े बदलाव के मोड़ पर खड़ी है। भारत की राष्ट्रीय साइबर एजेंसी द्वारा ग्लोबल साइबर सिक्योरिटी फर्म एसआईएसए के सहयोग से संकलित आंकड़े इस बात पर प्रकाश डालते हैं कि क्वांटम कंप्यूटिंग अब एक भविष्यवादी विचार नहीं, बल्कि साइबर सिक्योरिटी और डिजिटल इंफ्रास्ट्रक्चर पर गहरे प्रभाव डालने वाली एक तेजी से उभरती वास्तविकता है।
क्वांटम कंप्यूटर, जो क्वांटम मेकैनिज्म के सिद्धांतों का इस्तेमाल कर काम करते हैं, अब रिसर्च लैब से बाहर निकलकर वास्तविक दुनिया में उपयोग में आ रहे हैं‘ट्रांजिशनिंग टू क्वांटम साइबर रेडीनेस’ शीर्षक वाली इस रिपोर्ट में बताया गया है कि क्वांटम कंप्यूटर, जो क्वांटम मेकैनिज्म के सिद्धांतों का इस्तेमाल कर काम करते हैं, अब रिसर्च लैब से बाहर निकलकर वास्तविक दुनिया में उपयोग में आ रहे हैं। कई ग्लोबल टेक कंपनियों ने पहले ही शानदार प्रगति कर ली है। दिसंबर 2024 में लॉन्च हुई गूगल की विलो चिप ने 105 क्यूबिट के साथ एरर करेक्शन में एक बड़ी उपलब्धि हासिल की है।माइक्रोसॉफ्ट ने फरवरी 2025 में अपना मेजराना-1 प्रोसेसर पेश किया, जिसका लक्ष्य दस लाख क्यूबिट तक विस्तार करना हैमाइक्रोसॉफ्ट ने फरवरी 2025 में अपना मेजराना-1 प्रोसेसर पेश किया, जिसका लक्ष्य दस लाख क्यूबिट तक विस्तार करना है। आईबीएम का लक्ष्य 2029 तक फॉल्ट-टोलरेंट सिस्टम बनाना है और क्वांटिनम ने रिकॉर्ड तोड़ परिशुद्धता के साथ 56-क्यूबिट ट्रैप्ड-आयन क्वांटम कंप्यूटर बनाया है। रिपोर्ट के अनुसार, नोकिया भी क्वांटम नेटवर्किंग के क्षेत्र में आगे बढ़ रहा है।यह रिपोर्ट ऐसे समय में आई है जब संयुक्त राष्ट्र ने 2025 को इंटरनेशनल ईयर ऑफ क्वांटम साइंस एंड टेक्नोलॉजी वर्ष घोषित किया हैयह रिपोर्ट ऐसे समय में आई है जब संयुक्त राष्ट्र ने 2025 को इंटरनेशनल ईयर ऑफ क्वांटम साइंस एंड टेक्नोलॉजी वर्ष घोषित किया है, जो दर्शाता है कि ग्लोबल कम्युनिटी इस बदलाव को कितनी गंभीरता से ले रहा है। सेमीकंडक्टर से लेकर सिस्टम सॉफ्टवेयर तक क्वांटम कंप्यूटिंग से जुड़ा इकोसिस्टम तेजी से विकसित हो रहा है।क्वांटम कंप्यूटिंग की क्षमताएं अपार हैं, लेकिन इसके साथ गंभीर साइबर सुरक्षा जोखिम भी जुड़े हैंरिपोर्ट में कहा गया है कि क्वांटम कंप्यूटिंग की क्षमताएं अपार हैं, लेकिन इसके साथ गंभीर साइबर सुरक्षा जोखिम भी जुड़े हैं। क्वांटम कंप्यूटर आज की मशीनों की तुलना में जटिल समस्याओं को कहीं ज्यादा तेजी से हल कर सकते हैं, जिसका मतलब यह भी है कि वे मौजूदा एन्क्रिप्शन मेथड को ब्रेक कर सकते हैं। आरएसए जैसे एन्क्रिप्शन एल्गोरिदम, जिनका वित्तीय लेनदेन, मैसेजिंग ऐप, डिजिटल साइन और यहां तक कि ब्लॉकचेन सिस्टम की सुरक्षा के लिए इस्तेमाल किया जाता है, को आसानी से क्रैक किया जा सकता है।कई संगठनों को अभी भी अपने मौजूदा क्रिप्टोग्राफिक सिस्टम की स्पष्ट जानकारी नहीं हैइससे बड़े पैमाने पर डेटा ब्रीच हो सकता है और डिजिटल इकोनॉमी की रीढ़ को ही खतरा हो सकता है। रिपोर्ट के अनुसार, एक बड़ी चुनौती यह भी है कि कई संगठनों को अभी भी अपने मौजूदा क्रिप्टोग्राफिक सिस्टम की स्पष्ट जानकारी नहीं है। भविष्य में जब पोस्ट-क्वांटम क्रिप्टोग्राफी की आवश्यकता होगी, ये ब्लाइंड स्पॉट्स विनाशकारी हो सकते हैं। -
नयी दिल्ली. उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने बृहस्पतिवार को कहा कि अगर ईश्वर की कृपा रही तो वह "सही समय पर" सेवानिवृत्त हो जाएंगे। उन्होंने यह टिप्पणी जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय (जेएनयू) में एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए की।
उन्होंने मजाकिया अंदाज में कहा, "ईश्वर की कृपा रही तो मैं सही समय पर, अगस्त 2027 में सेवानिवृत्त हो जाऊंगा।" धनखड़ का 14वें उपराष्ट्रपति के रूप में पांच साल का कार्यकाल 10 अगस्त, 2027 को समाप्त हो जाएगा। पेशे से वकील धनखड़ को जब भाजपा के नेतृत्व वाले राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) ने उपराष्ट्रपति पद का उम्मीदवार चुना था तब वह पश्चिम बंगाल के राज्यपाल थे। -
श्रीनगर. दक्षिण कश्मीर के हिमालयी क्षेत्र में स्थित पवित्र अमरनाथ गुफा में बृहस्पतिवार को 17,000 से अधिक तीर्थयात्रियों ने भगवान शिव के दर्शन किए, जिसके साथ ही पहले सप्ताह में कुल 1,45,000 तीर्थयात्री दर्शन कर चुके हैं। अधिकारियों ने यह जानकारी दी। उन्होंने बताया कि इन तीर्थयात्रियों में 12,471 पुरुष, 4,000 महिलाएं, 182 बच्चे, सुरक्षा बल के 253 जवान और 113 साधु-साध्वी शामिल हैं।
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बदायूं . बदायूं जिले के वजीरगंज क्षेत्र में बदायूं-मुरादाबाद मार्ग पर बृहस्पतिवार शाम दो मोटरसाइकिलों की आमने-सामने की जबरदस्त टक्कर में चार लोगों की मौत हो गई तथा एक अन्य व्यक्ति गंभीर रूप से घायल हो गया। पुलिस ने यह जानकारी दी। वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक बृजेश कुमार सिंह ने बताया कि वजीरगंज थाना क्षेत्र में बगरेन करखेड़ी मार्ग पर एक मोटरसाइकिल से तीन लोग तथा एक अन्य मोटरसाइकिल से दो लोग कहीं जा रहे थे तथा घनी झाड़ियां और मोड़ होने की वजह से दोनों गाड़ियों की आपस में जोरदार भिड़ंत हो गई। उन्होंने बताया कि पुलिस और एंबुलेंस मौके पर पहुंची और घायलों को सैदपुर एवं बिसौली प्राथमिक और उच्च प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र पर ले जाया गया जहां डाक्टरों ने सोमपाल मीणा (52), अतर सिंह मीणा (43), बच्चू सिंह (57) और संजय मीणा (26) को मृत घोषित कर दिया। उन्होंने बताया कि गंभीर रूप से घायल अशोक मीणा (37) को बदायूं जिला अस्पताल रेफर किया गया है।
सिंह ने बताया कि सभी के शव पोस्टमार्टम के लिए ले जाये गये हैं। - नई दिल्ली। सावन के पावन महीने में बड़ी संख्या में श्रद्धालु हरिद्वार से कांवड़ लाने के लिए यात्रा करते हैं। दिल्ली-मेरठ और आसपास से बड़े स्तर पर श्रद्धालु कांवड़ लाते हैं। इस बार 11 जुलाई से सावन महीने की शुरुआत हो रही है। ऐसे में यात्रियों और श्रद्धालुओं की सुविधा को ध्यान में रखते हुए एनसीआरटीसी (राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र परिवहन निगम) ने नमो भारत की फ्रीक्वेंसी बढ़ाने का फैसला किया है।वहीं, 11 जुलाई से न्यू अशोक नगर और मेरठ साउथ के बीच परिचालित कॉरिडोर पर नमो भारत ट्रेन की फ्रीक्वेंसी बढ़ा दी गई है। कांवड़ यात्रा के दौरान नमो भारत ट्रेन 15 मिनट के बजाय 10 मिनट के अंतराल पर चलेगी। ये सुविधा सुबह 8 से 11 बजे तक और शाम को 5 बजे से 8 बजे तक यात्रियों को मिलेगी।ये सेमी हाई स्पीड ट्रेन फिलहाल 11 स्टेशनों के बीच 55 किलोमीटर के सेक्शन पर चल रही है, जिसकी राइड्स का आंकड़ा 1.25 करोड़ के भी पार पहुंच गया है। कांवड़ यात्रा के दौरान दिल्ली से लेकर हरिद्वार तक सड़कों पर वाहनों का दबाव भी काफी बढ़ जाता है। भारी वाहनों और बसों का मेरठ में प्रवेश भी कुछ समय के लिए बंद कर दिया जाता है। ऐसे में नमो भारत की फ्रीक्वेंसी बढ़ाने से मेरठ और आसपास के लोगों को काफी सुविधा मिलेगी।मेरठ में इस समय नमो भारत और मेरठ मेट्रो से जुड़े कार्य भी प्रगति पर हैं। श्रद्धालुओं की सुरक्षा और उनके हरसंभव सहयोग के लिए एनसीआरटीसी सभी जरूरी कदम उठा रही है। मेरठ में साइट्स व स्टेशनों को सुरक्षित बनाए रखने के साथ-साथ श्रद्धालुओं की सुविधा व सुरक्षा सुनिश्चित की जाएगी।यातायात प्रबंधन के तहत प्रमुख स्थलों पर एनसीआरटीसी की ओर से ट्रैफिक मार्शल तैनात किए जा रहे हैं। सभी स्टेशनों और उनके आसपास पर्याप्त रोशनी की व्यवस्था है। नमो भारत अलाइनमेंट से गुजरने वाली सड़कों पर गड्ढों और क्षतिग्रस्त हिस्सों की मरम्मत कर दी गई है और शेष कार्य को भी पूरा किया जा रहा है। इस दौरान सड़कों पर निर्माण गतिविधि नहीं की जाएगी, विशेषकर भीड़भाड़ वाले क्षेत्रों में। स्टेशन के पास या साइट के आसपास वाहन पार्क नहीं किए जाएंगे।
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रांची. केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने बृहस्पतिवार को कहा कि क्षेत्रीय परिषदें महज चर्चा के मंच से आगे बढ़कर ‘सहयोग के इंजन' में तब्दील हो गई हैं। उन्होंने कहा कि उनकी बैठकों में उठाए गए 83 प्रतिशत मुद्दों का समाधान हो चुका है। शाह ने यह टिप्पणी 27वीं पूर्वी क्षेत्रीय परिषद की बैठक में की, जिसमें झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन और ओडिशा के मुख्यमंत्री मोहन चरण माझी सहित चार पूर्वी राज्यों - झारखंड, बिहार, ओडिशा और पश्चिम बंगाल के प्रतिनिधियों ने भाग लिया। शाह ने कहा, ‘‘मोदी सरकार के तहत, क्षेत्रीय परिषदें महज ‘चर्चा के मंच' से बढ़कर ‘सहयोग के इंजन' में बदल गई हैं। क्षेत्रीय परिषद की बैठकों के दौरान 83 प्रतिशत मुद्दों का समाधान इन मंचों की प्रभावशीलता और बढ़ते महत्व को रेखांकित करता है।'' आज की बैठक में मसानजोर बांध, तैयबपुर बैराज और इंद्रपुरी जलाशय से संबंधित लंबे समय से लंबित जटिल मुद्दों पर विस्तार से चर्चा की गई, साथ ही बिहार और झारखंड राज्यों के बीच कई सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रमों (पीएसयू) की परिसंपत्तियों और देनदारियों के बंटवारे से संबंधित मुद्दों पर भी चर्चा की गई, जो बिहार के विभाजन के समय से लंबित हैं। शाह ने कहा कि 2004 से 2014 के बीच क्षेत्रीय परिषदों की 25 बैठकें हुई थीं जिनकी संख्या 2014 से 2025 के बीच बढ़कर 63 हो गई। शाह ने कहा, ‘‘हम प्रति वर्ष औसतन 2 से 3 बैठकों से आगे बढ़कर प्रति वर्ष औसतन 6 बैठकें करने लगे हैं। इन बैठकों में कुल 1,580 मुद्दों पर चर्चा की गई, जिनमें से 1287 यानी 83 प्रतिशत मुद्दों का समाधान कर दिया गया है।'' गृह मंत्री ने कहा कि केंद्र नए सिरे से ध्यान देते हुए और नयी दिशा के साथ राज्यों के विकास को आगे बढ़ाने के लिए प्रतिबद्ध है और इस लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए सामूहिक प्रयासों की जरूरत है। शाह ने कहा, ‘‘प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने सहकारी संघवाद के आधार पर देश के सामने टीम भारत का विजन प्रस्तुत किया है। ...राज्यों के विकास के माध्यम से भारत के विकास और 2047 तक भारत को पूर्ण विकसित राष्ट्र बनाने के लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए हम सभी को मिलकर आगे बढ़ना चाहिए।'' उन्होंने कहा कि पूर्वी राज्यों को तीन नए आपराधिक कानूनों के शीघ्र कार्यान्वयन की दिशा में और अधिक प्रयास करने चाहिए। उन्होंने कहा कि इन राज्यों में मादक पदार्थों पर नियंत्रण के मामले में भी और अधिक काम किए जाने की आवश्यकता है, जिसके लिए जिला स्तरीय एनसीओआरडी बैठकें नियमित रूप से आयोजित की जानी चाहिए। शाह ने चारों राज्यों को नक्सल समस्या को खत्म करने में पूर्ण सहयोग का आश्वासन दिया और कहा कि 31 मार्च, 2026 तक इसे पूरी तरह से खत्म कर दिया जाएगा। गृह मंत्री ने कहा कि बिहार, झारखंड और ओडिशा काफी हद तक नक्सलवाद से मुक्त हो चुके हैं, जबकि पश्चिम बंगाल पहले ही इस समस्या से मुक्त हो चुका है। बैठक में भारत के सशस्त्र बलों की बहादुरी के लिए सर्वसम्मति से धन्यवाद प्रस्ताव पारित किया गया।
शाह ने कहा, ‘‘ऑपरेशन सिंदूर के दौरान, हमारी सेनाओं ने पूरी दुनिया के सामने अद्वितीय वीरता, सटीकता और बहादुरी का प्रदर्शन किया है।'' उन्होंने कहा, ‘‘प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने दृढ़ संकल्प दिखाया है और वैश्विक समुदाय को आतंकवाद के विरुद्ध भारत के दृढ़ रुख का स्पष्ट संदेश दिया है।'' बैठक में महिलाओं और बच्चों के खिलाफ यौन अपराधों के मामलों की त्वरित जांच, उनके शीघ्र निपटारे के लिए फास्ट ट्रैक विशेष न्यायालयों (एफटीएससी) का कार्यान्वयन, प्रत्येक गांव के निर्दिष्ट क्षेत्र में भौतिक बैंकिंग सुविधाएं प्रदान करना, आपातकालीन प्रतिक्रिया सहायता प्रणाली का कार्यान्वयन आदि मुद्दों पर चर्चा की गई। अधिकारियों ने बताया कि सोरेन ने बैठक में राज्य से संबंधित 31 मुद्दे उठाए, जिनमें कोयला क्षेत्र के केंद्रीय सार्वजनिक उपक्रमों पर 1.36 लाख करोड़ रुपये के बकाया का मुद्दा भी शामिल है। उन्होंने ‘एमएसएमई' के माध्यम से बेहतर बुनियादी ढांचे और रोजगार सृजन का आह्वान किया। झारखंड ने आदिवासियों के लिए अलग सरना धार्मिक संहिता का मुद्दा भी उठाया।
बुधवार रात राज्य की राजधानी पहुंचे शाह बैठक के बाद एक विशेष विमान से दिल्ली के लिए रवाना हो गए।
सोरेन ने सोशल मीडिया मंच ‘एक्स' पर एक पोस्ट में कहा कि मांगों में सार्वजनिक उपक्रमों में स्थानीय निवासियों को प्राथमिकता, खदानों को सुरक्षित तरीके से बंद करना और पर्यटन को बढ़ावा देना तथा आदिवासी विरासत की रक्षा के लिए केंद्र का समर्थन शामिल हैं। राज्य में बुनियादी ढांचे को बढ़ाने पर भी ध्यान केंद्रित किया गया, जिसमें महत्वपूर्ण रेलवे और राजमार्ग योजनाओं के अलावा एक मेट्रो परियोजना का प्रस्ताव भी शामिल है। बिहार के उपमुख्यमंत्री सम्राट चौधरी ने कहा, ‘‘बिहार के विभाजन के बाद बिहार और झारखंड के बीच संपत्ति के बंटवारे सहित लंबित मुद्दों को सुलझाने के लिए एक समिति का गठन किया गया।'' अधिकारियों के अनुसार, झारखंड ने कोयला क्षेत्र (अधिग्रहण और विकास) अधिनियम में संशोधन की मांग की ताकि खनन कंपनियां खनन पूरा होने के बाद राज्य सरकार को जमीन वापस कर दें। -
नयी दिल्ली. राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र परिवहन निगम (एनसीआरटीसी) ने बृहस्पतिवार को कहा कि 11 जुलाई को सावन के महीने की शुरुआत से दिल्ली-मेरठ कॉरिडोर पर नमो भारत ट्रेन के फेरे बढ़ाए जाएंगे। एनसीआरटीसी ने एक बयान में कहा कि यात्रियों के आवागमन में वृद्धि को ध्यान में रखते हुए न्यू अशोक नगर और मेरठ साउथ स्टेशनों के बीच सुबह 8 बजे से 11 बजे तक और शाम पांच बजे से आठ बजे तक 15 मिनट की जगह हर 10 मिनट में ट्रेन उपलब्ध रहेगी। बयान में कहा गया है कि कांवड़ यात्रा के दौरान लाखों तीर्थयात्री हरिद्वार में गंगा नदी से जल लाने के लिए लंबी दूरी तय करते हैं। कांवड़ यात्रा के दौरान दिल्ली, उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड के कुछ हिस्सों में सड़कों पर भारी यातायात होता है। मेरठ में, तीर्थयात्रियों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए इस अवधि के दौरान आमतौर पर भारी वाहनों और बसों का प्रवेश प्रतिबंधित रहता है। निगम ने कहा, "हमें उम्मीद है कि ट्रेनों की संख्या बढ़ने से सड़कों पर दबाव कम होगा और दिल्ली तथा आसपास के क्षेत्रों से आने वाले श्रद्धालुओं के लिए एक तेज व अधिक आरामदायक विकल्प उपलब्ध होगा।" बयान में कहा गया है, "प्रमुख स्थानों पर ट्रैफिक मार्शल तैनात किए जा रहे हैं और सभी स्टेशनों व आसपास के इलाकों में पर्याप्त रोशनी की व्यवस्था की गई है।