वैश्विक स्तर पर भारतीय पाकशास्त्र और व्यंजनों को बढ़ावा देने की आवश्यकता :डीजी पर्यटन
नयी दिल्ली. केंद्रीय पर्यटन मंत्रालय के एक शीर्ष अधिकारी ने बुधवार को कहा कि भारतीय पाकशास्त्र और व्यंजनों की विरासत 'सांस्कृतिक स्मृति' और भोजन बनाने के क्षेत्रीय तरीकों से प्रेरित है, इसलिए इन परंपराओं को मजबूत करने और वैश्विक स्तर पर इसे बढ़ावा देने की जरूरत है। पर्यटन मंत्रालय के अतिरिक्त सचिव और महानिदेशक सुमन बिल्ला ने यहां एक कार्यक्रम में अपने संबोधन में कहा कि भारत की लुप्त होती पाकशास्त्र परंपराओं को संरक्षित करने की भी आवश्यकता है। पर्यटन मंत्रालय की ओर से जारी एक बयान में यह जानकारी दी गयी।
बयान के मुताबिक इस अवसर पर राष्ट्रीय युवा शेफ प्रतियोगिता (एनवाईसीसी) की शुरुआत की घोषणा की गई। इसका उद्देश्य देश भर के अंतिम वर्ष के छात्रों के बीच बेहतरीन पाकशास्त्र प्रतिभा की खोज करना, उनका मार्गदर्शन करना और उनका प्रदर्शन करना है। यह प्रतियोगिता पीएचडी चैंबर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री (पीएचडीसीसीआई) द्वारा पर्यटन मंत्रालय के सहयोग से आयोजित की जा रही है। पर्यटन मंत्रालय के अतिरिक्त सचिव बिल्ला ने कहा, ‘‘हमारी पाकशास्त्र की विरासत सांस्कृतिक स्मृति और क्षेत्रीय तकनीकों पर आधारित है। हमें इन परंपराओं को सुदृढ़ करना होगा और वैश्विक स्तर पर भारतीय व्यंजनों को बढ़ावा देना होगा।'' उन्होंने युवा शेफ से रचनात्मक ढंग से सोचने और अंतरराष्ट्रीय पाकशास्त्र मंच पर आत्मविश्वास के साथ भारत का प्रतिनिधित्व करने का आग्रह किया।
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