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- नयी दिल्ली। पतंजलि आयुर्वेद के मालिकाना हक वाली तेल कंपनी रुचि सोया अगले साल अपना अनुवर्ती सार्वजनिक निर्गम (एफपीओ) पेश करेगी। स्वामी रामदेव ने कहा कि इसका मकसद कंपनी के प्रवर्तकों की शेयरधारिता को नीचे लाना है। पतंजलि आयुर्वेद ने पिछले साल रुचि सोया का अधिग्रहण किया था। रामदेव ने कहा कि उसके बाद से कंपनी सही तरीके से काम कर रही है और चालू वित्त वर्ष में ऊंची वृद्धि की उम्मीद है। पिछले साल पतंजलि ने दिवाला प्रक्रिया से गुजर रही रुचि सोया का अधिग्रहण 4,350 करोड़ रुपये में किया था। कंपनी के प्रवर्तकों की अभी कंपनी में 99 प्रतिशत हिस्सेदारी है। सूचीबद्ध कंपनी होने के नाते रुचि सोया के प्रवर्तकों को अपनी शेयरधारिता कम करनी होगी ताकि न्यूनतम 25 प्रतिशत शेयर बाजार में सूचीबद्ध होने के नियम का अनुपालन किया जा सके। रामदेव ने कहा, हम अगले साल एफपीओ लाने जा रहे हैं। यह कंपनी में हमारी शेयरधारिता को कम करेगा।कंपनी के अधिकारियों ने बताया कि भारतीय प्रतिभूति और विनिमय बोर्ड (सेबी) के नियमानुसार कंपनी के प्रवर्तकों को जून 2021 तक अपनी 10 प्रतिशत शेयरधारिता कम करनी होगी और 25 प्रतिशत तक 36 महीनों के भीतर कम करनी होगी। इस संबंध में कंपनी का निदेशक मंडल प्रस्ताव मंजूर कर चुका है। हालांकि रामदेव ने प्रस्तावित एफपीओ के आकार को लेकर कोई घोषणा नहीं की।
- नयी दिल्ली। सार्वजनिक क्षेत्र की एनर्जी एफिशिएंसी सर्विसेज लिमिटेड (ईईएसएल) ने महुआ आचार्य को अपनी नयी अनुषंगी कंपनी कन्वर्जेंस का प्रमुख नियुक्त किया है। ईईएसएल ने सोमवार को बयान में कहा कि आचार्य एक अंतरराष्ट्रीय जलवायु वित्त और कार्बन बाजार की विशेषज्ञ हैं। उन्होंने यूरोप, अमेरिका, एशिया और भारत में काम किया है।बयान में कहा गया है कि वह भारत में अभिनव सोच, प्रबंधकीय क्षमता और संचालन अनुभव लेकर आयी हैं। इसमें कहा गया है कि उनका कौशल ईईएसएल की नए बाजारों में पहुंच की रणनीति के अनुकूल है। आचार्य के पास हरित वित्त, अक्षय और कार्बन बाजारों का लगभग दो दशक का अंतरराष्ट्रीय अनुभव है। वह ग्लोबल ग्रीन ग्रोथ इंस्टिट्यूट की सहायक महानिदेशक थीं। यह एक अंतरसरकारी संगठन है जिसका मुख्यालय सियोल में है और 31 देशों में इसका परिचालन है। अपने करियर की शुरुआत में वह विश्वबैंक में थीं। उनके पास येल विश्वविद्यालय से मास्टर डिग्री है। अपनी नियुक्ति पर आचार्य ने कहा, मैंने अपने करियर में अंतरराष्ट्रीय सार्वजनिक क्षेत्र और निजी क्षेत्र दोनों में काम किया है और अब मैं भारत में बड़े पैमाने पर परिवर्तनकारी प्रभाव को सक्षम करने के लिए अपने अनुभव, कौशल और नेटवर्क का उपयोग करना चाहूंगी। ईईएसएल अगली पीढ़ी के स्वच्छ ऊर्जा समाधानों के लिए पूरी तरह तैयार है।'' कन्वर्जेंस एनर्जी सर्विसेज एक नई ऊर्जा कंपनी है, जो ईईएसएल की पूर्ण स्वामित्व वाली अनुषंगी है। यह कंपनी स्वच्छ, सस्ती और विश्वसनीय ऊर्जा पर ध्यान केंद्रित करती है।
- · खनिज पदार्थों के खनन पर 60-65 फीसदी तक कर और शुल्कों का बोझ· नीलामी में खदान लेने के बाद भी रॉयल्टी से राहत नहीं· एमएमआरडी एक्ट-2015 लागू होने से पहले आवंटित खदानों पर रॉयल्टी का 30 फीसदी डीएमएफ में देना अनिवार्य· एमएमआरडी एक्ट-2015 लागू होने के बाद भी आवंटित खदानों पर रॉयल्टी का 10 फीसदी डीएमएफ में देना जरूरी· एनएमईटी को भी देना पड़ता है रॉयल्टी का 2 फीसदी शुल्क· राज्यों को प्रति टन 11 रुपये इन्फ्रास्ट्रक्चर व 11 रुपये पर्यावरण शुल्क देय· घने जंगलों में खदान है तो 7 रुपये प्रति टन वन शुल्क की भी अदायगी आवश्यक--नीति आयोग को फिक्की का सुझाव· वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) की तरह खनन में भी “एकल कर व्यवस्था” लागू हो· खनन पर प्रभावी कर दरें (ईटीआर) 40 फीसदी से अधिक नहीं होनी चाहिए· निम्न श्रेणी के लौह अयस्क के बेनीफिसिएशन पर राहत मिले, ग्रेड के हिसाब से रॉयल्टी की दरें तय की जाएं न कि सर्वोत्तम ग्रेड के हिसाब से समान दर तय की जाए--अन्य देशों में खनन पर कर की दरेंमंगोलिया – 31.3 फीसदीकनाडा-क्यूबेक – 34 फीसदीचिली – 37.6 फीसदीइंडोनेशिया-सुलावेसी -38.1 फीसदीऑस्ट्रेलिया -39.7 फीसदीदक्षिण अफ्रीका – 39.7 फीसदीनामीबिया – 44.2 फीसदी--लौह अयस्क पर रॉयल्टीभारत – 15 फीसदीऑस्ट्रेलिया – 5.35 से 7.5 फीसदीब्राजील – 2 फीसदीचीन – 0.5 से 4 फीसदी--रायपुर। कोविड-19 महामारी के कारण अर्थव्यवस्था पर पड़ी मार के बाद देश को आर्थिक पटरी पर वापस लाने के लिए सरकार के प्रयासों के बीच जाने-माने उद्योगपति और जिन्दल स्टील एंड पावर लिमिटेड (जेएसपीएल) के चेयरमैन नवीन जिन्दल ने सुझाव दिया है कि खनन पर कर की दरों को तार्किक बनाया जाए तो भारतीय उद्योग विश्व बाजार में अपना महत्वपूर्ण स्थान बना लेंगे। कर की अधिक दरों के कारण हमारे उत्पाद महंगे हो जाते हैं, जिस कारण अंतरराष्ट्रीय बाजार में कड़ी प्रतिस्पर्धा का सामना करना पड़ता है।श्री जिन्दल ब्रिटेन से प्रकाशित अंतरराष्ट्रीय वित्तीय अखबार “फाइनेंशियल टाइम्स” के ग्लोबल बोर्ड रूम सत्र में “भारतः देश की अर्थव्यवस्था के पुनर्निर्माण के लिए क्या सरकार जरूरी मूलभूत सुधार कर सकती है” विषय पर अपने विचार प्रकट कर रहे थे। उन्होंने कहा कि सरकार अपनी तरफ से उद्योगों को प्रोत्साहित करने के लिए कई उपाय कर रही है और उसने अनेक प्रोत्साहन योजनाएं भी दी हैं लेकिन खनिज पदार्थों के खनन पर कर की अत्यधिक दरों के कारण हमारे उत्पाद महंगे हो जा रहे हैं और अंतरराष्ट्रीय बाजार में कड़ी प्रतिस्पर्धा का सामना कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि भारतीय व्यवसायी मेहनती और लगनशील हैं। देश में व्यावसायिक जोखिम उठाने वालों की कमी नहीं है। हमारी प्रतिभाएं विश्व व्यवसाय में बड़ा नाम कर रही हैं लेकिन कुछ बुनियादी समस्याएं दूर हो जाएं तो कोई शक नहीं कि भारत पूरी दुनिया के बड़े उत्पादन हब के रूप में स्थापित हो जाएगा।श्री जिन्दल ने कहा कि कर की दरों को तार्किक बनाने के साथ-साथ भूमि अधिग्रहण कानून को उद्योगों के अनुकूल बनाना होगा और देश में सकारात्मक व्यावसायिक वातावरण तैयार करना होगा ताकि लोग बढ़-चढ़कर निवेश करें जिससे रोजगार के साथ-साथ देश में संपन्नता भी आएगी। उन्होंने व्यावसायिक कोयला खनन के फैसले की सराहना करते हुए कहा कि इससे देश के विकास को पंख लगेंगे और ऊर्जा क्षेत्र में नए आयाम जुड़ेंगे। भारत में बिजली की औसत खपत प्रति व्यक्ति लगभग 1000 यूनिट है जबकि अमेरिका में 20 हजार और यूरोप में 18 हजार यूनिट है। स्टील के बारे में उन्होंने कहा कि चीन प्रतिवर्ष लगभग 1000 मिलियन टन स्टील उत्पादन करता है जो भारत में मात्र 110 मिलियन टन है इसलिए हमारे देश में विकास की बहुत संभावनाएं हैं।इस सत्र में योजना आयोग के पूर्व उपाध्यक्ष मोंटेक सिंह अहलूवालिया ने कहा कि हमें यह देखना होगा कि अल्पकालिक आर्थिक स्लोडाउन को कैसे नियंत्रित करें। चालू वित्त वर्ष की पहली तिमाही में विकास दर 3.1 फीसदी थी जो दूसरी तिमाही में नकारात्मक रुख के साथ 23.9 फीसदी तक सिकुड़ गई। हालांकि तीसरी तिमाही में यह सिकुड़न कम होकर नकारात्मक 8.4 फीसदी रही लेकिन उम्मीद है कि चौथी तिमाही में यह रुख सकारात्मक हो जाएगा। आज रोजगार और अन्य आर्थिक पहलुओं को देखते हुए हमारी आर्थिक विकास दर 7 फीसदी से ऊपर होनी चाहिए जिसके लिए बैंकिंग व्यवस्था को दुरुस्त करना होगा, निवेश का स्तर बेहतर बनाना होगा। पिछले 2 साल से निवेश की स्थिति नाजुक है जिसका सीधा असर उत्पादन और रोजगार के अवसरों पर पड़ रहा है। पर्यटन, रियल इस्टेट और खुदरा व्यापार को प्राथमिकता देनी होगी। हालांकि उन्होंने रिजर्व बैंक के प्रयासों की सराहना की।इस अवसर पर फोर्ब्स मार्शल के को-चेयरमैन नौशाद फोर्ब्स ने कहा कि हमारे देश की आबादी करीब 140 करोड़ है इसलिए एक व्यापक बाजार हमारे पास है। ऐसे में तमाम सुधारों पर सभी सरकारों को साथ मिलकर काम करना होगा तभी देश की अर्थव्यवस्था जल्द ही पटरी पर वापस आ पाएगी। मेट्रोपोलिस हेल्थकेयर की प्रबंध निदेशक अमीरा शाह ने इस अवसर पर कोविड-19 नियंत्रण के उपायों पर प्रकाश डाला।गौरतलब है कि अर्थव्यवस्था को जल्द से जल्द पटरी पर लाने और औद्योगिक उत्पादन बढ़ाने के साथ-साथ बाजार में उचित दर पर सामान उपलब्ध कराने के लिए फेडरेशन ऑफ इंडियन चैंबर्स ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्रीज (फिक्की) ने नीति आयोग को एक सुझाव दिया है जिसमें खनन पर अधिक कर एवं शुल्क दरों को तार्किक बनाने के लिए जीएसटी की तर्ज पर “एकल कर व्यवस्था” लागू करने के लिए कहा गया है। फिक्की की रिपोर्ट के मुताबिक अभी खनन पर 60-64 फीसदी कर व शुल्क वसूले जा रहे हैं, जिसकी सीमा अधिकतम 40 फीसदी होनी चाहिए। उसने रॉयल्टी की दरों को भी तार्किक बनाने का सुझाव दिया है।फिक्की की रिपोर्ट के मुताबिक एमएमआरडी एक्ट-2015 लागू होने से पहले आवंटित खदानों पर रॉयल्टी का 30 फीसदी डीएमएफ में देना अनिवार्य है जबकि इस कानून के लागू होने के बाद आवंटित खदानों पर रॉयल्टी का 10 फीसदी डीएमएफ में देना पड़ता है। इसी तरह एनएमईटी को भी रॉयल्टी का 2 फीसदी शुल्क देना होता है। उसने यह सुझाव भी दिया है कि रॉयल्टी लौह अयस्क के ग्रेड के हिसाब से तय हो न कि सर्वोत्तम श्रेणी के हिसाब से समान दर निर्धारित की जाए। निम्न श्रेणी के लौह अयस्क के बेनीफिशिएशन पर राहत मिले और रॉयल्टी औसत बिक्री मूल्य का 5 फीसदी से अधिक न हो। सरकार इनोवेटिव लॉजिस्टिक सिस्टम से बेनीफिशिएशन करने वाली कंपनियों को 2.5 फीसदी रॉयल्टी का प्रोत्साहन दे तो निम्न श्रेणी के लौह अयस्क की खपत भी बढ़ेगी जिससे हमारे राष्ट्रीय संसाधन का समुचित उपयोग सुनिश्चित हो सकेगा। उपरोक्त करों व शुल्कों के अलावा अलग-अलग राज्यों के भी सेश हैं। छत्तीसगढ़ में प्रति टन 11 रुपये इन्फ्रास्ट्रक्चर व 11 रुपये पर्यावरण शुल्क देय है एवं घने जंगलों में खदान होने पर 7 रुपये प्रति टन वन शुल्क की अदायगी करनी पड़ती है।
- नई दिल्ली। विदेशी पोर्टफोलियो निवेशकों (एफपीआई) का भारतीय बाजारों को लेकर रुख सकारात्मक बना हुआ है। नवंबर में अब तक एफपीआई ने भारतीय बाजारों में 35 हजार 109 करोड़ रुपये का का निवेश किया है। कंपनियों के बेहतर तिमाही नतीजों तथा निवेश गतिविधियों को प्रोत्साहन के लिए सरकार के उपायों से निवेशकों की धारणा मजबूत हुई है।डिपॉजिटरी के आंकड़ों के अनुसार, दो से 13 नवंबर के दौरान एफपीआई ने शेयरों में शुद्ध रूप से 29 हजार 436 करोड़ रुपये तथा ऋण या बांड बाजार में 5 हजार 673 करोड़ रुपये का निवेश किया है। इस तरह उनका शुद्ध निवेश 35 हजार 109 करोड़ रुपये रहा है। इससे पिछले महीने भारतीय बाजारों में एफपीआई का शुद्ध निवेश 22 हजार 33 करोड़ रुपये रहा था। रिलायंस सिक्योरिटीज के संस्थागत कारोबार प्रमुख अर्जुन यश महाजन ने कहा, भारतीय बाजारों का प्रदर्शन लगातार अच्छा बना हुआ है, जिससे एफपीआई यहां जोखिम उठाने को तैयार हैं। कंपनियों के तिमाही नतीजों तथा सरकार के सुधार उपायों से भी एफपीआई की धारणा मजबूत हुई है। बाजार विशेषज्ञों का कहना है कि आगे भी एफपीआई का रुख सकारात्मक बने रहने की उम्मीद है। महाजन ने कहा, ''अर्थव्यवस्था में सुस्ती के बीच जुझारू क्षमता दिखाने वाले क्षेत्रों में एफपीआई आगे दांव लगा सकते हैं।
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नई दिल्ली। होटल और रेस्तरां उद्योग के शीर्ष संगठन एफएचएआरएआई ने आपात ऋण सुविधा गारंटी योजना (ईसीएलजीएस) की समयसीमा बढ़ाये जाने का स्वागत किया लेकिन कहा कि होटल उद्योग को संकट से बाहर निकलने के लिये अलग से विशेष प्रोत्साहन पैकेज की जरूरत है। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने बृहस्पतिवार को ईसीएलजीएस की समयसीमा बढ़ाकर 31 मार्च, 2021 कर दी। साथ ही योजना के तहत आने वाले क्षेत्रों का भी विस्तार किया गया है।
होटल एंड रेस्टुरेंट एसोसएिशंस ऑफ इंडिया (एफएचएआरएआई) के उपाध्यक्ष गुरबख्श सिंह कोहली ने कहा, ईसीएलजीएस के रूप में अब तक एकमात्र राहत सरकार से होटल उद्योग को मिली है। हम इस पर ज्यादा जोर नहीं दे सकते। होटल उद्योग की स्थिति अन्य उद्योगों की तरह नहीं है। उन्होंने कहा कि यह क्षेत्र पूंजी और श्रम गहन उद्योग है और अलग से प्रोत्साहन पैकेज के बिना क्षेत्र की समस्या समाप्त नहीं होगी। कोहली ने कहा कि कोविड-19 से सर्वधिक प्रभावित यात्रा, पर्यटन और होटल क्षेत्र हुए और यह स्थिति केवल भारत में नहीं बल्कि पूरी दुनिया में है। उन्होंने कहा, हम एक बार फिर सरकार से उद्योग की मौजूदा समस्याओं को समझने और जरूरी समर्थन देने का आग्रह करते हैं। कोहली ने कहा, सरकार ने लॉकडाउन से प्रभावित कंपनियों के कर्ज को पुनर्गठन की अनुमति देकर उन्हें पटरी पर आने का मौका दिया है। होटल उद्योग भी इसके लिये पात्र हैं। हालांकि, बैंक हमारे क्षेत्र को लेकर ज्यादा इच्छुक नहीं हैं, क्योंकि हमारा कारोबार अन्य उद्योगों की तरह नहीं है, यह मौसमी व्यवसाय है। -
नई दिल्ली। स्वास्थ्य और साधारण बीमा कंपनियों को जल्दी ही मच्छर और कीटाणुओं से होने वाली डेंगू, मलेरिया और चिकुनगुनिया जैसी बीमारियों (वेक्टर जनित बीमारी) के इलाज के लिये बीमा कवर उपलब्ध कराने की अनुमति मिलेगी। बीमा नियामक एवं विकास प्राधिकरण (इरडा) शुक्रवार को वेक्टर जनित बीमारी के मानकों को लेकर मसौदा जारी किया। इससे साधारण और स्वास्थ्य बीमा कंपनियां एक साल के लिये इस प्रकार की पॉलिसी की पेशकश के लिये प्रोत्साहित होंगी। इरडा ने कहा कि इसका मकसद एक मानक स्वास्थ्य बीमा उत्पाद लाना है जो लोगों की वेक्टर जनित बीमारियों के इलाज को शामिल करे। प्रस्ताव के तहत बीमा पॉलिसी की अवधि एक साल होगी और इसमें प्रतीक्षा अवधि 15 दिन की होगी। बीमा पॉलिसी में डेंगू बुखार, मलेरिया, फाइलेरिया, कालाजर, चिकुनगुनिया, जापानी बुखार और जाइका विषाणु के इलाज को शामिल किया जाएगा। नियामक ने संबंधित पक्षों से मसौदे पर 27 नवंबर तक अपनी राय देने को कहा है। -
नई दिल्ली। वित्त मंत्रालय ने फैसला किया है कि वह अगले बजट की तैयारी के सिलसिले में विभिन्न उद्योग संगठनों और विशेषज्ञों से सुझाव ई- मेल के जरिये लेगा। वित्त मंत्रालय आम बजट 2021-22 पर सुझाव लेने के लिए एक ई-मेल आईडी बनाएगा। कोरोना वायरस महामारी की वजह से मंत्रालय ने यह कदम उठाने का फैसला किया है। इसके अलावा सरकार का माईगॉव पोर्टल भी आम जनता से बजट पर सुझाव लेने के लिए मंच उपलब्ध कराएगा। यह मंच 15 नवंबर से 30 नवंबर तक खुला रहेगा। वित्त मंत्रालय वर्षों से वार्षिक बजट से पहले नॉर्थ ब्लॉक में उद्योग संघों, व्यापार संगठनों तथा विशेषज्ञों के साथ विचार-विमर्श करता रहा है। वित्त मंत्रालय ने शुक्रवार को बयान में कहा, महामारी की स्थिति की वजह से मंत्रालय के पास विभिन्न हलकों से बजट पूर्व विचार-विमर्श अलग तरीके से करने का आग्रह किया गया है। इसी के मद्देनजर एक विशेष ई-मेल आईडी बनाने का फैसला किया गया है, जिसपर विभिन्न संस्थानों और विशेषज्ञों से सुझाव लिए जाएंगे। मंत्रालय ने कहा कि इस बारे में सूचना जल्द जारी की जाएगी।
मंत्रालय ने कहा कि वार्षिक बजट 2021-22 के लिए विचार-विमर्श की प्रक्रिया में भागीदारी बढ़ाने तथा इसे अधिक लोकतांत्रिक बनाने के लिए सरकार ने माईगॉव प्लेटफॉर्म पर माइक्रो-साइट (ऑनलाइन पोर्टल) शुरू किया है। यह पोर्टल 15 नवंबर से शुरू होगा। इस पर 30 नवंबर तक बजट के बारे में सुझाव दिए जा सकेंगे। - मुंबई। रुपये में चार सत्र से चली आ रही गिरावट पर शुक्रवार को ब्रेक लग गया। डॉलर के मुकाबले एशियाई मुद्राओं के मजबूत होने से रुपये को समर्थन मिला और यह अमेरिकी मुद्रा के मुकाबले दो पैसे मजबूती के साथ 74.62 रुपये प्रति डॉलर पर बंद हुआ। हालांकि, बाजार सूत्रों ने कहा कि आयातकों और बैंकों की डॉलर मांग से भारतीय रुपये पर दबाव बना रहा। अंतरबैंक विदेशी मुद्रा बाजार में अमेरिकी डॉलर के मुकाबले कारोबार की शुरुआत में रुपया 74.63 पर खुला और कारोबार के दौरान 74.47 रुपये के उच्च स्तर और 74.71 रुपये के निम्न स्तर को छूने के बाद अंत में अपने पिछले बंद भाव के मुकाबले दो पैसे मजबूत होकर 74.62 पर बंद हुआ। साप्ताहिक आधार पर हालांकि, रुपये में 54 पैसे अथवा 0.72 प्रतिशत की गिरावट रही है। इस बीच छह प्रमुख मुद्राओं के मुकाबले अमेरिकी डॉलर की स्थिति को दर्शाने वाला डॉलर सूचकांक 0.15 प्रतिशत गिरकर 92.82 रह गया। वैश्विक तेल मानक माने जाने वाले ब्रेंट कच्चा तेल वायदा की कीमत 0.60 प्रतिशत गिरकर 43.27 डॉलर प्रति बैरल रह गई।
- नयी दिल्ली। दीवाली और धनतेरस के मौके पर त्योहारी मांग बढ़ने के कारण दिल्ली सर्राफा बाजार में शुक्रवार को सोने की कीमत 241 रुपये बढ़कर 50,425 रुपये प्रति 10 ग्राम हो गयी। एचडीएफसी सिक्योरिटीज ने इसकी जानकारी दी। इससे पहले बृहस्पतिवार को सोना 50,184 रुपये प्रति 10 ग्राम पर बंद हुआ था। इसी तरह चांदी की कीमत भी 161 रुपये की तेजी के साथ 62,542 रुपये प्रति किलोग्राम हो गई। इससे पहले बृहस्पतिवार को चांदी 62,381 रुपये प्रति किलोग्राम पर बंद हुई थी। दीवाली से पहले धनतेरस के मौके पर सोने और चांदी सहित अन्य बहुमूल्य वस्तुओं की खरीद को शुभ माना जाता है। वैश्विक बाजार में, सोना तेजी के साथ 1,880 डॉलर प्रति औंस हो गया तथा चांदी 24.32 डॉलर प्रति औंस पर अपरिवर्तित रही। मोतीलाल ओसवाल फाइनेंशियल सर्विसेज के उपाध्यक्ष (जिंस शोध) नवनीत दमानी ने कहा, कोविड-19 के संभावित टीके को लेकर लोगों की उम्मीदों को वैश्विक स्तर पर इस महामारी की बढ़ती संख्या से कुछ झटका लगा और आर्थिक प्रभावों को लेकर चिंताओं के बढ़ने से सोने की कीमतों में स्थिरता दिखाई दी। उन्होंने कहा कि बाजार में बहुत अधिक डर है क्योंकि अमेरिका के कई राज्यों में कोरोनोवायरस के मामले दोगुने हो गए हैं जिसकी वजह से बहुमूल्य धातुओं की लिवाली बढ गई।
- मुंबई। वैश्विक बाजारों की घट-बढ़ के बीच वित्तीय शेयरों के सुधार के दम पर शुक्रवार को सेंसेक्स 86 अंक चढ़ गया, जबकि निफ्टी 12,700 अंक के स्तर को पार करने में सफल रहा। बीएसई का 30 शेयरों वाला संवेदी सूचकांक सेंसेक्स 85.81 अंक यानी 0.20 प्रतिशत मजबूत होकर 43,443 अंक पर बंद हुआ। इसी तरह एएनएसई का निफ्टी भी 29.15 अंक यानी 0.23 प्रतिशत की बढ़त के साथ 12,719.95 अंक पर रहा। सेंसेक्स की कंपनियों में बजाज फिनसर्व सर्वाधिक करीब चार प्रतिशत की तेजी में रही। इसके अलावा टाटा स्टील, आईसीआईसीआई बैंक, एक्सिस बैंक, बजाज फाइनेंस और भारतीय स्टेट बैंक (एसबीआई) के शेयर भी बढ़त में रहे। दूसरी ओर एचडीएफसी, एचडीएफसी बैंक, टेक महिंद्रा, भारती एयरटेल, महिंद्रा एंड महिंद्रा और टीसीएस के शेयर गिरावट में रहे। रिलायंस सिक्योरिटीज के संस्थागत व्यवसाय के प्रमुख अर्जुन यश महाजन ने कहा, ‘वित्तीय क्षेत्र के चुनिंदा शेयरों में सुधार हुआ। इससे घरेलू शेयर बाजार शुरुआती नुकसान से उबरने में कामयाब रहे।उन्होंने कहा कि एफएमसीजी को छोड़ शेष सभी समूहों के सूचकांक बढ़त में रहे। धातु और दवा कंपनियों के शेयरों में ठीक तेजी देखी गयी। हालांकि यूरोप और अमेरिका में कोरोना वायरस महामारी के मामले बढ़ने से निवेशकों में चिंता रही। टीके को लेकर स्पष्टता के साथ ही दूसरी तिमाही में कंपनियों के ठोस प्रदर्शन और आत्मनिर्भर भारत 3.0 के तहत अतिरिक्त आर्थिक राहत उपायों ने घरेलू शेयर बाजारों को समर्थन दिया। वैश्विक मोर्चे पर कोरोना वायरस के मामलों के बढ़ने तथा व्यवसाय पर इसके कारण बढ़ायी जा सकने वाली पाबंदियों के चलते निवेशकों ने सतर्कता बरती। एशियाई बाजारों में चीन का शंघाई कंपोजिट, हांगकांग का हैंगसेंग और जापान के निक्की गिरावट में रहे। दक्षिण कोरिया का कोस्पी बढ़त में रहा। शुरुआती कारोबार में ज्यादातर यूरोपीय बाजार बढ़त में चल रहे थे। इस बीच कच्चे तेल का अंतरराष्ट्रीय मानक ब्रेंट क्रूड 0.69 प्रतिशत गिरकर 43.23 डॉलर प्रति बैरल पर आ गया।
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साउथ कोरिया के कंज्यूमर इलेक्ट्रॉनिक्स ब्रांड सैमसंग ने भारत में अपना पहला वर्टिकल 4K OLED टीवी सेरो (SERO) लॉन्च कर दिया है. कोरियाई भाषा में सीरो का अर्थ 'वर्टिकल' होता है. इस टीवी की सबसे बड़ी खासियत ये है कि इसको एक मोबाइल की तरह घुमाकर भी देखा जा सकता है. इस टीवी को 360 डिग्री पर घुमाया जा सकता है, जिसके लिए एक खास तरह का स्टैंड भी दिया गया है. इस लॉन्च के साथ ही अपने लाइफस्टाइल टीवी रेंज का विस्तार किया है.
दुनिया का पहला मोबाइल ऑप्टिमाइज्ड टीवी
Sero दुनिया की पहली मोबाइल ऑप्टिमाइज्ड टीवी है, जिसकी स्क्रीन 90 डिग्री वर्टिकल से हॉरिजेंटल मुड़ जाएगी. टीवी के स्क्रीन रोटेशन के लिए एक बटन दिया गया है. मतलब Sero स्मार्ट टीवी पर वर्टिकल और हॉरिजेंटल मोड में वीडियो और मूवी, शोज का लुत्फ उठाया जा सकेगा.
सैमसंग का कहना है कि टीवी की यह डिजाइन टीवी पर वेब सर्फिंग और सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म के लिए परफेक्ट है. सैमसंग के द सेरो की बिक्री देशभर के रिलायंस डिजिटल स्टोर से एक्सक्लूसिव तौर पर होगी. इसकी कीमत 1,24,990 रुपये में रखी गई है.
ये हैं खासियतें
इसमें 4.1 चैनल स्पीकर सिस्टम और 60W का साउंड आउटपुट मिलता है. यह कई स्मार्ट फंक्शन से लैस है. यह टीवी में एक अरब से ज्यादा रंगों और शेड्स के साथ 100 फीसदी कलर वॉल्यूम डिलीवर करता है. इसे खासतौर पर यंग यूजर्स के लिए डिजाइन किया गया है जो कंटेंट को वर्टिकल देखना पसंद करते हैं. वर्टिकल पोजीशन में यह टीवी स्मार्टफोन सी लगती है.
इस वर्टिकल टीवी में फोन की तरह फोटो, वीडियो देखने का अनुभव मिलता है. सेरो कंटेंट को 4K रिजॉल्यूशन में बदलने के लिए AI का इस्तेमाल भी करता है. सेरो 10-साल की नो स्क्रीन बर्न-इन वारंटी, एक साल की वारंटी और पैनल पर एक साल की अतिरिक्त वारंटी के साथ आएगा.
इसमें सोशल मीडिया साइट जैसे फेसबुक और इंस्टाग्राम का बेहतरीन व्यू मिलता है। इस टीवी में फोन की तर्ज पर कंटेंट को वर्टिकल स्क्रॉलिंग किया जा सकता है. सेरो अन्य स्मार्ट फीचर जैसे एडैप्टिव पिक्चर, रिस्पॉन्सिव UI, टैप व्यू टेक्नोलॉजी, एक्टिव वॉयस एम्प्लिफायर (AVA) इत्यादि से भी लैस है जो आपके दृश्य अनुभव को आधुनिक बनाते हैं. - नयी दिल्ली/ मुंबई। धनतेरस से दिवाली त्यौहार की शुरुआत के साथ ही बाजार में रौनक लौट आयी है। धनतेरस पर शुभ मानी जाने वाली सोने-चांदी की खरीद बृहस्पतिवार को बढ़ी लेकिन विशेषज्ञों का मानना है कि कोविड-19 संकट के चलते मांग के कमजोर रहने और सर्राफा की ऊंची कीमतों से कारोबार हल्का रह सकता है। कोविड-19 संकट के चलते नरमी की मार झेल रहे बाजार को लंबे समय से दिवाली का त्यौहारी मौसम शुरू होने का इंतजार था। आभूषण और उद्योग विशेषज्ञों ने कहा कि कोविड-19 प्रतिबंधों में ढील के चलते बाजार की खरीदारी धारणा बेहतर हुई है। ग्राहक सोने-चांदी की बढ़ी कीमतों के बावजूद इसमें निवेश करने को तरजीह दे रहे हैं। आभूषण विक्रेताओं का कहना है कि वह पुराने आभूषणों के स्टॉक को बदलकर नए डिजाइन बना रहे हैं ताकि त्यौहारी और शादियों के मौसम की मांग को पूरा किया जा सके। उन्होंने कहा कि देश के प्रमुख उपभोक्ता बाजारों में कोविड-19 संक्रमण मामलों की बढ़ती संख्या को देखते हुए लोगों के बीच घर से बाहर आने में संकोच देखा जा रहा है। महामारी को देखते हुए वह ऑनलाइन आभूषण मंच पर खरीद को तरजीह दे रहे हैं। सोने की कीमतें 51,000 से 53,000 रुपये प्रति 10 ग्राम के बीच बनी हुई हैं। यह 2019 की धनतेरस पर सोने की 38,096 रुपये प्रति 10 ग्राम की कीमत से 35 प्रतिशत अधिक है। इसी तरह चांदी का भाव भी 62,000 रुपये प्रति किलोग्राम के उच्च स्तर तक पहुंच गया है।विश्व स्वर्ण परिषद के भारतीय परिचालन के प्रबंध निदेशक सोमसुंदरम पीआर ने कहा, लोगों की दुकानों में आवाजाही बढ़ी है और वह खरीदारी में रुचि ले रहे हैं। बिक्री बेहतर हुई है लेकिन यह पिछले साल की धनतेरस जितनी अच्छी नहीं है। संगठित क्षेत्र के दुकानदारों को बाजार में अच्छी हिस्सेदारी मिलेगी। सोने-चांदी के बिस्कुट और सिक्कों का प्रदर्शन बेहतर रहेगा।'' उन्होंने कहा कि इस साल डिजिटल सोने और अन्य ऑनलाइन मंच को भी बढ़त मिल सकती है। इसी तरह की बात अखिल भारतीय रत्न और आभूषण घरेलू परिषद के चेयरमैन अनंत पद्मनाभन ने कही। उन्होंने कहा बाजार में धीरे-धीरे सुधार हो रहा है और ग्राहकों की धारणा सकारात्मक बनी हुई है।
- नयी दिल्ली। बृहस्पतिवार को सोने की कीमत 81 रुपये घटकर 50,057 रुपये प्रति 10 ग्राम पर आ गयी। एचडीएफसी सिक्योरिटीज ने इसकी जानकारी दी। इससे पहले बुधवार को सोना 50,138 रुपये प्रति 10 ग्राम पर बंद हुआ था। इसी तरह चांदी भी चार रुपये की मामूली गिरावट के साथ 62,037 रुपये प्रति किलोग्राम पर आ गयी। इससे पहले बुधवार को चांदी 62,041 रुपये प्रति किलोग्राम पर रही थी। एचडीएफसी सिक्योरिटीज के वरिष्ठ विश्लेषक (जिंस) तपन पटेल ने कहा, ‘‘मौजूदा त्योहारी सत्र में सोना व चांदी की कीमतें इसी दायरे में रहने की उम्मीद है। इनके भाव में निवेशकों व उपभोक्ताओं को कम उथल-पुथल देखने को मिलेगा।'' उन्होंने यह भी कहा कि धनतेरस के पावन मौके पर आभूषण निर्माताओं को अच्छी त्योहारी बिक्री की उम्मीद है। अंतरराष्ट्रीय बाजार में सोना 1,865 डॉलर प्रति औंस के स्तर पर कारोबार कर रहा था। चांदी 24.09 डॉलर प्रति औंस पर सपाट थी।
- नई दिल्ली। वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा है कि देश की अर्थव्यव्यस्था मजबूत हो रही है क्योंकि अर्थव्यवस्था के सभी प्रमुख मानदंड सकारात्मक हैं। उन्होंने कहा कि भारत ने कोविड-19 महामारी से प्रभावी तरीके से निपटा है और इससे मरने वालों की दर में लगातार गिरावट आ रही है।आज नई दिल्ली में संवाददाताओं को संबोधित करते हुए वित्तमंत्री ने कहा कि पीएमआई सूचकांक, ऊर्जा के उपभोग, जीएसटी वसूली, बैंक ऋण और विदेशी पोर्टपोलियों निवेश दर्शाते हैं कि देश की अर्थव्यवस्था बेहतर हो रही है। उन्होंने बताया कि बाजार पूंजीकरण और विदेशी मुद्रा भंडार भी अधिक है जो एक साकारात्मक संकेत है।आत्मनिर्भर भारत अभियान की प्रगति का उल्लेख करते हुए वित्तमंत्री ने बताया कि 28 राज्यों और केन्द्रशासित प्रदेशों को इस वर्ष पहली सितम्बर से पूरे देश में वैध एक राशन कार्ड की सुविधा उपलब्ध करा दी गई है। इससे लगभग 69 करोड़ लोगों लाभ हुआ है। यह सुविधा प्राप्त होने से वे किसी भी सार्वजनिक वितरण की दुकानों से खाद्यान्न खरीद सकते हैं। वित्तमंत्री ने कहा कि किसानों के लिए किए गए अनेक उपायों के साकारात्मक नजीते सामने आ रहे हैं। उन्होंने बताया कि किसान क्रेडिट कार्ड योजना के माध्यम से किसानों के लिए एक लाख 43 हजार करोड़ रुपये से अधिक धनराशि मंजूर की गई हैं। उन्होंने यह भी बताया कि नाबार्ड के माध्यम से किसानों के लिए 25 हजार करोड़ रुपये की अतिरिक्त कार्य पूंजी उपलब्ध कराई गई। अर्थव्यवस्था को गति देने के अन्य उपायों की चर्चा करते हुए वित्तमंत्री ने कहा कि बिजली वितरण क्षेत्र के लिए, 17 राज्यों और केन्द्रशासित प्रदेशों को ऋण के रूप में एक लाख 18 हजार करोड रूपये से अधिक की राशि स्वीकृत की जा चुकी है। उन्होंने बताया कि सड़क परिवहन मंत्रालय और रक्षा मंत्रालय को अतिरिक्त पूंजी खर्च के लिए 25 हजार करोड़ रूपये की अतिरिक्त राशि उपलब्ध कराई गई है। वित्तमंत्री ने बताया कि 11 राज्यों को पूंजी व्यय के लिए ब्याजमुक्त ऋण के रूप में तीन हजार छह सौ 21 करोड रूपये की राशि उपलब्ध कराई गई है।वित्तमंत्री ने बताया कि आत्मनिर्भर अभियान के तहत देश में रोजगार के अवसर बढ़ाने के कई उपाए किए जा रहे हैं। उन्होंने बताया कि कोविड से उबरने के दौरान रोजगार के नए अवसर बढ़ाने के लिए प्रोत्साहित करने के वास्ते एक नई योजना आत्मनिर्भर भारत शुरू की जा रही है। श्रीमती सीतारामन ने बताया कि इस योजना के तहत केन्द्र सरकार इस वर्ष पहली अक्टूबर के बाद नए पात्र कर्मचारियों के लिए दो वर्ष तक सब्सिडी देगी। इसे इन कर्मचारियों के आधार से जुड़े ईपीएफओ खाते में जमा किया जाएगा।वित्तमंत्री ने यह भी बताया कि आत्मनिर्भर भारत अभियान के तहत सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यम क्षेत्र के लिए मौजूदा आपात ऋण गारंटी योजना की अवधि अगले वर्ष 31 मार्च तक बढ़ा दी गई है। उन्होंने बताया कि इस योजना के तहत अब तक दो लाख करोड़ रुपए की राशि 61 लाख कर्जदारों के लिए स्वीकृत जा चुकी है।
- नई दिल्ली। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने अर्थव्यवस्था को बढ़ावा देने के लिए गुरुवार को घोषित प्रोत्साहन पैकेज के तहत किसानों को 65 हजार करोड़ रुपये की उर्वरक सब्सिडी देने की घोषणा की।उन्होंने कहा कि किसानों को आगामी फसल सत्र के दौरान उर्वरकों की पर्याप्त उपलब्धता सुनिश्चित करने 65 हजार करोड़ रुपये दिए जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि चालू वित्त वर्ष में प्रधानमंत्री गरीब कल्याण रोजगार योजना के लिए 10 हजार करोड़ रुपये का अतिरिक्त प्रावधान किया गया है, जिससे ग्रामीण अर्थव्यवस्था को गति मिलेगी।सीतारमण ने आगे कहा कि कर्ज सहायता के जरिए निर्यात को बढ़ावा देने के लिए एक्जिम बैंक को 3 हजार करोड़ रुपये दिए जाएंगे।---
- नयी दिल्ली। केंद्र सरकार ने अब पूर्वोत्तर और हिमालयी राज्यों से 41 अधिसूचित फलों और सब्जियों को भारत के किसी भी स्थान पर पहुंचाने के लिए हवाई परिवहन पर 50 प्रतिशत सब्सिडी सुविधा देने की बुधवार को घोषणा की । खाद्य प्रसंस्करण उद्योग मंत्रालय की एक विज्ञप्ति के अनुसार आत्मनिर्भर भारत अभियान के अंतर्गत ऑपरेशन ग्रीन्स योजना टॉप टू टोटल के तहत शुरू की गयी इस सुविधा के अनुसार एयरलाइंस कम्पनियां आपूर्तिकर्ता / माल भेजने वाले / माल प्राप्तकर्ता तथा एजेंट को परिवहन सब्सिडी सीधे प्रदान करेंगी और वास्तविक अनुबंधित माल ढुलाई शुल्क का केवल 50 प्रतिशत ही उनसे लेंगी। शेष 50 प्रतिशत धनराशि के लिए खाद्य प्रसंस्करण उद्योग मंत्रालय के समक्ष दावा पेश करेंगी। योजना को मंजूरी प्रदान करने के बाद संशोधित योजना सम्बंधित दिशा-निर्देश दो नवंबर को अधिसूचित कर दिए गए।विज्ञप्ति के अनुसार ऑपरेशन ग्रीन्स - टॉप टू टोटल योजना के अंतर्गत अन्य शर्तों पर आधारित छूट में ये सुविधाएं शामिल हैं- पात्र हवाई अड्डों से हवाई कंपनियों के माध्यम से परिवहन के लिए अधिसूचित फलों और सब्जियों की सभी खेप, चाहे जो भी मात्रा हो और कीमत हो इसके बावजूद 50 प्रतिशत माल भाड़ा सब्सिडी के लिए पात्र होगा। ऑपरेशन ग्रीन्स योजना के तहत परिवहन सब्सिडी को इससे पहले किसान रेल योजना पर लागू किया गया था जो 12 अक्टूबर से प्रभावी हुई थी। अधिसूचित फल और सब्जियों पर रेलवे केवल 50 प्रतिशत भाड़ा ही लेता है। इस योजना के तहत 21 फलों में आम, केला, अमरूद, कीवी, लीची, मौसम्बी, संतरा, किन्नु, नींबू, पपीता, अनानास, अनार, कटहल, सेब, बादाम, आंवला, पैशन फ्रूट, नाशपाती, शकरकंद और चीकू तथा 20 सब्जियां में फ्रेंच बीन्स, करेला, बैंगन, शिमला मिर्च, गाजर, फूलगोभी, मिर्च (हरी), ओकरा, ककड़ी, मटर, लहसुन, प्याज, आलू, टमाटर, बड़ी इलायची, कद्दू, अदरक, गोभी, स्क्वैश और हल्दी (सूखी) को रखा गया है। इसमें पूर्वोत्तर से अरुणाचल प्रदेश, असम, मणिपुर, मेघालय, मिजोरम, नागालैंड, सिक्किम (बागडोगरा) और त्रिपुरा के सभी हवाई अड्डे तथा हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड एवं केंद्रशासित प्रदेशों जम्मू और कश्मीर तथा लद्दाख के सभी हवाई अड्डों से इन फल/सब्जियों की ढुलाई को इस योजना के तहत सब्सिडी के दावे का पात्र माना जाएगा।
- नयी दिल्ली। सरकार ने 100 करोड़ रुपये से अधिक का कारोबार करने वाले उद्यमियों के लिये एक जनवरी 2021 से बिजनेस-से- बिजनेस (बी2बी) सौदों पर इलेक्ट्रानिक- बिल की आवश्यकता को अनिवार्य कर दिया है। माल एवं सेवाकर (जीएसटी) कानून के तहत 500 करोड़ रुपये अथवा इससे अधिक कारोबार करने वाले उद्यमियों के लिये बी2बी लेनदेन के लिये ई- बिल प्राप्त करना एक अक्टूबर 2020 से अनिवार्य है। केन्द्रीय अप्रत्यक्ष कर और सीमा शुल्क बोर्ड (सीबीआईसी) ने एक अधिसूचना में कहा है कि ई- बिल की व्यवस्था को एक जनवरी 2021 से 100 करोड़ रुपये अथवा इससे अधिक का कारोबार करने वाले उद्यमियों के बी2बी लेनदेन में भी लागू कर दिया जायेगा। ई- बिल व्यवस्था के तहत जीएसटी करदाता को अपने आतंरिक सिस्टम (ईआरपी, लेखा अथवा बिलिंग साफ्टवेयर) पर बीजक निकालना होता है और उसके बाद उसे बीजक पंजीकरण पोर्टल (आईआरपी) को आनलाइन भेजना होता है। आईआपी उस बीजक में दी गई जानकारी की वैधता की पुष्टि करेगा और उसके बाद डिजिटल हस्ताक्षर वाले इस बिल को विशिष्ट बीजक संदर्भ नबर (आईआरएन) और क्यूआर कोड के साथ करदाता को लौटा दिया जायेगा। डेलायट इंडिया के वरिष्ठ सलाहकार प्रकाश कुमार ने कहा कि इस व्यवसथा के अमल में आने से कर चोरी पर अंकुश लगाने और कर संग्रह बढ़ाने में मदद मिलेगी।
- नयी दिल्ली। वैश्विक बाजारों में उतार-चढ़ाव के बीच दिल्ली सर्राफा बाजार में सोना भाव बुधवार को तीन रुपये की मामूली बढ़त लिए रहा। वहीं चांदी के भाव में 451 रुपये तक की तेजी रही। एचडीएफसी सिक्योरिटीज के मुताबिक सोना तीन रुपये बढ़कर 50,114 रुपये प्रति 10 ग्राम पर रहा। जबकि चांदी भाव 451 रुपये की तेजी के साथ 62,023 रुपये प्रति किलोग्राम पर बंद हुए। पिछले कारोबारी दिवस में सोना 50,111 रुपये प्रति 10 ग्राम और चांदी 61,572 रुपये प्रति किलोग्राम पर बंद हुई थी। एचडीएफसी सिक्योरिटीज के वरिष्ठ जिंस विश्लेषक तपन पटेल ने कहा, ‘‘दिल्ली सर्राफा के हाजिर बाजार में 24 कैरट के सोने का भाव तीन रुपये बढ़ा। इसकी वजह अंतरराष्ट्रीय स्तर पर सोने की कीमतों में उतार चढ़ाव रहना और रुपये के मूल्य में ह्रास होना है।'' अंतरराष्ट्रीय बाजार में सोना भाव हल्का बढ़कर 1,877 डॉलर और चांदी समान स्तर पर रहते हुए 24.20 डॉलर प्रति औंस पर रही।
- मुंबई । क्लासिक लीजेंड्स ने अपना परिचालन पूर्ण रूप से शुरू होने के सालभर के अंदर जावा ब्रांड की 50,000 से अधिक मोटरसाइकिलें बेची हैं। कंपनी ने बुधवार को एक बयान में कहा कि वह अपनी उत्पादन क्षमता और डीलरों की संख्या बढ़ाने का लक्ष्य लेकर चल रही है। देश में जावा और जावा फोर्टी मॉडल की मोटरसाइकिल नवंबर 2018 में पेश की गयी थी, जबकि जावा पीरैक को पिछले साल नवंबर में बाजार में उतारा गया। क्लासिक लीजेंड्स ने कहा, जावा मोटरसाइकिल ने अपना पूर्ण परिचालन शुरू होने के बाद 12 महीनों के भीतर 50,000 दोपहिया वाहन की बिक्री का आंकड़ा पार किया है। कंपनी ने कहा कि यह आंकड़े देश में जावा मोटरसाइकिल की उत्साही मांग को भी दिखाते हैं। क्लासिक लीजेंड्स में 60 प्रतिशत हिस्सेदारी मंहिंद्रा की है, जबकि 40 प्रतिशत हिस्सेदारी कंपनी के संस्थापक अनुपत तलरेजा और रुस्तमजी समूह के चेयरमैन और प्रबंध निदेशक बोमन ईरानी के पास है। अभी कंपनी देश में महिंद्रा एंड महिंद्रा के मध्यप्रदेश में इंदौर के पास पीथमपुर संयंत्र में अपनी मोटरसाइकिल का विनिर्माण कर रही है। यहां सालाना पांच लाख वाहन का उत्पादन होता है।
- नयी दिल्ली। पुराने दोपहिया वाहनों की बिक्री के ऑनलाइन मंच क्रेडआर ने हीरो इलेक्ट्रिक के साथ मिलकर ‘पेट्रोल वाले दोपहिया वाहनों' को ई-स्कूटर या ई-बाइक से बदलने की पेशकश (एक्सचेंज ऑफर) की है। दोनों कंपनियों ने एक संयुक्त बयान जारी कर इस साझेदारी की घोषणा की। इसके तहत ग्राहकों को अपने पुराने पेट्रोल दोपहिया वाहनों को इलेक्ट्रिक स्कूटर से आसानी से बदलने की सुविधा मिलेगी। इसके बदले में उन्हें नए वाहन की डिलिवरी कुछ ही दिन के भीतर कर दी जाएगी। बयान के मुताबिक क्रेडआर ग्राहक के पुराने वाहन के लिए तत्काल पुनर्खरीद की कीमत बताएगा और इस राशि को हीरो इलेक्ट्रिक स्कूटर्स की कीमत में अग्रिम तौर पर काट लिया जाएगा। बयान में कहा गया है कि इसके लिए ग्राहकों को अपने पेट्रोल दोपहिया वाहनों को हीरो इलेक्ट्रिक के शोरूम में ले जाना होगा। वहां पुराने वाहन का परीक्षण कर क्रेडआर की एक विशेष ऐप के माध्यम से उसकी खरीद कीमत बतायी जाएगी। क्रेडआर पुराने पेट्रोल वाहन की हालत और दस्तावेजों का सत्यापन करेगा और पुराने वाहन की कीमत को नए हीरो इलेक्ट्रिक वाहन की अंतिम कीमत में से कम कर दिया जाएगा। अभी यह ऑफर दिल्ली-एनसीआर, हैदराबाद, जयपुर, बेंगलुरू और पुणे में उपलब्ध है। बाद में इसे भारत भर में शुरू किया जाएगा। क्रेडआर के मुख्य रणनीतिक अधिकारी शशिधर नंदीगम ने कहा, ‘‘दोपहिया वाहन श्रेणी में अभी इलेक्ट्रिक वाहन की हिस्सेदारी एक प्रतिशत से भी कम है। ऐसे में इस क्षेत्र की प्रमुख कंपनी हीरो इलेक्ट्रिक के साथ साझेदारी कर हम रोमांचित हैं।
- नई दिल्ली। व्हॉट्सऐप ने अपनी ऐप पर एक नया 'शॉपिंग बटन' जोड़ा है। इसके जरिये प्रयोगकर्ताओं को 'बिजनेस कैटलॉग' खोजने में आसानी होगी और वे कंपनी द्वारा पेश की जाने वाली वस्तुओं और सेवाओं की जानकारी प्राप्त कर सकेंगे।रोजाना 17.5 करोड़ लोग व्हॉट्सऐप के बिजनेस खाते में संदेश भेजते हैं। प्रति माह चार करोड़ लोग बिजनेस कैटलॉग देखते हैं। इनमें से 30 लाख लोग भारत से हैं। व्हॉट्सऐप ने बयान में कहा, ''हम खरीदारी के अनुभव को और बेहतर करना चाहत हैं, विशेषरूप से छुट्टियों के शॉपिंग सीजन के लिए। लोग ऑनलाइन तरीके से खरीदारी के लिए उपयोगी मदद चाहत हैं और कंपनियों को बिक्री के लिए डिजिटल माध्यम की जरूरत होती है।'' फेसबुक के स्वामित्व वाली कंपनी ने कहा कि वह व्हॉट्सऐप पर एक नया शॉपिंग बटन पेश कर रही है जिससे लोगों को बिजनेस कैटलॉग खोजने में आसानी होगी। इससे लोगों को पता चल सकेगा कि हम किन वस्तुओं और सेवाओं की पेशकश कर रहे हैं। अभी तक लोगों को यह किसी कैटलॉग को देखने के लिए बिजनेस प्रोफाइल पर क्लिक करने की जरूरत होती थी।
- नयी दिल्ली। दूरसंचार कंपनियों ने अगस्त में 37.44 लाख नए मोबाइल ग्राहक जोड़े हैं। इस तरह देश में मोबाइल उपभोक्ताओं की संख्या बढ़कर 114.7 करोड़ हो गई है। भारतीय दूरसंचार नियामक प्राधिकरण (ट्राई) के ताजा आंकड़ों में यह जानकारी दी गई है। ट्राई की ओर से मंगलवार को जारी आंकड़ों के अनुसार देश में कुल फोन ग्राहकों (वायरलेस और वायरलाइन) की संख्या अगस्त में बढ़कर 116.7 करोड़ हो गई, जो जुलाई में 116.4 करोड़ थी। मोबाइल ग्राहकों की संख्या जुलाई के 114.4 करोड़ से 0.33 प्रतिशत बढ़कर अगस्त में 114.7 करोड़ हो गई। अगस्त के अंत तक शहरी क्षेत्रों में मोबाइल ग्राहकों की संख्या 62.4 करोड़ और ग्रामीण इलाकों में 52.2 करोड़ थी। अगस्त में भारती एयरटेल ने सबसे अधिक 28.99 लाख नए ग्राहक जोड़े। उसके कुल कनेक्शनों की संख्या 32.28 करोड़ हो गई है। रिलायंस जियो के कनेक्शनों की संख्या 18.64 लाख बढ़कर 40.26 करोड़ पर पहुंच गई है। वहीं अगस्त के अंत तक वोडाफोन आइडिया के कनेक्शनों की संख्या 12.28 लाख घटकर 30.01 करोड़ रह गई। सार्वजनिक क्षेत्र की एमटीएनएल के मोबाइल ग्राहकों की संख्या में 6,081 की गिरावट आई। वहीं बीएसएनएल के मोबाइल कनेक्शनों में 2.14 लाख का इजाफा हुआ।
- नयी दिल्ली। टाटा पावर का एकीकृत शुद्ध लाभ चालू वित्त वर्ष 2020-21 की जुलाई-सितंबर तिमाही में 10 प्रतिशत बढ़कर 371 करोड़ रुपये रहा। कंपनी ने मंगलवार को एक बयान में कहा कि इससे पूर्व वित्त वर्ष 2019-20 की इसी तिमाही में उसे 339 करोड़ रुपये का शुद्ध लाभ हुआ था। एकीकृत आधार पर टाटा पावर समूह की आय चालू वित्त वर्ष की दूसरी तिमाही में 15 प्रतिशत बढ़कर 8,413 करोड़ रुपये रही जो एक साल पहले 2019-20 की इसी तिमाही में 7,329 करोड़ रुपये थी। कंपनी के अनुसार आय में वृद्धि का कारण टीपी सेंट्रल ओड़िशा डिस्ट्रिब्यूशन लि. (टीपीसीओडीएल) का अधिग्रहण है। इसके अलावा सौर ईपीसी (इंजीनियरिंग, खरीद और निर्माण) के कारण भी आय बढ़ा है।
- डेट्रोएट (अमेरिका)। कार कंपनी फोर्ड अपने इलेक्ट्रिक वाहन संयंत्र में 350 नयी नौकरियां देगी। कंपनी का मकसद इन वाहन का उत्पादन बढ़ाना है। कंपनी ने कहा कि ई-ट्रांजिट वैन के निर्माण के लिए वह मिसूरी के क्लेकोमो में कंसास सिटी असेंबली संयंत्र में 150 लोगों को नौकरी देगी। इसकी बिक्री अगले साल तक शुरू होने की उम्मीद है। वहीं कंपनी अपने एफ-150 पिकअप के निर्माण के लिए मिशगन के डियरबॉर्न में रोग इलेक्ट्रिक वाहन संयंत्र में 200 लोगों की भर्ती करेगी। इसकी बिक्री 2022 के मध्य तक शुरू होगी। इसके अलावा कंपनी अपने कंसास सिटी संयंत्र में 10 करोड़ डॉलर का निवेश भी करेगी।
- नई दिल्ली। कोयला खदानों की वाणिज्यिक नीलामी के सातवें और अंतिम दिन सारदा एनर्जी एंड मिनरल्स लि. ने सोमवार को छत्तीसगढ़ में ब्लॉक हासिल किया। इस खदान में 23.420 करोड़ टन भूगर्भीय भंडार अनुमानित है।कोयला मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि सारदा एनर्जी एंड मिनरल्स ने गारे पलमा 4/7 कोयला ब्लॉक के लिये 66.75 प्रतिशत आय हिस्सेदारी की अंतिम पेशकश की। इससे अधिकतम क्षमता उपयोग (पीआरसी) के आधार पर 210.49 करोड़ रुपये सालाना राजस्व प्राप्त होने का अनुमान है। इस खदान के लिये अडाणी एंटरप्राइजेज लि., भारत अल्युमीनियम कंपनी लि. (बालको), हिंदुस्तान इंडस्ट्रीज लि., जिंदल पावर लि. तथा जेएसडब्ल्यू स्टील लि. जैसी कंपनियां भी दौड़ में थी। मंत्रालय के अनुसार वाणिज्यिक खनन के लिये नीलामी के सातवें दिन छत्तीसगढ़ में एक कोयला खदान को रखा गया था। इस खदान में कुल भूगर्भीय भंडार 23.420 करोड़ टन अनुमान है जबकि पीआरसी 12 लाख टन सालाना अनुमानित है।ई-नीलामी में बोलीदाताओं के बीच मजबूत प्रतिस्पर्धा देखने को मिली। न्यूनतम मूल्य की तुलना में खदानों के लिये ऊंची बोलियां लगायी गयी। गारे पलमा 4/7 कोयला ब्लॉक की नीलामी के साथ अबतक 19 कोयला खदानों की नीलामी हो चुकी है। नीलामी के लिये रखे गये कुल 38 खदानों में से 19 की सफल नीलामी हो चुकी है।इस नीलामी में 42 कंपनियों ने भाग लिये। इसमें से 40 निजी क्षेत्र की थी। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने जून में वाणिज्यिक खनन के लिये 41 कोयला ब्लॉक के लिये नीलामी प्रक्रिया की शुरू की थी। नीलामी में अडाणी एंटरप्राइजेज, वेदांता, हिंडाल्को इंडस्ट्रीज और जिंदल पावर जैसी बड़ी कंपनियां ब्लॉक हासिल करने में सफल रही हैं।-