अक्टूबर की हल्की ठंड में बढ़ जाता है वायरल फीवर का जोखिम, अभी से बरतें ये सावधानियां
अक्टूबर महीने की शुरुआत के साथ ही मौसम में एक सुखद बदलाव महसूस होने लगता है। दिन में हल्की धूप और सुबह-शाम हल्की ठंड का यह मौसम हर किसी को पसंद आता है। मगर यह सुहावना मौसम अपने साथ वायरल संक्रमण का एक बड़ा जोखिम भी लेकर आता है। स्वास्थ्य विशेषज्ञों के अनुसार, दिन और रात के तापमान में होने वाला यही उतार-चढ़ाव हमारे शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता को कमजोर कर देता है और ऐसे में बीमार होने की आशंका बढ़ जाती है।
यही कारण है कि इस मौसम में सर्दी-जुकाम, खांसी और वायरल फीवर के मामले तेजी से बढ़ने लगते हैं। विशेषज्ञों के मुताबिक अगर हम पहले से ही कुछ जरूरी सावधानियां बरतें, तो इस मौसम का बिना बीमार पड़े आनंद लिया जा सकता है। इसलिए आइए इस लेख में इसी के बारे में जानते हैं।
इम्यूनिटी को बनाएं मजबूत
इस मौसम में बीमारियों से बचने का सबसे अच्छा तरीका है अपनी इम्यूनिटी को मजबूत करना। इसके लिए अपनी डाइट में विटामिन C से भरपूर खट्टे फलों जैसे आंवला, संतरा और नींबू को शामिल करें। इसके अलावा रोजाना तुलसी-अदरक की चाय और रात को सोने से पहले हल्दी वाले दूध का सेवन करें। ये नेचुरल इम्यूनिटी बूस्टर शरीर को अंदर से गर्म रखते हैं और संक्रमण से लड़ने की ताकत देते हैं।
कपड़ों और हाइड्रेशन पर दें ध्यान
दिन की धूप से धोखा न खाएं। इस मौसम में सुबह और शाम के समय तापमान तेजी से गिरता है, इसलिए पूरी बाजू के कपड़े पहनें ताकि शरीर ठंडी हवा के सीधे संपर्क में न आए। साथ ही, शरीर को हाइड्रेटेड रखना भी बहुत जरूरी है। ठंडे पानी की जगह दिन भर गुनगुना पानी, सूप और हर्बल टी पिएं। यह गले को आराम देता है और शरीर से विषाक्त पदार्थों को बाहर निकालने में मदद करता है।
स्वच्छता और दूरी बनाए रखना
वायरल संक्रमण एक व्यक्ति से दूसरे में आसानी से फैलता है। इससे बचने के लिए बार-बार अपने हाथों को साबुन से धोएं या सैनिटाइजर का उपयोग करें। अपनी आंखों, नाक और मुंह को छूने से बचें। इस मौसम में जितना हो सके, भीड़-भाड़ वाली जगहों पर जाने से परहेज करें ताकि संक्रमण के खतरे को कम किया जा सके। खांसते या छींकते समय हमेशा मुंह पर रूमाल या टिश्यू रखें।
पूरी नींद और आराम है जरूरी
एक मजबूत इम्यून सिस्टम के लिए पर्याप्त नींद लेना अत्यंत आवश्यक है। रोजाना 7-8 घंटे की गहरी नींद लेने से हमारे शरीर को खुद को मरम्मत करने और संक्रमण से लड़ने वाली कोशिकाओं को बनाने का समय मिलता है। नींद की कमी शरीर को कमजोर बनाती है और बीमारियों की चपेट में आने का खतरा बढ़ाती है। इसलिए अपनी नींद से कोई समझौता न करें।







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