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- नई दिल्ली। सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय एकीकृत सड़क दुर्घटना डाटा बेस परियोजना-आईआरएडी लागू करने की प्रक्रिया में है जो पूरे देश में प्रभावी होगा। पहले चरण में इसे छह राज्यों में लागू करने का फैसला किया गया है। यह राज्य महाराष्ट्र, कर्नाटक, मध्यप्रदेश, राजस्थान, उत्तरप्रदेश और तमिलनाडु हैं। यह ऐप आईआरएडी संबंधित राज्यों की आवश्यकताओं के अनुसार विकसित किया गया है। फिलहाल यह ऐप एंडरायड प्लेटफॉर्म पर उपलब्ध है। जल्दी ही यह आई ओ एस जैसे प्लेटफॉर्म पर भी उपलब्ध होगा।मंत्रालय ने इस ऐप के लिए कर्नाटक के कुछ जिलों में सात और आठ सितम्बर तथा उत्तरप्रदेश के कुछ जिलों में दस और ग्यारह सितम्बर को प्रशिक्षण और प्रबोधन कार्यक्रम आयोजित किया। इस दौरान मिले सुझावों और प्रक्रियाओं पर संबंधित राज्यों के ऐप में शामिल किया जाएगा। आई आर ए डी ऐप का विकास और क्रियान्वयन आई आई टी मद्रास और नेशनल इंफॉर्मेटिक्स सेंटर सर्विसिस के जरिये किया जा रहा है।-----
- नई दिल्ली। केन्द्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने कोविड-19 के मरीजों का इलाज करने वाले निजी अस्पतालों से आग्रह किया कि वे यह सुनिश्चित करें कि वायरल बीमारी से पीडि़त मरीजों को बिस्तर देने इनकार नहीं किया जाये और उनकी समुचित देखभाल हो।फेडरेशन ऑफ इंडियन चैंबर्स ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री (फिक्की) और एम्स, नई दिल्ली के सहयोग से मंत्रालय ने शनिवार को नई दिल्ली में कोरोना वायरस मरीजों को इलाज उपलब्ध कराने वाले निजी अस्पतालों के साथ एक ऑनलाइन सम्मेलन में कहा कि सामूहिक लक्ष्य एक स्वास्थ्य प्रणाली होनी चाहिए जो सभी के लिए उपलब्ध, सस्ती और सुलभ हो। स्वास्थ्य मंत्रालय ने कहा कि बैठक में गंभीर बीमारियों से ग्रस्त मरीजों का समय पर उपचार कर मृत्युदर को कम किये जाने पर जोर दिया जाना चाहिए। अस्पतालों को अपने संक्रमण रोकने और उसे नियंत्रित करने के लिए सभी उपायों को अपना कर स्वास्थ्यकर्मियों को प्रोत्साहित करना चाहिए।केन्द्रीय स्वास्थ्य सचिव राजेश भूषण ने इस ऑनलाइन सम्मेलन का उद्घाटन किया। स्वास्थ्य मंत्रालय ने कहा, उन्होंने यह सुनिश्चित करने के लिए सरकार के संकल्प को दोहराया कि कोविड-19 रोगियों को बिस्तरों से वंचित नहीं किया जाना चाहिए और उन्हें शीघ्र उपचार प्रदान किया जाना चाहिए। बैठक में, निजी अस्पतालों के वरिष्ठ डॉक्टरों ने भी कोविड-19 के खिलाफ अपनी लड़ाई के बारे में अपने अनुभव और चुनौतियों को साझा किया।
- बांदा (उप्र)। जिले के अतर्रा थाना क्षेत्र के तेराब गांव में आकाशीय बिजली गिरने से जंगल में मवेशी चरा रहे तीन लोगों की मौत हो गयी। अतर्रा क्षेत्र के पुलिस उपाधीक्षक सियाराम ने बताया कि शनिवार को तेराब गांव में आकाशीय बिजली गिरने से शिवपूजन पाल (20), कमलेश पाल (12) और विनोद पाल (आठ) गंभीर रूप से झुलस गए, जिन्हें इलाज के लिए सरकारी अस्पताल ले जाया गया।उन्होंने बताया कि अस्पताल में इलाज के दौरान तीनों की मौत हो गयी। शव पोस्टमॉर्टम के लिए भेज दिए गए हैं। अधिकारी ने बताया कि घटना की सूचना राजस्व अधिकारियों को दे दी गयी है, ताकि पीडि़त परिवारों को दैवीय आपदा राहत कोष से आर्थिक मदद मिल सके।
- नई दिल्ली। सरकार परिवहन के वाहनों में उत्सर्जन के कई अंतरराष्ट्रीय मानक और सुरक्षा उपाय लागू करने की प्रक्रिया में है। इसमें इलेक्ट्रॉनिक स्थिरता नियंत्रण प्रणाली और ब्रेक एसिस्ट प्रणाली शामिल है। सरकार का इरादा देश के मोटर वाहन उद्योग को नियमनों के मामले में विकसित देशों के समकक्ष लाने का है।सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय ने बयान में कहा, सरकार ने परिवहन वाहनों में उत्सर्जन के अंतरराष्ट्रीय मानकों और सुरक्षा उपायों के कार्यान्वयन का एक परिवर्तनकारी कार्यक्रम शुरू किया है। सरकार वाहन उद्योग के लिए एक दीर्घावधि की नियामकीय रूपरेखा पर आगे बढ़ रही है जिससे सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) में इस क्षेत्र के योगदान को बढ़ाया जा सके। बयान में कहा गया है कि सरकार अगले दो साल में संबंधित श्रेणियों में इलेक्ट्रॉनिक स्थिरता नियंत्रण प्रणाली (ईएससी) तथा ब्रेक एसिस्ट प्रणाली के कार्यान्वयन को अंतिम रूप दे रही है। ईएससी बसों के लिए अधिसूचना पिछले साल जारी की गई है। बयान में कहा गया है कि बसों के लिए इलेक्ट्रॉनिक स्थिरता नियंत्रण प्रणाली के संदर्भ में अधिसूचना का मसौदा जारी किया गया है। इसे अप्रैल, 2023 के लागू किए जाने की संभावना है। हम सभी श्रेणियों के वाहनों में सुरक्षा के उच्चस्तर के लिए काम कर रहे हैं। मंत्रालय ने इस क्षेत्र में अंतरराष्ट्रीय मानकीकरण को कुछ प्राथमिकता वाले क्षेत्र तय किए हैं। इनमें कुछ वाहन श्रेणियों में टायर के दबाव की निगरानी प्रणाली शामिल है। इसे इसी साल अक्टूबर से लागू किए जाने की उम्मीद है।
- सिंगरौली। मध्य प्रदेश में सिंगरौली जिला मुख्यालय से लगभग 90 किलोमीटर दूर गढ़वा थाना क्षेत्र में सोन नदी में नहाने गए चार युवक पानी के तेज बहाव में बह गए। स्थानीय गोताखोरों ने एक लड़के का शव नदी से निकाल लिया जबकि तीन अन्य की तलाश की जा रही है।गढ़वा पुलिस थाने के प्रभारी निरीक्षक संतोष तिवारी ने बताया की ग्राम कुड़ारी लमसरई स्थित सोन नदी में चार युवक अमित कुमार (15), आनंद कुमार बैस (13), रोहित कुमार बैस (13) तीनों निवासी लमसरई और राहुल बैस (15) निवासी ग्राम रामडीहा शनिवार को नहाने गए थे। उन्होंने बताया कि सोन नदी की गहराई में जाने के साथ तेज बहाव होने की वजह से चारों युवक अपने आप को बचा नहीं पाए और नदी में बह गए। तिवारी ने बताया कि नदी में बहे चारों युवकों में से एक आनंद कुमार का शव बरामद कर लिया गया है जबकि स्थानीय गोताखोरों की सहायता से तीन अन्य की तलाश की जा रही है। (प्रतिकात्मक फोटो)
- नई दिल्ली। कोविड-19 महामारी के मद्देनजर कड़े ऐहतियात के बीच रविवार को मेडिकल प्रवेश परीक्षा नीट का आयोजन होगा जिसमें 15 लाख से अधिक छात्रों के शामिल होने की उम्मीद है । राष्ट्रीय परीक्षा एजेंसी (एनटीए) के अधिकारियों ने यह जानकारी दी है।एनटीए ने सामाजिक दूरी बनाये रखने के लिये परीक्षा केंद्रों की संख्या को मूल योजना के तहत 2546 केंद्रों से बढ़ाकर 3843 केंद्र कर दिया है, वहीं प्रत्येक कमरे में उम्मीदवारों की संख्या को पूर्व निर्धारित संख्या 24 से घटाकर 12 कर दिया गया है। राष्ट्रीय प्रवेश सह पात्रता परीक्षा (नीट) कलम एवं पेपर पर आधारित परीक्षा है जबकि इंजीनियरिंग प्रवेश परीक्षा जेईई मेंस ऐसी नहीं थी । कोरोना वायरस के प्रसार के कारण नीट को दो बार पहले टाला जा चुका है। मूल रूप से यह परीक्षा 3 मई को होनी थी और फिर बाद में इसे 26 जुलाई के लिये आगे बढ़ा दिया गया था । अब यह परीक्षा 13 सितंबर को निर्धारित है। नीट परीक्षा के लिये 15.97 लाख छात्रों ने पंजीकरण कराया है।एनटीए के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया, परीक्षा हाल के बाद सामाजिक दूरी बनाये रखना सुनिश्चित करने के लिये प्रवेश और निकास की अलग व्यवस्था की योजना बनाई गई है । परीक्षा केंद्रों के बाहर इंतजार करने वाले छात्रों के लिये सामाजिक दूरी बनाये रखते हुए कतार में खड़ा रहने के लिये पर्याप्त व्यवस्था की गई है। अधिकारी ने बताया कि उम्मीदावारों के मागदर्शन के लिये परामर्श जारी किये गए हैं जिसमें उपयुक्त सामाजिक दूरी बनाये रखने के लिये क्या करें और क्या नहीं करें के बारे में जानकारी दी गई है। उन्होंने कहा, हमने स्थानीय स्तर पर छात्रों के आने-जाने में मदद के संदर्भ में राज्य सरकारों को को भी लिखा है ताकि छात्र समय पर परीक्षा केंद्र पर पहुंच सकें । कोविड-19 प्रतिबंधों एवं सामाजिक दूरी के अनुपालन के अनुरूप परीक्षा एजेंसी ने इस सप्ताह कुछ छात्रों के केंद्रों में बदलाव भी किया है हालांकि किसी उम्मीदवार के परीक्षा शहर को नहीं बदला गया है। परीक्षा केंद्र के प्रवेश द्वार और परीक्षा कक्ष के भीतर हर समय सैनिटाइजर उपलब्ध रहेगा और परीक्षा प्रवेश पत्र को हाथ से जांच करने की बजाए इसे बार कोड युक्त बनाया गया । इसके साथ ही कक्षा में कम संख्या में उम्मीदवार और प्रवेश एवं निकास की अलग व्यवस्था की गई है।अधिकारी ने बताया, उम्मीदवारों को मास्क और सैनिटाइजर के साथ केंद्र पर आने को कहा गया । एक बार केंद्र में प्रवेश करने के बाद उन्हें परीक्षा प्राधिकार द्वारा उपलब्ध कराया गया मास्क उपयोग करना होगा । '' उन्होंने बताया कि प्रत्येक उम्मीदवार को प्रवेश करते समय तीन स्तर वाला मास्क उपलब्ध कराया जायेगा और उनसे परीक्षा देते समय इसे पहनने की उम्मीद की जाती है।गौरतलब है कि ओडिशा, मध्यप्रदेश, छत्तीसगढ़ ने छात्रों के आने जाने की व्यवस्था करने का छात्रों को आश्वासन दिया है और आईआईटी एल्युमनी एवं छात्रों के समूह ने परीक्षा केंद्र के लिये परिवहन सुविधा प्रदान करने के लिये एक पोर्टल पेश किया है। कोलकाता मेट्रो रेलवे ने नीट देने वाले छात्रों के लिये 13 सितंबर को विशेष सेवा प्रदान करने की योजना बनायी है।
- नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने प्रधानमंत्री आवास योजना ग्रामीण के तहत मध्यप्रदेश में 12 हजार गांवों में एक लाख 75 हजार आवासों का लोकार्पण किया। प्रधानमंत्री ने गृह प्रवेशम पट्टिका जारी की और एक साथ सभी घरों का लोकार्पण किया। उनसे बातचीत में प्रधानमंत्री ने कहा कि सरकार गरीबों की समस्याएं दूर करने के लिए हर संभव कार्य कर रही है।इन सभी आवासों का निर्माण कोविड-19 महामारी काल की चुनौतियों के बीच किया गया है। उन्होंने वीडियो कान्फ्रेंसिंग के माध्यम से धार, सीधी, सिंगरौली और ग्वालियर जिलों के कुछ लाभार्थियों से बातचीत भी की। इस बातचीत का प्रसारण सोलह हजार चार सौ चालीस ग्राम पंचायतों और 26 हजार पांच सौ 48 गांवों में किया गया। एक करोड़ से ज्यादा लोगों ने इसे सुनने के लिए पंजीकरण कराया था। इस मौके पर श्री मोदी ने कहा कि प्रधानमंत्री आवास योजना सिर्फ लोगों को आवास उपलब्ध कराने के लिए नहीं है, बल्कि ये गरीबों में आत्मविश्वास भरने की भी है, ताकि वे रोजमर्रा के संघर्ष को बेहतर भविष्य के निर्माण पर ध्यान केन्द्रित कर सके और चैन की नींद सो सके।इस योजना को आपदा को अवसर में बदलने का बेहतर उदाहरण बताते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि कोविड-19 की विभिन्न चुनौतियों के बावजूद 18 लाख आवासों के निर्माण का कार्य पूरा किया गया। इनमें से एक लाख 75 हजार आवास मध्य प्रदेश में ही बनाए गए हैं और निर्माण कार्य 125 दिन की बजाए 35-40 दिन में ही पूरा कर लिया गया है। कुशल श्रम शक्ति के योगदान की चर्चा करते हुए श्री मोदी ने कहा कि आवासों का जल्द निर्माण हमारे श्रमिक भाईयों के योगदान से संभव हो पाया है जिन्होंने शहरों से वापस लौटकर गरीब लोगों के लिए आवास निर्माण में प्रधानमंत्री गरीब कल्याण रोजगार योजना का लाभ उठाया।प्रधानमंत्री ने कहा कि स्वच्छ भारत, मनरेगा, उज्ज्वला और सौभाग्य जैसी विभिन्न योजनाओं को गरीबों के आवास योजना से जोड़ा गया है, ताकि सामूहिक प्रयासों से निर्धनों का सपना पूरा किया जा सके।इस मौके पर मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि लाभार्थी परिवारों के लिए आज का दिन नए जीवन की शुरूआत है। मध्य प्रदेश में अब तक 17 लाख निर्धन परिवारों को प्रधानमंत्री आवास योजना ग्रामीण का लाभ मिल चुका है। मुख्यमंत्री ने बताया कि प्रधानमंत्री के जन्मदिवस 17 सितंबर से राज्य के 37 लाख गरीबों को राशन के लिए पर्ची बांटी जाएगी। सरकार के प्रमुख कार्यक्रम प्रधानमंत्री आवास योजना - पीएमएवाई ने दूर - दराज के गावों में अनेक बेघर परिवारों की जिंदगी बदल दी है। श्री मोदी ने -2020 तक सबके लिए आवास का नारा दिया। इसके लिए 20 नंवबर 2016 से प्रधानमंत्री आवास योजना- ग्रामीण की शुरूआत की गई थी। इसके तहत अब तक एक करोड़ 14 लाख आवासों का निर्माण हो चुका है। मध्य प्रदेश सरकार ने निर्धन लोगों को अतिरिक्त सुविधा पहुंचाने के लिए समृद्धि पर्यावास अभियान के तहत सामाजिक सुरक्षा, पेंशन योजना, राशन कार्ड, प्रधानमंत्री कौशल विकास योजना, राष्ट्रीय ग्रामीण आजिविका मिशन जैसी 17 अन्? योजनाओं को जोड़ा है।
- नई दिल्ली। कोविड-19 से पिछले चौबीस घंटों में 81 हजार 533 मरीज स्वस्थ हुए हैं। एक दिन में ठीक होने वालों की यह सबसे अधिक संख्या है। देश में अब तक 36 लाख 24 हजार से ज्यादा लोग वायरस संक्रमण से स्वस्थ हो चुके हैं। स्वस्थ होने वालों की दर 77.77 प्रतिशत है।स्वास्थ्य मंत्रालय ने कहा है कि स्वस्थ होने वालों और सक्रिय मामलों की संख्या में तेजी से अंतर आ रहा है। कुल संक्रमित मरीजों में से तीन चौथाई मरीज स्वस्थ हो चुके हैं, जबकि चौथाई मामले अभी सक्रिय हैं। स्वस्थ होने वालों की संख्या में लगातार वृद्धि होने से अब कुल पॉजिटिव मामलों की संख्या बीस दशमलव पांच छह प्रतिशत रह गई है। स्वस्थ होने वालों की संख्या सक्रिय मामलों से लगभग चार गुणा अधिक है। पिछले 29 दिन में स्वस्थ होने वालों की संख्या में अभूतपूर्व वृद्धि हुई है।स्वास्थ्य मंत्रालय ने बताया है कि ठीक होने वालों की दर में लगातार वृद्धि नौ राज्यों और केन्द्रशासित प्रदेशों में स्वस्थ होने की दर 80 प्रतिशत से अधिक होने के कारण संभव हो पाई है। इन राज्यों में बिहार, तमिलनाडु, दिल्ली, पश्चिम बंगाल, राजस्थान और गुजरात शामिल हैं। मंत्रालय ने बताया है कि संक्रमण का जल्दी पता लगाने, उपचार और सघन चिकित्सा कक्ष के डॉक्टरों की कुशलता से भारत में स्वस्थ होने वालों की दर में वृद्धि हो रही है। विभिन्न राज्यों और केन्द्रशासित प्रदेशों से स्वस्थ होने की उच्च दर की रिपोर्ट मिली है। स्वस्थ होने वालों की कुल संख्या का लगभग साठ प्रतिशत पांच राज्यों महाराष्ट्र, आंध्र प्रदेश, कर्नाटक, उत्तर प्रदेश और तमिलनाडु में है। सघन और विस्तृत जांच से संक्रमण का जल्द पता लगाने और अस्पतालों में उपचार तथा पृथकवास की सुविधा से स्वस्थ होने की उच्च दर हासिल की जा सकी है।इस समय देश में कोविड-19 से मृत्यु दर 1.66 प्रतिशत है। विश्व में औसत मृत्यु दर तीन प्रतिशत से ऊपर है। इसके मुकाबले भारत में मृत्यु दर कम है। 17 राज्यों और केन्द्रशासित प्रदेशों में मृत्यु दर एक दशमलव से भी कम है। पिछले चौबीस घंटों में 97 हजार पांच सौ 70 नए मामले आने से कुल मामलों की संख्या 46 लाख 59 हजार नौ सौ 85 हो गई है। देश में इस समय सक्रिय मामलों की संख्या नौ लाख 58 हजार तीन सौ 16 हो गई है। पिछले चौबीस घंटों में एक हजार दो सौ एक मौत होने से मरने वालों की संख्या 77 हजार चार सौ 72 हो गई है।
- नई दिल्ली। पेंशन भोगियों के लिए जीवन प्रमाण-पत्र जमा करने की तिथि पहली अक्तूबर से बढ़ाकर 31 दिसंबर, 2020 कर दी गई है। कार्मिक राज्यमंत्री डॉक्टर जितेन्द्र सिंह ने अपने ट्वीट में कहा है कि कोरोना वायरस से वृद्धों को सुरक्षित रखने के लिए तिथि बढ़ाने का निर्णय लिया गया है। उन्होंने कहा कि 80 वर्ष और उससे अधिक आयु के पेंशनभोगी इस वर्ष 31 दिसंबर तक अपना जीवन प्रमाण-पत्र जमा करा सकते हैं। उन्होंने बताया कि सभी केंद्रीय सरकार के पेंशनभोगी पहली नबंवर से 31 दिसंबर, 2020 तक अपना जीवन प्रमाण-पत्र जमा करा सकते हैं।कार्मिक राज्यमंत्री ने बताया कि बढ़ाई गई तिथि की अवधि के दौरान पेंशनभोगियों को निर्बाध पेंशन मिलती रहेगी।
- नई दिल्ली। 15वें राष्ट्रीय वन शहीद दिवस के अवसर पर पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्री प्रकाश जावडेकर ने उन बलिदानियों का स्मरण किया जिन्होंने आग, तस्करों और माफियाओं से हमारी जैव विविधता और महत्वपूर्ण वन संपदा की रक्षा करते हुए अपने प्राण गंवाए।चंदन तस्करों द्वारा मारे गए वन विभाग के एक कर्मचारी का स्मरण करते हुए श्री जावडेकर ने कहा कानूनों में आवश्यक संशोधन किए जाने की आवश्यकता है ताकि चंदन की लकड़ी का और बड़े पैमाने पर उत्पादन किया जा सके। केंद्रीय मंत्री ने जंगल की आग और बाघ, हाथी तथा गेंडे के हमलों में अपनी जान गंवाने वाले वन कर्मियों के बलिदान को स्मरण करते हुए उन्हें श्रद्धांजलि दी। वर्ष 2019-20 में जान गंवाने वाले वन कर्मियों की याद में प्रमाण पत्र जारी किए गए।केंद्रीय मंत्री ने रेत माफियाओं को कड़ी चेतावनी देते हुए कहा कि स्थितियों की समीक्षा की जाएगी और दोषी पाए जाने वालों को कड़े से कड़ा दंड दिया जाएगा। उन्होंने कहा कि रेत खनन को लेकर नए कानून और नियमों के जारी होने के बावजूद कई राज्य और कई क्षेत्र ऐसे हैं , जहां नियमों का सख्ती से पालन नहीं हो रहा है। अलवर के सरिस्का बाघ अभयारण्य में संदिग्ध खनन माफिया के सदस्यों को अपने सहकर्मियों के साथ रोकने के दौरान वन विभाग में होमगार्ड केवल सिंह को ट्रैक्टर से कुचल दिया गया।केंद्रीय मंत्री ने राज्य सरकारों से आग्रह किया कि वे रेत खनन माफियाओं के मामले को गंभीरता से लें और अवैध खनन रोकने के लिए कानून का सख्ती से पालन सुनिश्चित करें। उन्होंने यह भी कहा कि टिकाऊ खनन परंपरा अपनाई जानी चाहिए ताकि नदियों के किनारे से प्राकृतिक संसाधनों का क्षरण रोका जा सके। टिकाऊ खनन व्यवस्था से नदियों के किनारों से खत्म हो रहे प्राकृतिक संसाधनों को रोका जा सकता है और वन कर्मियों व अधिकारियों तथा राजस्व विभाग के कर्मचारियों की हत्याओं को रोका जा सकता है। यह भी सुनिश्चित किए जाने की आवश्यकता है कि कानून का उल्लंघन करने वालों को कड़ा दंड मिले।
- बीकानेर/जयपुर। राजस्थान के बीकानेर जिले में शनिवार तड़के एक सड़क हादसे में सेना के दो अधिकारियों की मौत हो गयी। पुलिस ने इसकी जानकारी दी ।पुलिस के अनुसार यह हादसा बीकानेर -जयपुर राष्ट्रीय राजमार्ग पर हुआ जब सेना की गाड़ी टायर फटने से अनियंत्रित होकर पलट गई। जिसमें दो सैन्य अधिकारियों की मौत हो गई जबकि दो अन्य जवान गंभीर रुप से घायल हो गए। रक्षा प्रवक्ता कर्नल संबित घोष ने बताया कि हादसे में 19 वीं इंफेंटरी रेजिमेंट के सीओ मनीष सिंह चौहान व मेजर नीरज शर्मा की मौत हो गई। सैरुणा पुलिस थानाधिकारी अजय कुमार ने बताया कि पुलिस ने घायलों को बीकानेर के पीबीएम अस्पताल पहुंचाया जहां से दोनों सैन्य अधिकारियों को मृत घोषित कर दिया गया। वहीं दोनों घायल जवान अस्पताल में भर्ती हैं।----
- नई दिल्ली। सामाजिक कार्यकर्ता और आर्य समाज की प्रतिष्ठित हस्ती स्वामी अग्निवेश का आज निधन हो गया है। वे 81 वर्ष के थे। स्वामी अग्निवेश को सोमवार को नई दिल्ली के इंस्टिट्यूट ऑफ लिवर एंड बायिलरी साइंसेज (आईएलबीएस) में भर्ती कराया गया था।इंस्टिट्यूट ऑफ लिवर एंड बायिलरी साइंसेज ने स्वामी अग्निवेश के निधन की पुष्टि करते हुए कहा, स्वामी अग्निवेश को शुक्रवार शाम 6 बजे कार्डियक अरेस्ट हुआ। उन्हें बचाने की भरपूर कोशिश की गई। उन्होंने शाम 6.30 बजे अंतिम सांस ली।खबरों के अनुसार लिवर सिरोसिस से पीडि़त अग्निवेश को कई प्रमुख अंगों ने काम करना बंद कर दिया तो मंगलवार से उन्हें वेंटिलेटर पर रखा गया था।21 सितंबर, 1939 को जन्मे स्वामी अग्निवेश सामाजिक मुद्दों पर अपनी बेबाक टिप्पणियों के लिए जाने जाते थे। 1970 में आर्य सभा नाम की राजनीतिक पार्टी बनाई थी। 1977 में वह हरियाणा विधानसभा में विधायक चुने गए और हरियाणा सरकार में शिक्षा मंत्री भी रहे। 1981 में उन्होंने बंधुआ मुक्ति मोर्चा नाम के संगठन की स्थापना की। स्वामी अग्निवेश ने 2011 में अन्ना हजारे की अगुवाई वाले भ्रष्टाचार विरोधी आंदोलन में भी हिस्सा लिया था। हालांकि, बाद में वे इस आंदोलन से दूर हो गए थे।---
- नई दिल्ली। एयरो इंडिया-21 का 13वां संस्करण 3 से 7 फरवरी, 2021 तक बेंगलुरु, कर्नाटक के वायु सेना स्टेशन, येलहंका में आयोजित किया जाएगा। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह आज नई दिल्ली में एयरो इंडिया 2021 की वेबसाइट https://aerozia.gov.in लॉन्च की। इस वेबसाइट पर स्पेस बुकिंग की जा सकती है।एयरो इंडिया 2021 वेबसाइट एशिया के सबसे बड़े एयरोशो के लिए एक संपर्क रहित ऑनलाइन इंटरफेस होगी और प्रदर्शनकारियों और आगंतुकों दोनों के लिए ही इस आयोजन से संबंधित सभी ऑनलाइन सेवाओं की यह मेजबानी करेगी। इसके अलावा, रक्षा मंत्रालय की हाल की नीतियों तथा पहलों के संबंध में सूचनात्मक विषय वस्तु के साथ-साथ स्वदेशी वायुयानों और हेलिकॉप्टरों के उत्पादन प्रोफाइल के बारे में भी जानकारी उपलब्ध होगी। रक्षा मंत्री ने इस आयोजन की सफलता के बारे में अपनी शुभकामनाएं दीं हैं।प्रदर्शक अपनी जरूरत के अनुसार पहले आओ-पहले पाओ के आधार पर ऑनलाइन पंजीकरण और बुकिंग कर सकेंगे और एयरो इंडिया की वेबसाइट पर ऑनलाइन सभी भुगतान कर सकेंगे। प्रदर्शक 31 अक्टूबर, 2020 से पहले वेबसाइट पर स्थान बुक करके प्रारंभिक छूट का लाभ उठा सकते हैं।व्यवसाय और अन्य आगंतुक 3 से 7 फरवरी, 2021 तक यह शो देखने के लिए इस वेबसाइट पर ऑनलाइन अपने टिकट खरीद सकेंगे। अपने प्रकाशनों को प्रसारित करने का इच्छुक मीडिया और मीडियाकर्मी भी इस आयोजन की कवरेज के लिए वेबसाइट पर पंजीकरण करा सकेंगे। इस वेबसाइट में एक प्रश्न निवारण और प्रतिक्रिया तंत्र भी शामिल किया गया है जिसमें प्रदर्शक और आगंतुक अपने प्रश्नों और टिप्पणियों को भेजने में सक्षम होंगे। सुरक्षित आयोजन सुनिश्चित करने के लिए स्वास्थ्य प्रोटोकॉल भी लागू किया जाएगा।यह वेबसाइट अंतर सक्रिय होगी और इसका उद्देश्य इस शो में पहली बार संपर्क रहित अनुभव उपलब्ध कराना है। इस आयोजन को संज्ञान बनाने के लिए प्रतिभागियों में विश्वास स्थापित करने में मदद करेगी और व्याप्त महामारी संबंधी दिशा-निर्देशों और सुरक्षा उपायों साथ अनुकूल काम करेगी।उल्लेखनीय है कि रूस की अपनी यात्रा के दौरान अपनी द्विपक्षीय चर्चा में रक्षा मंत्री श्री राजनाथ सिंह ने एयरो इंडिया-21 शो का उल्लेख करते हुए रूस और मध्य एशियाई गणतंत्र देशों के रक्षा मंत्रियों और उद्योग प्रतिनिधिमंडलों को इस शो में भागीदारी के लिए आमंत्रित किया है। वेबसाइट के शुभारंभ के अवसर पर सचिव (रक्षा उत्पादन) श्री राजकुमार और रक्षा मंत्रालय के अन्य वरिष्ठ अधिकारी भी उपस्थित थे।
- -केन्द्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने राज्यों को लिखा पत्रनई दिल्ली। केन्द्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय की जानकारी में आया है कि कुछ राज्य विभिन्न अधिनियमों के तहत प्रावधानों का प्रयोग करके ऑक्सीजन की अंतरराज्यीय मुक्त आवाजाही को रोकने की कोशिश कर रहे हैं। इसके अलावा, वे अपने राज्य में स्थित विनिर्माताओं/आपूर्तिकर्ताओं को ऑक्सीजन की आपूर्ति केवल राज्यों के अस्पतालों के लिए ही करने के लिए भी मजबूर कर रहे हैं।इस बात को ध्यान में रखते हुए स्वास्थ्य मंत्रालय ने दोहराया है कि कोविड के गंभीर रोगियों के इलाज के लिए अस्पतालों में ऑक्सीजन का महत्वपूर्ण स्थान है। राज्यों/केन्द्र शासित प्रदेशों को लिखे पत्र में केन्द्रीय स्वास्थ्य सचिव ने इस बात पर जोर दिया है कि मेडिकल ऑक्सीजन की पर्याप्त और बाधारहित आपूर्ति कोविड-19 के मध्यम और गंभीर मामलों के इलाज के लिए एक महत्वपूर्ण जरूरत है। स्वास्थ्य सचिव ने सभी राज्यों/ केन्द्र शासित प्रदेशों से यह सुनिश्चित करने का अनुरोध किया कि राज्यों के बीच मेडिकल ऑक्सीजन की आवाजाही पर कोई प्रतिबंध लागू न किया जाए। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि अस्पताल में भर्ती हर रोगी को ऑक्सीजन उपलब्ध कराना प्रत्येक राज्य की जिम्मेदारी है।इस बात की ओर पुन: ध्यान दिलाया गया कि मेडिकल ऑक्सीजन एक आवश्यक सार्वजनिक स्वास्थ्य वस्तु है और देश में मेडिकल ऑक्सीजन की आपूर्ति में किसी भी प्रकार की बाधा देश के किसी भी अन्य भाग में कोविड-19 की बीमारी से ग्रस्त रोगियों के प्रबंधन को गंभीर रूप से प्रभावित कर सकती है। इसके अलावा कुछ प्रमुख ऑक्सीजन विनिर्माताओं/आपूर्तिकर्ताओं ने पहले से ही विभिन्न राज्यों के साथ मेडिकल ऑक्सीजन की आपूर्ति के लिए कानूनी बाध्यता वाले अनुबंध कर रखे हैं।केन्द्र की अगुवाई में कोविड प्रबंधन रणनीति देखभाल उपचार के दिशा-निर्देशों पर आधारित है। इन दिशा-निर्देशों में अस्पतालों सहित सभी प्रकार की कोविड सुविधाओं में चिकित्सा देखभाल की एक समान और मानकीकृत गुणवत्ता सुनिश्चित की गई है। मध्यम और गंभीर किस्म के मामलों के लिए पर्याप्त मात्रा में ऑक्सीजन एंटी-कोआगुलेंट्स की समय पर व्यवस्था तथा व्यापक रूप से उपलब्ध कराने के साथ-साथ सस्ती कॉर्टिकोस्टेरॉइड्स की प्रोटोकॉल के अनुसार उपलब्धता कोविड-19 चिकित्सा का मुख्य आधार है।पूरे देश में ऑक्सीजन की पर्याप्त मात्रा में आपूर्ति तथा अन्य उपायों को शामिल करके अस्पताल में भर्ती होने वाले मध्यम और गंभीर किस्म के मामलों की प्रभावी नैदानिक देखभाल सुनिश्चित हुई है। अपनाई गई रणनीतियों की सक्रियता से रोगियों के ठीक होने की दर में बढ़ोतरी हुई है और मामला मृत्युदर में (मौजूदा दर 1.67 प्रतिशत) काफी गिरावट आई है। आज की तिथि के अनुसार 3.7 प्रतिशत से कम सक्रिय रोगी ऑक्सीजन सपोर्ट पर हैं।---
- नई दिल्ली। सरकार ने बैंक उधारकर्ताओं को राहत देने के आकलन के लिए तीन सदस्यीय विशेषज्ञ समिति गठित की है। पूर्व नियंत्रक और महालेखा परीक्षक राजीव महर्षि की अध्यक्षता वाली यह समिति कर्जदारों को ब्याज से राहत देने और कोविड-19 के कारण ऋण स्थगन से राष्ट्रीय अर्थव्यवस्था और वित्तीय स्थिरता पर पडऩे वाले प्रभाव का आकलन करेगी।वह इस संबंध में समाज के विभिन्न वर्गों को होने वाली वित्तीय मुश्किलें कम करने के उपाय भी सुझाएगी। समिति एक सप्ताह के भीतर अपनी रिपोर्ट सौंपेगी। यह कदम ब्याज में छूट की राहत मांगने पर और अन्य संबंधित मुद्दों पर उच्चतम न्यायालय में चल रही सुनवाई में प्रकट की गई विभिन्न चिंताओं के बाद उठाया गया है।---
- -भारत और जापान के बीच विशेष सामरिक और वैश्विक साझेदारी के ढांचे के अंतर्गत सहयोग की समीक्षा कीनई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज जापान के प्रधानमंत्री शिंजो आबे से टेलिफोन पर बातचीत की। श्री मोदी ने दोनों देशों के बीच संबंधों को प्रगाढ़ बनाने के लिए श्री आबे की वचनबद्धता और नेतृत्व के लिए उनके प्रति आभार व्यक्त किया। दोनों देशों के बीच आपसी विश्वास और मित्रता की पुष्टि करते हुए दोनों नेताओं ने एक-दूसरे के देश की यात्राओं के दौरान अपने-अपने साझा अनुभवों को याद किया।दोनों नेताओं ने भारत-जापान विशेष सामरिक और वैश्विक साझेदारी के ढांचे के अंतर्गत मुंबई-अहमदाबाद बुलेट ट्रेन परियोजना सहित विभिन्न सहयोग कार्यक्रमों की प्रगति की समीक्षा की। वे इस बात पर भी सहमत थे कि भारत और जापान के बीच मजबूत तथा चिरस्थायी साझेदारी, कोविड महामारी के बाद के दौर में वैश्विक समुदाय के लिए नया रास्ता तैयार करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगी।दोनों नेताओं ने भारतीय सशस्त्र सेनाओं और जापान की आत्मरक्षा सेनाओं द्वारा एक-दूसरे को विभिन्न वस्तुओं और सेवाओं की आपूर्ति के समझौते पर हस्ताक्षर किए जाने का स्वागत किया। वे इस बात पर भी एकमत थे कि इस समझौते से भारत और जापान के बीच रक्षा सहयोग और सुदृढ होगा तथा हिन्द-प्रशांत क्षेत्र में शांति तथा सुरक्षा बनाए रखने में मदद मिलेगी।श्री मोदी और श्री आबे ने कोविड महामारी के दौर में अपने-अपने नागरिकों को एक-दूसरे देश की सरकारों द्वारा सहायता उपलब्ध कराए जाने की सराहना की और वे इस बात पर भी सहमत थे कि भारत और जापान के नागरिकों के बीच मजबूत व्यक्तिगत संबंध बनाए रखने के लिए ऐसे प्रयास जरूरी हैं। दोनों नेताओं ने विश्वास व्यक्त किया कि भारत-जापान साझेदारी में पिछले कुछ वर्षों में जो तेजी आई है वह भविष्य में इसी तरह जारी रहेगी। प्रधानमंत्री मोदी ने जापान की नई सरकार के साथ पूरा सहयोग करने की इच्छा व्यक्त की और प्रधानमंत्री आबे को भविष्य के लिए शुभकामनाएं दीं।
- बांदा (उप्र)। जिले की नरैनी कोतवाली क्षेत्र के नहरी गांव के नजदीक एक ट्रैक्टर-ट्रॉली असंतुलित होकर सड़क किनारे लगे पेड़ से टकराने के बाद पलट गई। इस हादसे में चालक की मौके पर ही मौत हो गयी है और ट्रॉली में बैठे चार मजदूर घायल हो गए।नरैनी कोतवाली के प्रभारी निरीक्षक राकेश कुमार सरोज ने बताया कि बुधवार को मोहनपुरवा (खलारी) गांव की रंज नदी से अवैध तरीके से बालू लादकर नरैनी की तरफ आ रही एक ट्रैक्टर-ट्रॉली असंतुलित होकर सड़क में भैंस को टक्कर मारने के बाद पेड़ से टकराकर पलट गई है, जिससे ट्रॉली में दबकर नंदवार गांव के रहने वाले ट्रैक्टर चालक राजेश राजपूत (25) की मौके पर ही मौत हो गयी है और ट्रॉली में बैठे चार मजदूर घायल हो गए। उन्होंने बताया, पोस्टमॉर्टम कराने के बाद शव परिजन को सौंप दिया गया है और हादसे की जांच की जा रही है। उन्होंने बताया कि ट्रैक्टर-ट्रॉली की टक्कर लगने से भैंस की भी मौत हो गई।----
- किसानों के लिए ई-गोपाला ऐप का भी हुआ उद्घाटननई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने आज प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना का डिजिटली उद्घाटन किया। उन्होंने ई-गोपाला ऐप की भी शुरूआत की, जिसका उद्देश्य मत्स्य पालन, मत्स्य बीज में व्यापक बेहतरी, संबंधित बाजार और सूचना पोर्टल की व्यवस्था करना है।इस ऐप को किसान सीधे तौर पर इस्तेमाल कर सकते हैं। इस अवसर पर प्रधानमंत्री ने बिहार में मत्स्य पालन और पशुपालन क्षेत्रों से संबंधित अनेक कार्यक्रमों की शुरूआत की। प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना एक ऐसा अग्रणीय कार्यक्रम है, जिसमें मत्स्य पालन क्षेत्र के सतत विकास पर अधिक ध्यान दिया गया है। इस योजना पर 20 हजार करोड़ रुपये से अधिक राशि निवेश की जायेगी।अब तक मत्स्य पालन क्षेत्र में निवेश की जाने वाली ये सबसे बड़ी राशि है। इसका उद्देश्य वर्ष 2024-25 तक अतिरिक्त 70 लाख टन मछली उत्पादन बढ़ाना है।इस अवसर पर अपने संबोधन में प्रधानमंत्री ने कहा कि इन सभी योजनाओं के शुरू करने का उद्देश्य 21वीं शताब्दी के भारत के सभी गांव को ऊर्जा और आत्मनिर्भरता के क्षेत्र में और मजबूत बनाना है। उन्होंने कहा कि आज प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना देश के 21 राज्यों में शुरू की जा रही है। प्रधानमंत्री ने कहा कि अगले चार पांच वर्ष में इन योजनाओं पर बीस हजार से अधिक रुपये खर्च किये जायेंगे।श्री मोदी ने कहा कि बिहार के पटना, पूर्णिया, सीतामढ़ी, मधेपुरा, किशनगंज और समस्तीपुर में अनेक सुविधाओं का उद्घाटन और शिलान्यास किया गया है। उन्होंने कहा कि इन सुविधाओं के माध्यम से मत्स्य उत्पादन के क्षेत्र को नये आधार, आधुनिक साजो-सामान और नये बाजार मिलेंगे। उन्होंने कहा कि देश के सभी भागों में मछली के व्यापार को ध्यान में रखते हुए पहली बार इस तरह की एक बड़ी योजना तैयार की गई है। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना के अंतर्गत राशि सीधे तौर पर देश के दस करोड़ से अधिक किसानों के बैंकों में जमा करा दिया जायेगा। इनमें से करीब 75 लाख किसान बिहार के हैं। उन्होंने कहा कि अब तक बिहार के किसानों के बैंक खातों में करीब छह हजार करोड़ जमा कराये जा चुके हैं।
- देहरादून। अनुसंधानकर्ताओं के एक अंतरराष्ट्रीय दल को जम्मू कश्मीर के उधमपुर जिले में वानर की नयी खोजी गई प्रजाति का 1.3 करोड़ वर्ष पुराना जीवाश्म मिला है। यह आधुनिक समय के लंगूर का प्राचीनतम ज्ञात पूर्वज है।इस खोज के निष्कर्ष पत्रिका प्रोसीडिंग्स आफ द रॉयल सोसाइटी बी में प्रकाशित हुआ है। इससे इस बारे में नयी जानकारी मिली है कि वर्तमान समय के लंगूर के पूर्वज कब अफ्रीका से एशिया में आये थे। यह जीवाश्म कपि रमनागरेंसिस प्रजाति के वानर के निचले चव का है, जिसके बारे में पहले जानकारी नहीं थी। यह लगभग एक सदी में रामनगर के प्रसिद्ध जीवाश्म स्थल पर खोजी गई पहली नई जीवाश्म वानर प्रजाति का प्रतिनिधित्व करता है। अमेरिका में एरिज़ोना स्टेट यूनिवर्सिटी और चंडीगढ़ में पंजाब विश्वविद्यालय के अनुसंधानकर्ता क्षेत्र में एक छोटी पहाड़ी पर चढ़ रहे थे, जहां एक साल पहले वानर के एक जबड़े का जीवाश्म मिला था। दल जब उस स्थल पर कुछ देर के लिए आराम करने के लिए रुका तो उन्हें जमीन पर कुछ चमकीला दिखा। अमेरिका में न्यूयार्क स्थित सिटी यूनिवर्सिटी के क्रिस्टोफर सी. गिलबर्ट ने कहा, हमें तत्काल पता चल गया कि यह वानर का दांत है लेकिन यह पूर्व में क्षेत्र में मिले वानरों के किसी दांत जैसा नहीं दिख रहा था। गिल्बर्ट ने कहा, चव के आकार से, हमारा प्रारंभिक अनुमान यह है कि यह एक लंगूर के पूर्वज का हो सकता है, लेकिन ऐसे वानर के जीवाश्म का कोई रिकॉर्ड वस्तुत: नहीं हंै।
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नई दिल्ली। नोबेल पुरस्कार से सम्मानित तिब्बती आध्यात्मिक गुरु दलाई लामा ने अमीर और गरीब के बीच खाई में कमी लाने की अपील की। साथ ही, उन्होंने कहा कि यह महसूस करना जरूरी है कि दुनिया का ध्यान रखना असल में खुद का ध्यान रखना है।
उन्होंने दिल्ली में बुधवार को लारिएट्स एंड लिडर्स फार चिल्ड्रेन के एक कार्यक्रम में कहा, भविष्य हमारे हाथों में हैं और बच्चे दुनिया के भविष्य हैं , वे ही दुनिया का ध्यान रखेंगे। दुनिया का ध्यान रखना असल में खुद का ध्यान रखना है। 'लारिएट्स एंड लिडर्स फार चिल्ड्रेन बाल अधिकारों की रक्षा के लिए गठित संस्था है जिसका नेतृत्व नोबेल पुरस्कार विजेता कैलाश सत्यार्थी करते हैं । दलाई लामा ने कहा, बच्चे हमारे भविष्य हैं। हमें मानवता और गरीबों के बारे में सोचना होगा जिन्हें मदद की जरूरत है और हमें इस बारे में प्रयास करने होंगे कि गरीब और अमीर के बीच खाई कैसे कम होगी। दलाई के अलावा कार्यक्रम में स्वीडीश प्रधानमंत्री स्टीफन लोफवेन, यूनिसेफ की कार्यकारी निदेशक हेनरीएत्ता फोर, विश्व स्वास्थ्य संगठन के महानिदेशक टेड्रोस एडहैनम घेब्रेयसस सहित अन्य भी शामिल हुए। उन्होंने कहा कि कोविड-19 महामारी ने बच्चों को दुनिया भर में एवं समाज के सभी तबकों में और अधिक जोखिमग्रस्त स्थिति में डाल दिया है। उन्होंने कहा, बच्चे शारीरिक, मानसिक और यौन शोषण के बढ़ते खतरे का सामना कर रहे हैं।हेनरीएत्ता ने कोविड-19 को बच्चों के अधिकारों के लिये एक संकट करार दिया। हीं, डब्ल्यूएचओ महानिदेशक टेड्रोस ने कहा कि बच्चे सहित किशोर महामारी से सवार्धिक प्रभावित होने वाले समूह में शामिल हैं। उन्होंने कहा कि कई देशों में (बच्चों का) टीकाकरण कार्यक्रम आंशिक या पूर्ण रूप से स्थगित हो गया है। इसे बाल मृत्यु दर का खतरा बढ़ा गया । साथ ही, विश्व भर में बच्चों की खाद्य सुरक्षा और पोषण भी जोखिम में पड़ गया है। - नई दिल्ली। सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय ने कोविड-19 के दौरान आत्मनिर्भर भारत योजना के अंतर्गत दस हजार करोड़ से अधिक की धनराशि जारी की है। मंत्रालय ने कहा कि दो हजार चार सौ 75 करोड़ रुपए की अतिरिक्त राशि जारी करने पर काम चल रहा है और इसे शीघ्र ही जारी किया जाएगा।मंत्रालय ने कहा कि देश में सुगमता पूर्वक व्यापार सुनिश्चित करने और गुणवत्तापूर्ण सड़कों का जाल बनाने के लिए हितधारकों में विश्वास पैदा करने के लिए अनेक कदम उठाए गए हैं। आत्मनिर्भर भारत योजना के तहत भुगतान प्रक्रिया को आसान बनाया गया है। उपलब्धता के आधार पर ठेकेदारो का भुगतान प्रत्येक माह किया जा रहा है। मंत्रालय ने कहा कि देश के राष्ट्रीय राजमार्ग परियोजनाओं को समय से पूरा करना अधिक लाभकारी है। मंत्रालय ने यह भी कहा है कि कोविड-19 के दौरान कई तरह के राहत पैकेज ठेकेदारो और रियायत पाने वालो तक पहुंचाए जा रहे हैं।---
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नई दिल्ली। केंद्रीय शिक्षा मंत्री रमेश पोखरियाल निशंक ने आज नई दिल्ली में आयोजित हुए एक ऑनलाइन समारोह में सीबीएसई से संबद्ध स्कूलों के 38 शिक्षकों और प्रधानाचार्यों को सीबीएसई शिक्षक पुरस्कार से सम्मानित किया।
इस अवसर पर शिक्षा राज्यमंत्री, संजय धोत्रे भी उपस्थित थे। इस अवसर पर सचिव, स्कूली शिक्षा एवं साक्षरता विभाग, अनीता करवाल और सीबीएसई के चेयरमैन, मनोज आहूजा भी उपस्थित थे। इस कार्यक्रम में भाग लेने के लिए शिक्षा मंत्रालय, एनवीएस, केवीएस, सीबीएसई, प्रधानाचार्यों, शिक्षकों, छात्रों, अभिभावकों और परिवारों के कई अन्य विशिष्ट अतिथि ऑनलाइन शामिल हुए। ये पुरस्कार वर्ष 2019-20 के लिए शिक्षकों और प्रधानाचार्यों को स्कूली शिक्षा, नवाचार और समर्पण में सुधार लाने की दिशा में उनके बहुमूल्य योगदान को सम्मानित करने के लिए प्रदान किए गए।इस अवसर पर श्री पोखरियाल ने कहा कि शिक्षक ही शिक्षा की मूलभूत नींव रखते हैं। उन्होंने कहा कि शिक्षण एक बहुत ही सम्मानित पेशा है और इन पुरस्कारों का उद्देश्य देश के कुछ बेहतरीन शिक्षकों के अनूठे योगदान का उत्सव मनाना और उन शिक्षकों का सम्मानित करना है, जिन्होंने अपनी प्रतिबद्धता के माध्यम से न केवल स्कूली शिक्षा की गुणवत्ता में सुधार किया है बल्कि अपने छात्रों के जीवन को भी समृद्ध बनाया है। मंत्री ने प्रकाश डाला कि नई शिक्षा नीति 2020 में शिक्षकों को शिक्षा प्रणाली के केंद्र में रखा गया है। नीति में यह उल्लेख किया गया है कि सभी विद्यालयों में पर्याप्त संख्या में शिक्षक होने चाहिए और ऐसा वातावरण उपलब्ध कराया जाना चाहिए जिससे स्कूलों में कार्य संस्कृति को बढ़ावा दिया जा सके। मंत्री ने विजेता शिक्षकों को शिक्षा के क्षेत्र में उत्कृष्ट सेवा, कर्तव्यनिष्ठा और असाधारण योगदान के लिए बधाई दिया।प्रत्येक पुरस्कार में एक योग्यता प्रमाण पत्र, एक शॉल और 50,000 रुपये की राशि शामिल हैं। 2018 के बाद से, सीबीएसई द्वारा एक ऑनलाइन चयन प्रक्रिया का पालन किया जा रहा है। प्रत्येक श्रेणी के अंतर्गत आवेदकों का मूल्यांकन, सामान्य और विशिष्ट मापदंडों और स्कूली शिक्षा से संबंधित कई मापदंडों और उनके योगदान के आधार पर किया जाता है। 38 पुरस्कार विजेताओं में प्राथमिक और माध्यमिक स्तर के शिक्षक, भाषा, विज्ञान, सामाजिक विज्ञान, शारीरिक शिक्षा, गणित, अर्थशास्त्र, आईटी, ललित कला शिक्षक, स्कूल काउंसलर, उप-प्रधानाचार्य और प्रधानाचार्य शामिल हैं। - नई दिल्ली। भारतीय वायुसेना कल अंबाला में आयोजित एक समारोह में राफेल लड़ाकू विमान को औपचारिक रूप से वायुसेना में शामिल करेगी।रक्षा मंत्रालय के प्रवक्ता ने बताया कि ये विमान 17वीं स्क्वाड्रन गोल्डन एरोज का हिस्सा होंगे। पहले पांच लड़ाकू विमान 27 जुलाई को फ्रांस से अंबाला पहुंचे थे। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह और फ्रांस की रक्षा मंत्री सुश्री फ्लोरेंस पार्ले इस समारोह में मुख्य अतिथि के रूप में शामिल होंगे। इस कार्यक्रम के बाद दोनों देशों के बीच शिष्टमंडल स्तर की बातचीत होगी।
- नई दिल्ली। देश की दूसरी और दक्षिण भारत की पहली किसान रेलगाड़ी को आज 11 बजे रवाना किया गया। इसके जरिए आंध्रप्रदेश के अनंतपुर से दिल्ली के आदर्श नगर रेलवे स्टेशन तक कृषि उत्पादों की ढुलाई की जाएगी।कृषि और किसान कल्याण मंत्री नरेन्द्र सिंह तोमर, रेल राज्य मंत्री सुरेश सी. अंगाड़ी और आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री जगन मोहन रेड्डी ने वीडियो लिंक के जरिए इस रेलगाड़ी को रवाना किया। इस अवसर पर श्री तोमर ने कहा कि 2022 तक किसानों की आय दोगुनी करने में किसान रेल बड़ी भूमिका निभाएगी। उन्होंने कहा कि कृषि उत्पादों की ढुलाई के लिए आम बजट में किसान रेल चलाने की घोषणा की गई थी। श्री तोमर ने कहा कि सरकार बागबानी को प्रोत्साहन देने के लिए शीघ्र की किसान उड़ान कार्यक्रम शुरू करेगी।इस अवसर पर सुरेश सी. अंगाड़ी ने कहा कि रेलवे किसानों की आय बढ़ाने के लिए रात-दिन काम कर रही है। उन्होंने कहा कि किसानों को उनकी उपज का बेहतर मूल्य मिलेगा।गौरतलब है कि वित्तमंत्री निर्मला सीमारामन ने चालू वर्ष के बजट में किसान रेल चलाने की घोषणा की थी ताकि जल्दी खराब होने वाली कृषि उपज की निर्बाध आपूर्ति की जा सके।----
- सीधी। मध्य प्रदेश के सीधी में भारतीय स्टेट बैंक से 39 लाख रुपये लेकर एटीएम में नोट डालने गई सीएमएस कंपनी की नकदी वैन सोमवार शाम से गायब है।भारतीय स्टेट बैंक के मुख्य शाखा प्रबंधक द्वारा नकदी वैन के गायब होने की मौखिक सूचना सोमवार को ही कोतवाली पुलिस सीधी को दे दी गई थी। इसके बाद कोतवाली पुलिस ने जिले के समस्त थानों में नाकेबंदी व सीमावर्ती जिलों को घटना की सूचना दे दी। नगर निरीक्षक कोतवाली अरुण पाण्डेय ने मंगलवार को बताया, आज बैंक से लिखित आवेदन मिलने के बाद इसकी विवेचना की जा रही है तथा सभी संभावित जगहों पर पुलिस दल भेज दिया गया है। उन्होंने कहा, सीधी जिले के सभी बैंक एटीएम में नकदी डालने का ठेका सीएमएस कंपनी के पास है। नकदी वैन सोमवार शाम भारतीय स्टेट बैंक से 39 लाख रुपये लेकर निकली थी। इसके बावजूद जब एटीएम में नकदी नहीं होने की शिकायत मिली तो प्रबंधन ने वैन की खोज खबर शुरू की, जो लापता मिली। पाण्डेय ने बताया कि इस नकदी वैन में सीएमएस कंपनी के तीन कर्मचारी थे। इनमें वैन चालक के अलावा, एक सुरक्षाकर्मी और एक तकनीकी कर्मचारी था। उन्होंने कहा कि अब तक ना तो नकदी वैन का पता चला है और नाहीं इन कर्मचारियों का। उन्होंने कहा कि अब तक इस मामले में किसी को भी गिरफ्तार नहीं किया गया है। अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक अंजूलता पटले ने बताया, मामले में पुलिस तहकीकात कर रही है। किसी निष्कर्ष पर पहुंचते ही मीडिया को जानकारी दी जाएगी।---